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Mahadev-Online-Betting-App: महादेव एप की पूरी कहानी: जानिए, छत्तीसगढ का जूस सेंटर वाला कैसे बन गया सट्टा किंग, बॉलीवुड से कैसे जुड़ा गैंबलर का कनेक्शन

Mahadev-Online-Betting-App: ऑनलाइन सट्टा एप महादेव सट्टा गेमिंग एप इन दिनों काफी चर्चा में है। इसकी वजह से बॉलवुड के कई सितारे ईडी की रडार में आ गए हैं।

Mahadev-Online-Betting-App: महादेव एप की पूरी कहानी: जानिए, छत्तीसगढ का जूस सेंटर वाला कैसे बन गया सट्टा किंग, बॉलीवुड से कैसे जुड़ा गैंबलर का कनेक्शन
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By Sanjeet Kumar

Mahadev Gaming App: रायपुर। सौरभ चंद्राकर और रवि उप्‍पल, 28 से 29 साल के इन दोनों नाम की चर्चा पूरे देशभर में हो रही है। इनकी वजह से मुम्‍बई फिल्‍म इंडस्‍ट्री (बॉलीवुड) के कई चर्चित चेहरे केंद्रीय प्रवर्तन निदेशालय (ED) की रडार में आ गए हैं। रणबीर कपूर (Ranbir Kapoor) सहित कई एक्‍टर्स को ईडी ने रायपुर स्थित अपने कार्यालय तलब कर लिया है। इन दोनों की वजह से कई सियासतदानों की भी सांस ऊपर-नीचे हो रही है, जबकि ये दोनों दुबई में एश की जिंदगी जी रहे हैं। कुछ साल पहले तक साधारण जिंदगी जीने वाले दोनों लड़के बहुत कम समय में कैसे अरबों के मालिक बन गए, यह कहानी हम सिलसिलेवार आपको बताने जा रहे हैं।

सौरभ चंद्राकर (Saurabh Chandrakar)के पिता रामेश्वर चंद्राकर नगर निगम में पंप कर्मचारी थे। रवि उप्‍पल (Ravi Uppal) के पिता भिलाई स्‍टील प्‍लांट (Bhilai Steel Plant) में सीनियर जनरल मैनेजर रहे हैं। करीबी लोग बताते हैं कि सौरभ ने अपने पिता से कुछ पैसे लेकर भिलाई में ही एक जूस सेंटर खोला। वहीं, रवि कम्प्‍यूटर का कोर्स करने के बाद एक प्राइवेट कंपनी में नौकरी करता था। इधर, जूस सेंटर चलाने के दौरान ही सौरभ सट्टा खेलने लगा। रवि भी उसके जूस सेंटर में आता था। इसी दौरान ऑनलाइन सट्टा को लेकर दोनों ने प्‍लानिंग की। पुलिस सूत्रों के अनुसार दोनों ने मिलकर 2017 में ऑनलाइन सट्टा के लिए वेबसाइट बनाया। शुरुआत में उतनी कमाई नहीं हो रही थी, लेकिन धीरे-धीरे उनके यूजर्स बढ़ने लगे।

Mahadev Gaming App: कोरोना और आईपीएल से चमकी किस्‍मत

2019 में कोरोना का दौर आया। इसी दौरान आईपीएस मौचों का आयोजन बिना दर्शक के हुआ। इन दोनों घटनाओं से सौरभ और रवि के ऑनलाइन गेमिंग बेवसाइट को काफी फायदा हुआ। कमाई लाखों से करोड़ों में पहुंचने लगी। महादेव एप का विज्ञापन छपने लगा।

सट्टा की कमाई छिपाने जूस सेंटर Mahadev Gaming App:

ऑनलाइन गेमिंग में कमाई बढ़ने के साथ ही सौरभ की लाइफ स्‍टाइल बदलने लगी, ऐसे में दोनों को लगा कि इससे वे आम लोगों के साथ ही सरकारी जांच एजेंसियों की नजर में आ जाएंगे। इससे बचने के लिए सौरभ ने जूस के कोरोबार को बढ़ाना शुरू किया। नेहरू नगर सड़क-11 में उसने ऑर्बिट फूड्स प्राइवेट लिमिटेड कंपनी खोला दी। बाद में भिलाई और दुर्ग के साथ ही रायपुर व कुछ और शहरों में इसके आउटलेट खोले गए। 2019 में सौरभ दुबई चला गया और अपने भाई गितेश चंद्राकर को इस कपंनी का डायरेक्टर को बना दिया। गितेश ने भी फरवरी 2022 में कथिततौर पर सौरभ जैन और शुभम गोस्वामी को कंपनी बेच दी है। अभी यही दोनों डायरेक्टर हैं।

