Irregular Sleep Pattern: 93% भारतीयों को नहीं मिल पाती पूरी नींद, क्या आप भी हैं उनमें से एक? अनियमित नींद से बढ़ता है बीमारियों का खतरा

Irregular Sleep Pattern: नींद का सीधा असर हमारे स्वास्थ पर पड़ता है और स्वस्थ रहने के लिए हमें रोज 7 से 8 घंटे की नींद लेनी चाहिए लेकिन आज कल के भागदौड़ भरी जिंदगी में यह तभी संभव है जब हम जल्दी सोएं। यदि आप ऐसा नहीं करते तो आपको बहुत सारी बीमारियां घेर सकती है। एक अध्ययन में ये बात सामने आई है कि जो नियमित रूप से सोते हैं उनमें बीमारियों का खतरा कम होता है

Update: 2025-06-19 06:32 GMT

Irregular Sleep Pattern: नींद का सीधा असर हमारे स्वास्थ पर पड़ता है और स्वस्थ रहने के लिए हमें रोज 7 से 8 घंटे की नींद लेनी चाहिए लेकिन आज कल के भागदौड़ भरी जिंदगी में यह तभी संभव है जब हम जल्दी सोएं। यदि आप ऐसा नहीं करते तो आपको बहुत सारी बीमारियां घेर सकती है। एक अध्ययन में ये बात सामने आई है कि जो नियमित रूप से सोते हैं उनमें बीमारियों का खतरा कम होता है लेकिन जो कम सोते हैं उनमें बीमारियों का ज्यादा खतरा देखा गया। इतना ही नहीं अनियमित नींद से शुगर का खतरा भी बढ़ता है। आइए जानते हैं कि हमें किस तरह की नींद लेनी चाहिए और कितने घंटे की नींद जरूरी है।

नियमित नींद यानी आपके सोने और जागने का समय एक जैसा हो, अध्ययन में पाया गया है कि लोगों में नींद का पैटर्न नियमित रहे तो उन्हे बीमारियों का खतरा कम होता है जो लोग नियमित रूप से नींद नहीं लेते ऐसे लोगों को डायबिटीज होने का खतरा भी होता है। अब अनिद्रा के कारणों को भी समझ लेते हैं दरअसल अनिद्रा एक नींद विकार है जिसकी वजह से आपको नींद ना आने की समस्या होती है या फिर देर रात तक नींद नहीं आती, गलती से भी नींद खुल जाए तो वापस सोने में परेशानी होती है। शोध बताते है कि लगभग 93 प्रतिशत भारतीय ठीक से नींद नहीं ले पाते और इसकी वजह ये है कि वे किसी ना किसी बात से परेशान रहते हैं या उन्हे ज्यादा सोचने की आदत है। इतना ही नहीं शराब, तंबाकू या कैफीन जैसे पदार्थ भी नींद ना आने की समस्या का कारण बन सकते हैं।

अनिद्रा के लक्षण-

थकान, दिन के समय नींद आना, याददाश्त व एकाग्रता की समस्या, चिड़चिड़ापन जैसे लक्षण शामिल है। यदि आपको लंबे समय तक अनिद्रा की समस्या है तो आपको ये परेशानी हो सकती है, जैसे सोने में कठिनाई होना, आधी रात को जागना फिर वापस सोने में परेशानी होना, अवसाद, चिड़चिड़ापन, काम में परेशानी, सोने के बाद भी तरोताजा महसूस ना करना, नींद में भी चिंतित रहना लेकिन इसका इलाज भी संभव है। एक्सपर्ट्स मानते हैं कि अनिद्रा की वजह से आपको कैंसर, ह्रदय रोग, मधुमेह, अस्थमा, थायरॉइड, अल्जाइमर जैसे अनेक बीमारियां हो सकती हैं। इतना ही नहीं यदि आप बिना डॉक्टर को दिखाए खुद से दवाएं लेंगे तो भी आपको इन सभी परेशानियों का सामना करना पड़ेगा।

इस परेशानी को कैसे दूर करें-

नींद ना आने की परेशानी से अगर आपको छूटकारा चाहिए तो सबसे पहले अपने आहार पर ध्यान दें और योगा करें। नींद आने पर ही बिस्तर पर जाएं. कम से कम 20 मिनट तक योग करें पर ये आपके सोने से 5 घंटे पहले होने चाहिए। अपने जागने और सोने का एक रूटिन बनाएं। सोने से पहले कुछ ठंडा पीने से बचे, चाय कॉफी से सेवन से भी आपको बचना चाहिए। अगर आपको कोई परेशानी है तो उसका समाधान सोने से पहले ही कर लें। सोने से पहले अच्छे विचारों पर फोकस करें। नींद आपके स्वास्थ के लिए उनती ही जरूरी है जितना आहार, इसलिए हो सके तो नींद पर ध्यान दें यदि आपको नींद से जुड़ी समस्या काफी अधिक है तो डॉक्टर से संपर्क करें, अगर कोई परेशानी है तो मनोवैज्ञानिक के पास जाएं।

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