Liquor Policy Scam Case: सुप्रीम कोर्ट में मनीष सिसोदिया की जमानत याचिका पर सुनवाई आज, CBI-ED पेश करेंगी जवाब

Liquor Policy Scam Case: दिल्ली के पूर्व उप मुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया (Manish Sisodia) की जमानत याचिका पर आज सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) सुनवाई करेगा। अदालत ने सीबीआई (CBI) और ईडी (ED) को नोटिस जारी कर जवाब मांगा है।

Update: 2023-09-15 07:20 GMT

Liquor Policy Scam Case: दिल्ली के पूर्व उप मुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया (Manish Sisodia) की जमानत याचिका पर आज सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) सुनवाई करेगा। अदालत ने सीबीआई (CBI) और ईडी (ED) को नोटिस जारी कर जवाब मांगा है। आम आदमी पार्टी नेता मनीष सिसोदिया (Manish Sisodia) इस साल फरवरी में दिल्ली शराब घोटाले में गिरफ्तार हुए थे. उन्होंने जमानत के लिए सुप्रीम कोर्ट में इसलिए अर्जी दाखिल की है, क्योंकि दिल्ली हाईकोर्ट ने उनकी जमानत याचिका को खारिज कर दिया।

सुप्रीम कोर्ट में पिछले महीने हुई सुनवाई के दौरान जमानत याचिकाओं पर सुनवाई को सितंबर तक के लिए स्थगित कर दिया था. सिसोदिया ने अपनी पत्नी के बीमार होने का हवाला देते हुए अदालत से जमानत मांगी है। दिल्ली शराब घोटाले की जांच का जिम्मा सेंट्रल ब्यूरो ऑफ इंवेस्टिगेशन (CBI) और प्रवर्तन निदेशालय (ED) दोनों केंद्रीय जांच एजेंसियां संभाल रही हैं. सिसोदिया के शराब घोटाले में नाम आने के बाद से ही बीजेपी के जरिए ‘आप’ को लगातार घेरा जा रहा है।

विदित हो कि इससे पहले, 14 जुलाई को सुप्रीम कोर्ट ने सिसोदिया पर चल रहे केस में उनके जरिए मांगी गई जमानत पर सीबीआई और ईडी से जवाब मांगा था. जस्टिस संजीव खन्ना और जस्टिस एसवीएन भट्टी की पीठ ने कहा था कि सिसोदिया की पत्नी की मेडिकल रिपोर्ट को देखने के बाद मालूम पड़ता है कि वह स्थिर हैं. इसलिए सिसोदिया की अंतरिम जमानत याचिकाओं पर मामलों में नियमित जमानत याचिकाओं के साथ विचार किया जाएगा. इससे दोनों जांच एजेंसियों को याचिकाओं पर जवाब दाखिल करने के लिए अधिक समय दिया जाएगा।

दरअसल, 30 मई को दिल्ली हाईकोर्ट ने सीबीआई के जरिए दर्ज किए गए मामले में सिसोदिया को जमानत देने से इनकार कर दिया था. हाईकोर्ट का कहना था कि पूर्व डिप्टी सीएम और उत्पाद शुल्क मंत्री होने के नाते वह एक ‘हाई-प्रोफाइल’ आरोपी हैं. इस वजह से वह गवाहों को प्रभावित कर सकते हैं।

सुप्रीम कोर्ट में दायर अपनी जमानत याचिका में सिसोदिया ने दलील दी कि इस बात के कोई दस्तावेजी सबूत, यहां तक कि आरोप भी नहीं है कि किसी ने उन्हें रिश्वत दी है. सिसोदिया का कहना है कि उनके जरिए रिश्वत मांगे जाने को साबित करने वाला कोई दस्तावेज भी मौजूद नहीं है. इसके अलावा, घर पर की गई छापेमारी और तलाशी अभियान के दौरान भी कुछ ऐसा नहीं मिला है, जो उन्हें आरोपी बनाता है।

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