Mahadev Gaming App: भिलाई से दुबई तक का सफर

भिलाई में रहते हुए सट्टा का कारोबार बढ़ने लगा, लेकिन इसके साथ ही खतरा भी बढ़ता जा रहा था। ऐसे में सौरभ ने दुबई जाने का प्‍लान बनाया। लोगों को बताया कि नौकरी करने दुबई जा रहा है। दुबई पहुंचते ही सौरभ ने ऑनलाइन गेमिंग के सिस्‍टम को लाइन अप किया और फिर कुछ समय बाद रवि को भी दुबई बुला लिया। पुलिस सूत्रों के अनुसार ऑनलाइन गेमिंग का पूरा प्‍लान रवि का था। अब दोनों दुबई में ही बैठक कर महादेव एप का पूरा सिस्‍टम ऑपरेट कर रहे हैं।

कई लोगों को पहुंचता था हिस्‍सा Mahadev Gaming App:

कोरबार बढ़ने के साथ ही सौरभ और रवि सिस्‍टम को अपने हिसाब से चलान के लिए पैसे बांटने लगे। ईडी के सूत्रों की माने तो छत्‍तीसगढ़ ही नहीं कुछ और राज्‍यों में भी सौरभ और रवि की अच्‍छी पकड़ हो गई थी। हर महीने मोटी रकम सिस्‍टम में बैठे लोगों तक पहुंचाया जाता था और इस तरह पूरा काम गुपचुप लेकिन पूरे जोरशोर से चलने लगा।

Mahadev Gaming App: जानिए...कैसे फूटा भंडा

सौरभ और रवि का काला कारनामा यानी महादेव एप का भंडाफोड़ कैसे हुआ इसको लेकर पुलिस और ईडी के अपने-अपने दावे हैं। छत्‍तीसगढ़ पुलिस के अफसर कहते हैं कि महादेव एप से जुड़े लोगों के खिलाफ पहली एफआईआर पुलिस ने दर्ज की है। एक स्‍थान पर रेड के दौरान पकड़े गए लोगों से महादेव एप के संबंध में पुलिस को जानकारी मिली थी। वहीं, ईडी के सूत्रों के अनुसार महादेव एप का क्‍लू आयकर के छापों के दौरान मिला था। ये छापे फरवरी 2020 में मारे गए थे। आयकर विभाग से मिले इनपुट के आधार पर ईडी ने ही मामले की जांच शुरू की।

Mahadev Gaming App: मई 2022 में पहला एफआईआर

महादेव एप और उससे जुड़े लोगों के खिलाफ राज्‍य पुलिस ने पहला एफआईआर मई 2022 भिलाई के सुपेला थाने में दर्ज किया गया। इसके बाद बिलासपुर जिला पुलिस ने भी कुछ स्‍थानों पर छापेमारी की। इस दौरान सट्टा खेलने और खिलाने के आरोप में दर्जनभर से ज्‍यादा लोग पकड़े गए, लेकिन दोनों मास्‍टर माइंड सौरभ और उप्‍पल दुबई में मौज करते रहे।

छत्‍तीसगढ़ के राजनेताओं से जुड़ा कनेक्‍शन, सीएम के करीबियों के यहां छापा

ईडी इस मामले में अब तक चार लोगों को गिरफ्तार कर चुकी है। इनमें एक राज्‍य पुलिस में एएसआइ चंद्रभूषण वर्मा भी शामिल है। इसके अलावा सतीश चंद्राकर, अनिल दम्मानी और सुनील दम्मानी भी पकड़े गए लोगों में शामिल हैं। इन चारों से पूछताछ के आधार पर ईडी ने मुख्‍यमंत्री के राजनीतिक सलाहकार विनोद वर्मा और उनके दो ओएसडी के यहां छापा मारा। भाजपा के प्रदेश महामंत्री और पूर्व नौकरशाह ओपी चौधरी इसको लेकर सरकार पर गंभीर आरोप लगा चुके हैं। चौधरी ने ईडी की तरफ से कोर्ट में पेश चालान का हवाला देते हुए बताया कि महादेव एप के जरिये बड़ी रकम हर महीने सरकारी लोगों तक पहुंचती थी। चौधरी के आरोपों को विस्‍तार से पढ़ने के लिए यहां क्‍लीक करें-

वहीं, ईडी के छापों से नाराज मुख्‍यमंत्री के राजनीतिक सलाहकार विनोद वर्मा ने ईडी की कार्यवाही पर सवाल उठाया। मुख्‍यमंत्री भूपेश बघेल ने दिल्‍ली में प्रेसवार्ता लेकर ईडी की कार्यवाही को लेकर केंद्र सरकार पर निशाना साधा। इधर, वर्मा ने कहा कि कार्यवाही के दौरान हम बार-बार ईडी के अफसरों से छापे का आधार पूछते रहे, लेकिन उन्‍होंने कुछ नहीं बताया। वर्मा ने कहा कि मेरे घर में जो कुछ भी है मेरी कमाई का है। उन्‍होंने बताया कि छापे के दौरान ईडी को दिए बयान में भी अपने साफ कहा कि आप ने मेरे घर में लूट और डकैती की है। आप मुझे प्रताडि़त कर रहे हैं। विनोद वर्मा ने और क्‍या कहा जानने के लिए यहां क्‍लीक करें

