Shramik Anna Yojana: छत्तीसगढ़ में मजदूरों को सम्मान के साथ भरपेट भोजनः सरकारी श्रम अन्न योजना से छत्तीसगढ़ के मजदूरों को पांच रुपये में भरपेट भोजन

Shramik Anna Yojana: छत्तीसगढ़ सरकार मेहनकशों का भी प्रर्याप्त ध्यान रख रही है। उन्हें पांच रुपये में भरपेट भोजन कराया जा रहा है।

Update: 2025-04-16 09:15 GMT

Shramik Anna Yojana: रायपुर। मुख्यमंत्री विष्णु देव साय के नेतृत्व में राज्य सरकार किसानों, गरीबों और मजदूरों सहित सभी वर्गों के निरंतर विकास के लिए नीतिगत फैसले लेकर और योजनाओं के तहत कार्य कर रही है। जिसकी वजह से छत्तीसगढ़ में सभी वर्ग के लोग खुशहाल हैं। छत्तीसगढ़ के अधिकांश जिलों में श्रमिकों को पांच रुपये में भरपेट खाना मिल रहा है। श्रमिकों के लिए शहीद वीर नारायण सिंह श्रम अन्न योजना के तहत जिलों में मजदूरों के लिए कैंटिन का संचालन किया जा रहा है। इस योजना के माध्यम से श्रमिकों को मात्र पांच रुपये में भरपेट स्वादिष्ट और गरम भोजन उपलब्ध कराया जा रहा है। इस कैंटिन में श्रमिकों को चावल, दाल, सब्जी, पापड़, सलाद, अचार और रायता परोसा जा रहा है। श्रमिकों के लिए बैठने और खाने की बेहतर व्यवस्था भी की गई है। सप्ताह भर अलग-अलग सब्जी और दाल के साथ तैयार मेन्यू के अनुसार भोजन परोसा जाता है।

इस योजना का लाभ पंजीकृत श्रमिक अपने श्रमिक कार्ड दिखाकर उठा सकते हैं। वहीं, जो श्रमिक अभी तक पंजीकृत नहीं हुए हैं, वे कैंटिन में ही अपना श्रम पंजीयन कराकर इस सुविधा का लाभ ले सकते हैं। मुख्यमंत्री की श्रमिकों के प्रति संवेदनशीलता और उन्हें रियायती दर पर भोजन उपलब्ध कराने के लिए कैंटिन शुरू करने की इस पहल की श्रमिकों ने सराहना की है। कोरबा जिले के मजदूर भीखूराम ने बताया कि ये कैंटिन मजदूर वर्ग के लिए बेहद मददगार साबित हो रहा है। अब मजदूर पांच रुपये में गरम और स्वादिष्ट भोजन प्राप्त कर सकते हैं। वहीं बालोद जिले के हरीश कुमार ने कहा कि गांव से सब्जी बेचने और खरीदने आने वाले लोगों को अब भोजन के लिए दूर नहीं जाना पड़ेगा। यह सुविधा हमारे लिए बहुत लाभकारी है। एक अन्य मजदूर तरुण साहू मुख्यमंत्री की इस पहल की सराहना करते हुए कहते हैं कि पहले 15-20 रुपये में स्वल्पाहार मिलता था, लेकिन अब पांच रुपये में भरपेट भोजन करना संभव हो गया है।

मुख्यमंत्री जी ने मजदूरों की सेवा का बेहतरीन कार्य किया है। योजना के अंतर्गत दुर्ग जिले के तहसील चौक, चन्द्रा मौर्या टाकीज के पास, सुपेला भिलाई, बीआरपी चैक स्टेशन, मड़ोदा, कुम्हारी, क्षेत्र में भोजन वितरण किया जा रहा है। इसी तरह छावनी, भिलाई, हथखोज औद्योगिक क्षेत्र में भोजन वितरण का समय दोपहर रखा गया है। मात्र 5 रुपये में पौष्टिक भोजन उपलब्ध कराना श्रमिकों के जीवन में सकारात्मक बदलाव लाएगा। सरकार श्रमिकों के भोजन के साथ-साथ उनके बच्चों की शिक्षा और महिलाओं के स्वास्थ्य का भी ध्यान रख रही है। श्रमिक समाज की रीढ़ हैं, और यह योजना उनके लिए एक महत्वपूर्ण राहत प्रदान करेगी। इस योजना के तहत श्रमिकों को भोजन के साथ-साथ विभिन्न सरकारी योजनाओं की जानकारी भी दी जाएगी, जिससे वे शिक्षा, स्वास्थ्य और अन्य आवश्यक सुविधाओं का लाभ उठा सकें।

