Rahul Gandhi-राहुल गांधी को एक और झटका: सांसदी खत्म होने के बाद अब आवास भी करना पड़ेगा खाली, नोटिस जारी
Rahul Gandhi-डेस्क। लोकसभा सदस्यता रद्द होने के बाद अब राहुल गांधी को आवास भी खाली करना पड़ेगा। लोकसभा की हाउस कमेटी ने ये नोटिस जारी किया है। राहुल गांधी वर्तमान में 12 तुगलक लेन वाले सरकारी बंगले में रह रहे हैं। नोटिस में उन्हें 30 दिनों के अंदर यानी 22 अप्रैल तक अपना सरकारी आवास खाली करना पड़ेगा। राहुल गांधी केरल के वायनाड से सांसद है।
बता दें, बीते शुक्रवार 24 मार्च को लोकसभा सचिवालय ने कांग्रेस सांसद राहुल गांधी की लोकसभा से सदस्यता को रद्द कर दिया था।
राहुल गांधी पर मानहानि के मामले में सूरत की अदालत ने बीते गुरुवार 23 मार्च को ही राहुल गांधी को दो साल की सजा सुनाई थी। राहुल गांधी पर 2019 लोकसभा चुनाव के दौरान मोदी सरनेम को लेकर विवादित टिप्पणी का आरोप लगा था। जिसके खिलाफ राहुल के खिलाफ गुजरात भाजपा के विधायक पूर्णेश मोदी ने मानहानि का मुकदमा दर्ज कराया था।
नहीं लड़ सकेंगे आठ साल तक चुनाव
राहुल गांधी को सजा के बाद उनकी सांसदी छिन गई है। इसके साथ ही वह आठ साल तक चुनाव नहीं लड़ सकते हैं। जनप्रतिनिधि अधिनियम 1951 की धारा 8 के तहत अगर किसी सांसद या विधायक को किसी अपराध में दोषी ठहराया जाता है, तो उसकी सदस्यता सजा सुनाए जाने के दिन से खत्म हो जाएगी। रिहाई के 6 साल बाद तक वह चुनाव भी नहीं लड़ पाएगा।
Rahul Gandhi Disqualified: राहुल गांधी ही नहीं, दादी इंदिरा और मां सोनिया भी खो चुकी हैं संसद की सदस्यता, जानें कब-क्यों और कैसे?
Rahul Gandhi Disqualified: मानहानि केस में सूरत (गुजरात) की एक अदालत द्वारा 2 साल की सज़ा सुनाए जाने के बाद कांग्रेस नेता राहुल गांधी को लोकसभा सांसद के रूप में अयोग्य घोषित कर दिया गया है। इस मामले में राहुल को ज़मानत मिल गई थी। राहुल के पास इस सज़ा के खिलाफ अपील के लिए 30 दिन हैं। अगला सवाल है कि क्या वायनाड में सालभर के लिए सांसदी के लिए उपचुनाव होगा? इसका जवाब तो आगे की प्रक्रियाओं से मिलेगा, लेकिन इस वाकये ने याद दिला दिया है कि गांधी परिवार के साथ यह पहला मामला नहीं है. बल्कि राहुल की मां (सोनिया गांधी) और दादी (पूर्व पीएम इंदिरा गांधी) भी एक एक बार अपनी लोकसभा सदस्यता से हाथ धो बैठे हैं। पढ़ें पूरी खबर read...
माननीयों की कुर्सी पर कानून की कुल्हाड़ी : राहुल गांधी ही नहीं, इन सांसद-विधायकों की छिन गई थी सदस्यता, देश में ऐसे एक-दो नहीं 35 मामले
NPG ब्यूरो. कांग्रेस के पूर्व राष्ट्रीय अध्यक्ष राहुल गांधी की लोकसभा की सदस्यता खत्म होने के बाद देश की राजनीति में बड़ा भूचाल आ गया है. कांग्रेस ने इसे लोकतंत्र की हत्या करार दिया है. वहीं, भाजपा ने इसे ओबीसी समाज के अपमान से जोड़ दिया है. इस पूरे मुद्दे में कानून के जानकारों का कहना है कि रिप्रेजेंटेशन ऑफ द पीपुल्स एक्ट 1951 में यह स्पष्ट है कि यदि दो वर्ष से अधिक के कारावास की सजा सुनाई जाती है तो उसे दोषी ठहराए जाने की तिथि से आयोग्य माना जाएगा. ऐसे में यह कहना सही नहीं है कि बिना समय दिए लोकसभा सचिवालय ने सदस्यता खत्म करने का नोटिफिकेशन जारी कर दिया. जहां तक निचली अदालत ने जो समय दिया है, वह गिरफ्तारी से बचने के लिए है. हाईकोर्ट या सुप्रीम कोर्ट यदि निचली अदालत के फैसले के विरुद्ध कोई निर्णय देता है, तब ही सदस्यता बच सकती है. हालांकि यह आसान नहीं है. पढ़ें पूरी खबर read...