उधर, दिल्‍ली में प्रसेवार्ता के दौरान मुख्यमंत्री बघेल ने ईडी के छापों को लेकर कोर्ट से हस्तक्षेप करने का आग्रह किया है। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने छापों को राजनीति से प्रेरित बताते हुए कहा कि प्रजातंत्र खतरे में है, ऐसे में कोर्ट की बड़ी जिम्मेदारी बन जाती है उसे हस्तक्षेप करना चाहिए और इस पर रोक लगनी चाहिए। बघेल ने ईडी के छापों को लेकर और क्‍या कहा जानने के लिए यहां क्‍लीक करें

ईडी अब तक जब्‍त कर चुकी 417 करोड की संपत्ति

इस मामले में ईडी की कार्यवाही और जांच लगातार चल रही है। ईडी ने 15 सितंबर को रायपुर, भोपाल, मुंबई और कोलकाता में 39 स्थानों पर छापेमारी कर सटोरियों के ठिकानों से 417 करोड़ रुपए की अवैध संपत्ति जब्त की थी। इसमें बड़ी तादाद में सोने-चांदी के जेवर और कैश बरामद किया गया था। इस खबर और डिटेल में जानने के लिए यहां क्‍लीक करें

Mahadev Gaming App: जानिए... कैसे फूटा बॉलीवुड कनेक्‍शन

ऑनलाइन गेमिंग एप महादेव के साथ बॉलीवुड का कनेक्‍शन 2022 से जुड़ना शुरू हुआ, लेकिन यह हाईलाइट सौरभ की शादी से हुआ। सूत्रों के अनुसार ईडी को इस कनेक्‍शन के बारे में जानकारी थी और वह अंदर ही अंदर जांच भी कर रही थी। इस बीच फरवरी 2023 में सौरभ चंद्राकर की शादी का वीडियो वायरल हुआ। दुबई में हुई इस शादी में बॉलवुड के कई कलाकारों ने परफार्मेंश दिया। सौरभ की शादी पर करीब 200 करोड़ रुपये खर्च हुए। सौरभ ने विशेष प्‍लेन भेजकर अपने परिजनों को शादी में शामिल होने के लिए दुबई बुलाया। सौरभ की शादी में परफार्म करने वालों में नेहा कक्‍कड़, टाइगर श्राफ, सनी लियोनी, एली एवराम, आतिफ असलम, राहत फतेह अली खान, विशाल दादलानी, अली असगर, भाग्यश्री, कृति खरबंदा, पुलकित सम्राट, नुसरत भरूचा, कृष्णा अभिषेक सहित अन्‍य शामिल थे। देखें-सौरभ की शादी का वीडियो

जानिए कैसे जुड़ा बॉलीवुड से कनेक्‍शन

महादेव एप से संबंध के आरोपा में करीब 50 से ज्‍यादा फिल्‍मी हस्‍तियां ईडी की राडर पर हैं। इनमें कुछ को ईडी से पूछताछ के लिए तलब भी किया है। सूत्रों के अनुसार दुबई में रहने के दौरान सौरभ और रवि की पहचान योगेश पोपट से हुई। योगेश आर-1 इवेंट्स प्राइवेट लिमिटेड के नाम से कंपनी चलाता था। योगेश की मदद से सौरभ और रवि ने 18 सितंबर 2022 को महादेव एप की एनिवर्सरी के मौके पर दुबई में बड़ा आयोजन किया। इसमें 34 से ज्‍यादा फिल्‍मी हस्तियों को आमंत्रित किया गया था। ईडी के सूत्रों का दावा है कि कार्यक्रम में आने वाले सभी फिल्‍मी कलाकारों को हवाले के जरिये नगद पैसा दिया गया। इनमें सोनू सूद, संजय दत्त, सोनाक्षी सिन्‍हा, सुनील ग्रोवर, हार्डी संधू, सारा अली खान, गुरु रंधावा सहित अन्‍य शामिल थे। रणबीर कपूर और कपिल शर्मा पर महादेव एप को प्रमोट करने का आरोप है।

पढ़ि‍ए- रणबीर कपूर को ईडी का नोटिस



Sanjeet Kumar

संजीत कुमार: छत्‍तीसगढ़ में 23 वर्षों से पत्रकारिता में सक्रिय। उत्‍कृष्‍ट संसदीय रिपोर्टिंग के लिए 2018 में छत्‍तीसगढ़ विधानसभा से पुरस्‍कृत। सांध्‍य दैनिक अग्रदूत से पत्रकारिता की शुरुआत करने के बाद हरिभूमि, पत्रिका और नईदुनिया में सिटी चीफ और स्‍टेट ब्‍यूरो चीफ के पद पर काम किया। वर्तमान में NPG.News में कार्यरत। पंड़‍ित रविशंकर विवि से लोक प्रशासन में एमए और पत्रकारिता (बीजेएमसी) की डिग्री।

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