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Chhattisgarh News: 2023 में 13 हाथियों की हुई थी मौत, इसमें से सात करंट से, 2024 में तीन हाथियों की चली गई जान, हाई कोर्ट ने अफसरों से पूछा-कौन जिम्मेदार?

Chhattisgarh News: करंट से हो रही हाथियों की मौत को लेकर छत्तीसगढ़ हाई कोर्ट संजीदा नजर आ रहा है। मीडिया रिपोर्ट को स्वत: संज्ञान में लेते हुए चीफ जस्टिस रमेश सिन्हा ने जनहित याचिका के रूप में सुनवाई प्रारंभ की है। पीआईएल की सुनवाई के दौरान डिवीजन बेंच ने राज्य शासन से पूछा कि हाथियों की मौत के लिए आखिरकार जिम्मेदारी किसकी बनती है। बेहद संवेदनशील मामले में लापरवाही क्यों बरती जा रही है। रायगढ़ जिले के अंतर्गत आने वाले जंगलों में हाथियों के मौत के मामले में वर्ष 2023 के आंकड़े भयावह है। एक साल के भीतर 13 हाथियों की मौत हो गई। अमूमन हर महीने एक हाथी की जान गई है।

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Bilaspur High Court

By Radhakishan Sharma

Chhattisgarh News: बिलासपुर। रायगढ़ जिले में एक और घटना में बिजली करंट से तीन हाथियों की मौत को लेकर मीडिया में रिपोर्ट प्रकाशित की गई थी। मीडिया रिपोर्ट को गंभीरता से लेते हुए छत्तीसगढ़ हाई कोर्ट के चीफ जस्टिस रमेश सिन्हा ने स्वत:संज्ञान में लेते हुए रजिस्ट्रार जनरल को जनहित याचिका के रूप में रजिस्टर्ड करने का निर्देश दिया था। पीआईएल रजिस्टर्ड होने के साथ ही इस पर सुनवाई प्रारंभ हो गई है।

चीफ जस्टिस के डिवीजन बेंच में मामले की सुनवाई हुई। चीफ जस्टिस ने राज्य शासन की ओर से पैरवी करने वाले विधि अधिकारी से पूछा है कि रायगढ़ जिले में लगातार इस तरह की घटनाएं हो रही है। इसकी जिम्मेदारी किसकी है। वन्यप्राणियों की सुरक्षा को लेकर क्यों लापरवाही बरती जा रही है। राज्य शासन को नोटिस जारी कर डिवीजन बेंच ने जवाब पेश करने का निर्देश दिया है।

रायगढ़ वन विभाग के चुहकीमार जंगल में बिजली करंट से तीन मादा हाथियों के अलावा एक बछड़े की मौत हो गई थी। 11 केवी तार के चपेट में आने और करंट लगने से मौत होना बताया गया था। चीफ जस्टिस रमेश सिन्हा व जस्टिस रविंद्र अग्रवाल की डिवीजन बेंच में सुनवाई हुई। राज्य शासन की ओर से पैरवी करते हुए विधि अधिकारी ने बताया कि फसल की रखवाली के दौरान किसान ने खेत के चारो ओर बिजली करंट बिछा दिया था।

करंट की चपेट में आने से हाथियों की मौत हो गई थी। विधि अधिकारी ने कोर्ट को बताया कि बिजली करंट बिछाने वाले किसान के खिलाफ कार्रवाई की गई है। पीआईएल की सुनवाई के दौरान डिवीजन बेंच के समक्ष यह बात भी सामने आई कि बीते सुनवाई के दौरान डिवीजन बेंच ने बिजली कंपनी के अफसरों को बिजली तारों की ऊंचाई को बढ़ाने का निर्देश दिया था। जंगल के रास्ते बिछाए गए बिजली तारों को खींचने के अलावा खंभों को ठीक करने और तारों की ऊंचाई बढ़ाने की बात भी सामने आई थी। कोर्ट के संज्ञान में जब यह बात लाई गई तब डिवीजन बेंच ने पूछा कि आदेश पर कितना अमल हो पाया है। डिवीजन बेंच ने बिजली कंपनी के अफसरों को शपथ पत्र के साथ जानकारी पेश करने का निर्देश दिया है।

0 आरटीआई की यह जानकारी भयावह

वन विभाग द्वारा दी गई जानकारी के अनुसार रायगढ़ जिले के वन क्षेत्रों में प्राकृतिक आपदा के अलावा करंट लगने से हाथियों की मौत हुई है। वन परिक्षेत्र लैलूंगा,छाल, बाकारूमा, धरमजयगढ़, व बोरो में हाथियों की मौत हुई है। बिजली करंट के अलावा हाथियों के बीच संघर्ष,पहाड़ी से फिसलने के अलावा आकाशीय बिजली गिरने से मौत हुई है।

हस्तक्षेप याचिकाकर्ता ने कोर्ट को दी ये जानकारी

वन्यजीव प्रेमी नितिन सिंघवी ने इसी मामले को लेकर हस्तक्षेप याचिका दायर की है। सुनवाई के दौरान याचिकाकर्ता नितिन सिंघवी की ओर से पैरवी करते हुए अधिवक्ता ने बताया कि जनहित याचिका की बीते और आज की सुनवाई के दौरान दो हाथियों की मौत करंट से हो गई है। इस पर महाधिवक्ता प्रफुल्ल भारत ने डिवीजन बेंच को बताया कि खेतों के आसपास बिजली का तार बिछाने वाले किसान के खिलाफ कार्रवाई की गई है। इस पर कोर्ट ने पूछा कि स्टेट एजेंसी की क्या जिम्मेदारी बनती है। हस्तक्षेप याचिकाकर्ता सिंघवी के वकील ने कोर्ट को यह भी जानकारी दी कि बीते सुनवाई के दौरान जंगलों से होकर बिजली तार की ऊंचाई को 20 फीट करना है। अब तक यह काम बिजली कंपनी केअफसरों ने नहीं किया है। हस्तक्षेप याचिकाकर्ता के अधिवक्ता द्वारा दी गई जानकारी के बाद डिवीजन बेंच ने बिजली कंपनी के अफसर से शपथ पत्र के साथ जानकारी पेश करने का निर्देश दिया है।

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