PM Janman Yojana: पीएम जनमन योजना ने बदली जिंदगी की तस्वीर, सुदूर ग्राम कुर्रा के रतिराम को मिला सपनों का पक्का आशियाना

PM Janman Yojana: रतिराम का कहना है कि पहले जिस घर में रहना मजबूरी था, वहीं अब पक्के मकान में रहना गर्व की अनुभूति देता है। उल्लेखनीय है कि पीएम-जनमन योजना, जिसकी शुरुआत भारत सरकार द्वारा वर्ष 2023 में की गई, विशेष रूप से विशेष रूप से कमजोर जनजातीय समूहों के सर्वांगीण विकास के लिए एक महत्त्वाकांक्षी मिशन है

Update: 2025-12-08 13:25 GMT

PM Janman Yojana: रायपुर। किसी भी सरकारी योजना का वास्तविक महत्व तभी सिद्ध होता है, जब उसका लाभ जमीनी स्तर पर आम नागरिक के जीवन में सकारात्मक और स्थायी परिवर्तन लाए। ऐसी ही एक सशक्त योजना है प्रधानमंत्री जनजाति आदिवासी न्याय महाअभियान (पीएम-जनमन), जिसका प्रभाव रायगढ़ जिले में स्पष्ट रूप से देखने को मिल रहा है। इस योजना के अंतर्गत लैलूंगा विकासखंड के सुदूर ग्राम कुर्रा के निवासी रतिराम बिरहोर को उनके जीवन का सबसे बड़ा सपना-पक्का और सुरक्षित आवास-साकार हुआ।

जीवन में स्थायित्व, आत्मविश्वास और सम्मान भी लेकर आया पीएम-जनमन

वर्षों तक कच्चे मकान में रहकर बरसात, ठंड और जहरीले जीव-जंतुओं के खतरे के बीच जीवन-यापन करने वाले रतिराम और उनका परिवार जब पीएम जनमन योजना के तहत स्वीकृत आवास में प्रवेश किया, तो वह क्षण उनके लिए अविस्मरणीय बन गया। आवास स्वीकृति मिलने के बाद निर्माण कार्य प्रारंभ हुआ और निर्धारित समय में पूर्ण भी हुआ। नया पक्का घर न केवल उन्हें सुरक्षा प्रदान कर रहा है, बल्कि उनके जीवन में स्थायित्व, आत्मविश्वास और सम्मान भी लेकर आया है।

जनजातीय समूहों के सर्वांगीण विकास के लिए एक महत्त्वाकांक्षी मिशन

रतिराम का कहना है कि पहले जिस घर में रहना मजबूरी था, वहीं अब पक्के मकान में रहना गर्व की अनुभूति देता है। उल्लेखनीय है कि पीएम-जनमन योजना, जिसकी शुरुआत भारत सरकार द्वारा वर्ष 2023 में की गई, विशेष रूप से विशेष रूप से कमजोर जनजातीय समूहों के सर्वांगीण विकास के लिए एक महत्त्वाकांक्षी मिशन है। इस अभियान का उद्देश्य आवास, शिक्षा, स्वास्थ्य, स्वच्छ पेयजल, बिजली, आजीविका और संपर्क जैसी बुनियादी सुविधाओं को अंतिम व्यक्ति तक पहुँचाना है।

गौरतलब है कि पीएम जनमन योजना आज केवल एक सरकारी कार्यक्रम नहीं, बल्कि आदिवासी समुदायों के लिए न्याय, समानता और आत्मसम्मान का मजबूत आधार बन चुकी है। ग्राम कुर्रा के रतिराम की कहानी इस बात का सशक्त उदाहरण है कि जब योजनाएं सही ढंग से लागू होती हैं, तो वे लोगों की तस्वीर ही नहीं, तकदीर भी बदल देती हैं।

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