CG News: 8 लोगों पर गिरी बिजली: एक की मौत, 7 गंभीर रूप से घायल

CG News: छत्तीसगढ़ के सूरजपुर से बुरी खबर आ रही है। गरज चमक के साथ बारिश के कारण दो बच्चों समेत 8 लोगों पर बिजली गिर गई। इस घटना में एक युवक की मौके पर ही मौत हो गई है। गंभीर रूप से घायलों में अस्पताल में भर्ती कराया गया है।

Update: 2025-09-16 06:34 GMT

CG News: सूरजपुर। छत्तीसगढ़ के सूरजपुर में 8 लोगों पर बिजली गिर गई। इस घटना में एक युवक की मौके पर ही मौत हो गई। गंभीर रूप से घायलों को अस्पताल में इलाज के लिए भर्ती कराया गया है। मौसम विभाग ने आज भी अलर्ट जारी किया है। तेज बारिश के साथ बिजली गिरने की घटनाएं भी होंगी।

छत्तीसगढ़ के सूरजपुर जिले में 8 लोगों पर बिजली गिरी है, जिसमें एक युवक की मौत हो गई। इस दौरान 7 और भी झुलसे हैं, इनमें 2 बच्चे भी शामिल हैं। 5 लोगों का इलाज कोरिया के सोनहत सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में चल रहा है। वहीं दोनों बच्चों को सोनहत सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में एडमिट किया गया है।

महतारी वंदन योजना के तहत मिल रही राशि हितग्राहियों के बैंक खाते में कटकरआ रही थी। इसकी जानकारी लेने व अपनी परेशानी बताने के लिए पालकेवरा ग्राम पंचायत सचिव के पास ग्रामीण गए थे। सचिव को बुलाकर पेड़ के नीचे बैठकर मोबाइल नंबर समेत अन्य दस्तावेज अपडेट करा रहे थे, तभी बिजली गिरने की घटना घटी। घटना ओड़गी थाना क्षेत्र का है। मौसम विभाग ने आज कोंडागांव, बस्तर, दंतेवाड़ा और सुकमा इन चार जिलों को छोड़कर बाकी जिलों में यलो अलर्ट जारी किया है। यहां गरज चमक के साथ बिजली गिर सकती है। बुधवार को भी सिस्टम के एक्टिव रहने की बात मौसम विभाग ने कही है। साथ ही विभाग ने अलर्ट भी जारी कर दिया है।

कम बेमेतरा जिले में।

बेमेतरा में सामान्य से 50% कम बारिश

छत्तीसगढ़ में अब तक 1033.2 मिमी बारिश हुई है। बेमेतरा जिले में अब तक 483.7 मिमी बारिश हुई है। यह सामान्य से 50% कम है। अन्य जिलों बस्तर, राजनांदगांव, रायगढ़ में बारिश सामान्य के आसपास हुई है। बलरामपुर जिले में सबसे ज्यादा 1399.8 मिमी बारिश दर्ज की गई, जो सामान्य से 51% ज्यादा है।

पॉजिटिव निगेटिव इनर्जी से बनती है बिजली

बादलों में मौजूद पानी की बूंदें और बर्फ के कण हवा से रगड़ खाते हैं, जिससे उनमें बिजली जैसा चार्ज पैदा होता है। कुछ बादलों में पॉजिटिव और कुछ में निगेटिव चार्ज जमा हो जाता है। जब ये विपरीत चार्ज वाले बादल आपस में टकराते हैं तो बिजली बनती है।

आमतौर पर यह बिजली बादलों के भीतर ही रहती है, लेकिन कभी-कभी यह इतनी तेज होती है कि धरती तक पहुंच जाती है। बिजली को धरती तक पहुंचने के लिए कंडक्टर की जरूरत होती है। पेड़, पानी, बिजली के खंभे और धातु के सामान ऐसे कंडक्टर बनते हैं। अगर कोई व्यक्ति इनके पास या संपर्क में होता है तो वह बिजली की चपेट में आने की आशंका बढ़ जाती है।

बिजली से बचने ये करें उपाय

नितिन सिंघवी का कहना है, गाज गिरने की घटनाएं ग्रामीण इलाकों में ज़्यादा सुनने में मिलती थीं, परंतु अब शहरी इलाकों में भी गाज ज़्यादा गाज गिरने लगी है। इसलिए उच्च भवनों, स्कूलों, अस्पतालों और सरकारी,निजी कार्यालयों में लाइटनिंग अरेस्टर लगाए जाएं। बादल जब गरज रहे हों और गाज गिरने की संभावना हो तो पेड़ के नीचे, खुले मैदान, छत पर, बिजली के खंभे या मोबाइल टावर के पास न खड़े हों। बाइक, साइकिल, स्कूटर और खुली गाड़ियाँ रोककर सुरक्षित जगह पर चले जाएँ। कार में काँच बंद रखें। कार में रहते समय धातु के हिस्सों जैसे दरवाज़े के हैंडल को न छुएँ। यदि संभव हो तो कार को खुले मैदान या पेड़ों के पास न रोकें। बिजली कड़कने तक कार में ही रहें और बाहर न निकलें। मोबाइल-लैपटॉप चार्जिंग से डिस्कनेक्ट कर दें और बिजली उपकरण बंद कर दें। गीली वस्तुओं व कपड़ों से दूर रहें।

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