Jharkhand News: बहुओं के बीच कुर्सी की जंग: बड़ी के कारण टूटी छोटी बहू की कुर्सी की उम्‍मीद...

Jharkhand News: झारखंड में बड़े सियासी घटनाक्रम के बीच एक फैमली ड्रामा भी काफी चर्चा में है। यह ड्रामा सोरेन फैमली का है। हेमंत सोरेन के इस्‍तीफा के बाद उनकी पत्‍नी कल्‍पना का सीएम बनना लगभग तय था, लेकिन...

Update: 2024-02-01 09:30 GMT

Jharkhand News: एनपीजी न्‍यूज डेस्‍क

हेमंत सोरेन को पहले से यह समझ आ गया था कि प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) उन्‍हें गिरफ्तार करेगी। ऐसे में उन्‍हें मुख्‍यमंत्री का पद छोड़ना पड़ेगा। हेमंत जेल जाने से पहले अपनी पत्‍नी कल्‍पना सोरेन की ताजपोशी करना चाहते थे। इसके लिए उन्‍होंने पूरी तैयारी भी कर ली थी। करीब पखवाड़ेभर से कल्‍पना सोरेन विधायक दल की बैठकों मे नजर आ रही थीं। कल्‍पना के लिए हेमंत ने एक विधानसभा सीट खाली भी करा लिया था। झारखंड के मुख्‍यमंत्री के रुप में कल्‍पना की ताजपेशी लगभग तय हो गई थी, लेकिन हेमंत की भाभी बीच में आ गई।

दरअसल हेमंत सोरेन की भाभी सीता सोरेन राजनीति में सक्रिय हैं। दुमका की जामा विधानसभा सीट से वे तीसरी बार की विधायक हैं। चर्चा है कि सीता नहीं चाहती थीं कि कल्‍पना को मुख्‍यमंत्री बनाया जाए, वे कल्‍पना को सीएम बनाए जाने का विरोध कर रही थीं। इसी नाराजगी की वजह से वे एक दिन पहले हुई पार्टी के विधायक दल की बैठक में भी शामिल नहीं हुईं। सियासी गलियारों में चर्चा है कि इसी घरेलू कल्‍ह की वजह से हेमंत को चंपई सोरेन को झमुमो विधायक दल का नेता चुनना पड़ा।

हालांकि कल्‍पना के सीएम नहीं बनने की एक वजह नियम भी बताए जा रहे हैं। कल्‍पना अभी विधायक नहीं है। ऐसे में सीएम पद की शपथ लेने के बाद उन्‍हें विधायक का चुनाव लड़ना पड़ता। हेमंत ने इसी वजह से अपने एक विधायक का इस्‍तीफा करा दिया था। लेकिन बाद में इसमें भी नियम का पेंच आ गया। झारखंड में सरकार का कार्यकाल मात्र 11 महीने का बचा है। मई- जून में लोकसभा चुनाव संपन्‍न के बाद विधानसभा चुनाव की प्रक्रिया शुरू हो जाएगी। ऐसे में इतने कम समय के लिए आयोग उप चुनाव नहीं कराएगा। इस स्थिति में भी कल्‍पना मुख्‍यमंत्री नहीं बन सकती थीं।


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