Roj Brush karna kyo jaruri h: एक दिन भी ब्रश न करने पर झेलनी पड़ सकती है यह समस्याएं, जानिए दातों से जुड़े अनोखे तथ्य

Roj Brush karna kyo jaruri h: सुबह-सुबह उठकर ब्रश करना, यह एक आम बात है जिसे सभी फॉलो करते हैं। लेकिन क्या आपने कभी सोचा है कि अगर एक दिन भी ब्रश न किया जाए तो क्या होगा? बहुत से लोग इसे हल्के में लेते हैं और सोचते हैं कि एक दिन छोड़ देने से कुछ नहीं होता। लेकिन हकीकत इससे बिल्कुल अलग है। दांतों को साफ ना करने का असर हमारे शरीर के अन्य अंगों पर भी पड़ता है।

Update: 2025-11-16 08:31 GMT

Roj Brush karna kyo jaruri h: सुबह-सुबह उठकर ब्रश करना, यह एक आम बात है जिसे सभी फॉलो करते हैं। लेकिन क्या आपने कभी सोचा है कि अगर एक दिन भी ब्रश न किया जाए तो क्या होगा? बहुत से लोग इसे हल्के में लेते हैं और सोचते हैं कि एक दिन छोड़ देने से कुछ नहीं होता। लेकिन हकीकत इससे बिल्कुल अलग है। दांतों को साफ ना करने का असर हमारे शरीर के अन्य अंगों पर भी पड़ता है।

हमने कई बार घर के बड़ों सुना होगा कि दिन में एक बार और रात को सोने से पहले एक बार ब्रश जरूर करना चाहिए, परंतु इन कार्यों का नियमित पालन नहीं करना काफी बड़ी गलती हो सकती है। यही छोटी सी लापरवाही आगे चलकर बड़ी मुसीबत बन सकती है। इस लेख हम समझेंगे कि एक दिन भी ब्रश न करने से क्या होता है?

एक दिन ब्रश न करने से क्या होता है?

जब हम पूरे एक दिन ब्रश नहीं करते हैं तो हमारे मुंह में असंख्य बैक्टीरिया पनपने लगती है। ये बैक्टीरिया धीरे-धीरे खून में मिलकर पूरे शरीर में फैल जाते हैं। रिसर्च में पता चला है कि हमारे मुंह में 700 से अधिक विभिन्न प्रकार के बैक्टीरिया रहते हैं। जब हम ब्रश नहीं करते तो इनकी संख्या तेजी से बढ़ने लगती है। ये बैक्टीरिया हमारे हृदय,फेफड़े और किडनी को भी प्रभावित करते है।

खाने के बाद मुंह में होने वाले बदलाव

जब भी भोजन हमारे मुंह के अंदर जाता है तो उसका कुछ कण हमारी दांतों में भी फंस जाता है और मुंह में पहले से ही बैक्टीरिया मौजूद होने की वजह से ये भोजन में मौजूद चीनी और स्टार्च को तोड़कर एसिड बनाने लगते हैं। यह एसिड धीरे-धीरे दांतों की सबसे ऊपरी और मजबूत परत को खाना शुरू कर देता है, जिसे इनेमल कहते हैं। इनेमल हमारे पूरे शरीर का सबसे कठोर पदार्थ है फिर भी यह एसिड के सामने कमजोर पड़ जाता है। यह ध्यान रखना जरूरी है कि एक बार इनेमल खराब हो जाए तो इसे वापस नहीं बनाया जा सकता।

खाने के 6 घंटे बाद ही दांतों पर एक चिपचिपी परत बनने लगती है, जिसे प्लाक कहते हैं। इस परत में करोड़ों बैक्टीरिया छिपे रहते हैं। अगर इसे 12 घंटे तक न हटाया जाए, तो यह सख्त होने लगती है और टार्टर में बदल जाती है। टार्टर इतना कठोर होता है कि इसे सामान्य ब्रश से हटाया नहीं जा सकता है, इसके लिए डेंटिस्ट की मदद लेनी पड़ सकती है।

नियमित ब्रश करने के फायदे

हर दिन ब्रश करने के कई स्वास्थ्य लाभ है। यह दांतों की सड़न को रोकता है। जब हम दिन में दो बार अच्छे से ब्रश करते हैं, तो प्लाक और बैक्टीरिया हट जाते हैं। जिससे कैविटी यानी दांतों में सुराख नहीं होती। मसूड़ों का स्वास्थ्य भी ब्रश करने पर निर्भर करता है। नियमित ब्रश से मुंह से आने वाली दुर्गंध भी समाप्त होती है। अगर कोई व्यक्ति लंबे समय तक ब्रश करना बंद कर दे, तो असहनीय दर्द के साथ दांतों का रंग पीला से काला हो जाएगा और वे टूटने लगेंगे।

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