सावधान! थकान, अत्यधिक पसीना और बदली हुई आवाज़ हो सकते थायरॉइड के लक्षण...इन घरेलू उपायों से भी मिलेगी राहत
NPG DESK
कई बार हम अजीब-सी थकान महसूस करते हैं। बहुत गर्मी न होते हुए भी पसीने से तर हो जाते हैं। परिजन पूछ बैठते हैं कि आज चेहरे में ये सूजन क्यों है? और कई बार हमें खुद की ही आवाज़ बदली-बदली सी लगती है। ऐसी तक़लीफें सामान्य रूप से 4-5 दिन में घरेलू उपायों या दवाइयों से ठीक भी हो जाती हैं पर कई बार लगता है कि ये समस्याएं पीछा ही नहीं छोड़ रहीं। यदि आप भी ऐसा महसूस कर रहे हैं तो एक बार थायरॉइड का टेस्ट ज़रूर करवा लें, क्योंकि ये लक्षण थायरॉइड के हो सकते हैं। आइए जानते हैं इस बीमारी और इससे बचाव और इलाज के बारे में।
*थायराॅइड क्या है?
थायराइड एक तितली के आकार की ग्रंथि है जो गर्दन में विंडपाइप यानी श्वासनली के सामने मौजूद होती है। थायराइड का कार्य हार्मोन को स्रावित करना है जो शरीर के कामकाज को बदलता और नियंत्रित करता है। थायरोक्सिन (T4) और ट्राईआयोडोथायरोनिन (T3) थायराइड हार्मोन हैं। ये हार्मोन थायरॉयड ग्रंथि द्वारा सीधे रक्त में मिलते हैं और उसके साथ शरीर के विभिन्न अंगों में घूमते हैं। ये हार्मोन शरीर के मेटाबाॅलिज़म को नियंत्रित करते हैं। थायरॉइड हार्मोन का कम या ज्यादा बनना ही इस बीमारी की जड़ है जो तमाम परेशानियों की वजह बनता है।
*थायरॉइड के प्रकार
हाइपोथायरायडिज़्म
हाइपोथायरायडिज्म एक ऐसी स्थिति है जहां आपका शरीर बहुत कम और अपर्याप्त थायराइड हार्मोन उत्पन्न करता है जो अंततः आपके शरीर को लंबे समय में बीमार कर देता है।
हाइपरथायरायडिज़्म
जब आपका थायराइड ठीक से काम नहीं कर रहा होता है, तो यह आपके पूरे शरीर में समस्याएं पैदा कर सकता है। यह एक ऐसी स्थिति है जिसमें आपके थायराइड हार्मोन का उत्पादन अधिक और अनियंत्रित होता है।
*थायराइड के लक्षण क्या हैं?
थायरॉइड के निम्नलिखित लक्षण हो सकते हैं-
1. गर्दन के सामने दर्द रहित सूजन होना।
2.तेज़ी से वजन बढ़ना
3.धड़कन (अपने खुद के दिल की धड़कन सुनना)
4. हृदय ताल की अनियमितता
5. उच्च हृदय गति
6.आंखों का का बाहर निकला हुआ सा प्रतीत होना
7. चिंता
8.अनिद्रा
9.अवसाद
10. बदला हुआ मासिक धर्म
11. बांझपन
12.आवाज़ बदलना
13.बहुत अधिक गर्मी या ठंड महसूस होना
14.डिस्पेनिया (सांस फूलना)
15.डिस्पैगिया (निगलने में कठिनाई) 16.आवाज की कर्कशता
17.बेहोशी के दौरे
* थायरॉइड के कारण
अधिक तनावपूर्ण जीवन जीने,आहार में आयोडीन की मात्रा कम या ज्यादा होने से थायरॉइड ग्रंथियाँ विशेष रूप से प्रभावित होती हैं।यह रोग अनुवांशिक भी हो सकता है। यदि परिवार के दूसरे सदस्यों को भी यह समस्या रही हो तो इसके होने के संभावना अधिक रहती है।महिलाओं में गर्भावस्था के दौरान थायरॉइड हार्मोन्स में असंतुलन देखा जाता है क्योंकि इस समय महिलाओं के शरीर में कई हार्मोनल बदलाव आते हैं। भोजन में सोया उत्पादों का अधिक इस्तेमाल करने के कारण भी थायरॉइड हो सकता है।
ऑटोइम्यून के कारण भी ऐसा हो सकता है। शरीर एंटीबॉडी बनाता है जो थायराइड को अत्यधिक उत्तेजित या बाधित कर सकता है।
* थायरॉइड के दौरान आपका खान-पान कैसा होना चाहिए
थायरॉइड होने पर कम फैट वाले आहार का सेवन करना चाहिए। ज्यादा से ज्यादा फलों एवं सब्जियों को भोजन में शामिल करें। विशेषकर हरी पत्तेदार सब्जियों का सेवन करें, इनमें उचित मात्रा में आयरन होता है जो थायरॉइड के रोगियों के लिए फायदेमंद है।पोषक तत्वों से भरपूर भोजन करें, मिनरल्स और विटामिन से युक्त भोजन लेने से थायरॉइड कन्ट्रोल से मदद मिलती है।
आयोडीन युक्त आहार का सेवन करें।
नट्स जैसे बादाम, काजू और सूरजमुखी के बीजों का अधिक सेवन करें, इनमें कॉपर की पर्याप्त मात्रा होती है जो कि थायरॉइड में फायदेमंद होता है।
* थायराइड के घरेलू उपचार
यदि आपको थायरॉइड हो गया है तो दूध और दही का अधिक सेवन करना चाहिए। विटामिन-ए का अधिक सेवन करना शामिल है, जैसे गाजर खाना। जंक फूड एवं प्रिजरवेटिव युक्त आहार को नहीं खाना चाहिए।
*थायरॉइड के दौरान जीवनशैली
थायरॉइड से निज़ात पाने के लिए घरेलू उपाय अपनाने के अलावा आप खान-पान और जीवनशैली में ये सब बदलाव करेंगे तो फायदा होगा-
1.नियमित रूप से प्राणायाम एवं ध्यान करें।
2.तनाव मुक्त जीवन जीने की कोशिश करें।
योगासन करें।
3.धूम्रपान, एल्कोहल आदि नशीले पदार्थों से बचें।
4.साबुत अनाज का सेवन करें इसमें फाइबर, प्रोटीन और विटामिन्स भरपूर मात्रा में होते हैं।
5.मुलेठी में मौजूद तत्व थायरॉइड ग्रन्थि को संतुलित बनाते हैं। यह थायरॉइड में कैंसर को बढ़ने से भी रेकता है।
6.गेहूँ और ज्वार का सेवन करें।
* क्या थायराइड रोग लाइलाज है?
थायराइड का इलाज संभव है। थायराइड का इलाज दवाओं, सर्जरी आदि से किया जा सकता है। रेडियोधर्मी आयोडीन से भी इसका इलाज किया जाता है। थायरॉयड ग्रंथि रेडियोधर्मी आयोडीन को अवशोषित करती है, जो ग्रंथि में कोशिकाओं को मार देती है।थायराइड के लक्षण पकड़ में आते ही तुरंत डॉक्टर से सलाह लेना जरूरी है।अन्यथा अनेक शारीरिक समस्याओं से दो-चार होना पड़ सकता है।