13 जिले में चल रहे 41 भोजन केन्द्र

श्रमिक कल्याण विष्णु देव साय सरकार की प्राथमिकता है। मुख्यमंत्री की मंशा है कि श्रमिकों के बच्चे भी समाज के अन्य वर्गों के बच्चों की तरह उन्हें भी आगे बढ़ने का अवसर मिले। इस दिशा में लगातार प्रयास किए जा रहे हैं। इसी कड़ी में अन्य सन्निर्माण कर्मकार कल्याण मण्डल के संचालक मण्डल के संचालक मंडल की बैठक में निर्माण श्रमिकों के योजनाओ का लाभ वित्तीय वर्ष 2025-26 में सुचारू रूप से प्रदाय के लिए 580 करोड़ 11 लाख रूपए का बजट का अनुमोदन किया गया। श्रम मंत्री लखन लाल देवांगन ने अधिकारियों को ई श्रम पोर्टल में अधिक से अधिक निर्माणी श्रमिक का पंजीयन कराने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि निर्माणी श्रमिकों के पंजीयन नवीनीकरण हेतु लंबित प्रकरण को शीघ्रता से परीक्षण कर नवीनीकरण किया जाए।

बैठक में शहीद वीरनारायण सिंह श्रम अन्न योजना के तहत् प्रदेश के समस्त जिलों मे भोजन केन्द्र प्रांरभ किये जाने के निर्देश दिए गए। वर्तमान में यह योजना प्रदेश के 13 जिला एवं 41 भोजन केन्द्र संचालित है। सरकार की ओर से छत्तीसगढ भवन एवं अन्य सन्निर्माण कर्मकार कल्याण मण्डल के 1 लाख 14 हजार 902 श्रमिकों को 53 करोड़ 43 लाख 74 हजार 915 रूपए एवं छत्तीसगढ़ असंगठित कर्मकार राज्य समाजिक सुरक्षा मंडल के 13 हजार 889 श्रमिको के 21 करोड़ 39 हजार 500 रूपए इस प्रकार कुल 1 लाख 28 हजार 791 श्रमिकों को राशि 74 करोड़ 44 लाख 14 हजार 415 रूपए डीबीटी जरिए वितरण किया गया है।

ये है श्रम अन्न योजना

छत्तीसगढ़ शहीद वीरनारायण सिंह श्रम अन्न योजना की शुरुआत छत्तीसगढ़ सरकार द्वारा की गई है। छत्तीसगढ, श्रम विभाग द्वारा छत्तीसगढ़ शहीद वीरनारायण सिंह श्रम अन्न योजना का संचालन किया जा रहा है। शहीद वीर नारायण सिंह श्रम अन्न योजना के तहत पंजीकृत श्रमिकों के लिए कम राशि में भोजन की व्यवस्था की जा रही है।

ये है योग्यता

छत्तीसगढ़ शहीद वीरनारायण सिंह श्रम अन्न योजना का लाभ लेने के लिए पंजीयन जरूरी है। लेकिन कई ऐसे जिले हैं, जहां पंजीयन जरुरी नहीं है। छत्तीसगढ़ शहीद वीरनारायण सिंह श्रम अन्न योजना के लिए निम्नांकित श्रेणी के नागरिक योग्य है। आवेदक छत्तीसगढ़ राज्य का स्थायी निवासी होना चाहिए। ऐसे श्रमिक जिसने पंजीकृत निर्माण श्रमिक के रूप में मण्डल में 90 दिवस पूर्ण कर लिए हो। योजना के अंतर्गत पात्र निर्माण श्रमिकों को चयनित स्थलों पर भोजन केन्द्रो में 5/- रुपए में गर्म भोजन वितरण किया जा रहा है। संगठित एवं पंजीकृत श्रमिकों को मात्र 10 रुपये में तथा असंगठित श्रमिकों को 5 रुपये में गर्म एवं पौष्टिक भोजन उपलब्ध कराया जा रहा है।

बिलासपुर, मनेंद्रगढ़ में श्रम अन्न केंद्र का शुभारंभ

श्रमिकों के हित में एक और महत्वपूर्ण पहल करते हुए बिलासपुर शहर के शनिचरी चांटीडीह इलाके में शहीद वीर नारायण सिंह श्रम अन्न केंद्र का शुभारंभ किया गया। विधायक सुशांत शुक्ला ने भक्त माता कर्मा जयंती के शुभ अवसर पर इस केंद्र का उद्घाटन किया और श्रमिकों के साथ बैठकर भोजन ग्रहण किया। यह श्रम अन्न केंद्र मात्र 5 रुपए में पंजीकृत श्रमिकों को भरपेट भोजन उपलब्ध कराएगा। योजना के तहत, इस केंद्र से प्रतिदिन लगभग 700 श्रमिकों को भोजन उपलब्ध कराया जाएगा। इससे पहले वृहस्पति बाजार और तिफरा में दो श्रम अन्न केंद्र पहले से संचालित थे, जिनसे कुल 1800 श्रमिकों को लाभ मिल रहा था। अब इस नए केंद्र के साथ यह संख्या और बढ़ेगी। लोकार्पण के दौरान विधायक सुशांत शुक्ला ने बताया कि चांटीडीह क्षेत्र के श्रमिकों ने तीन महीने पहले इस भोजन केंद्र की मांग रखी थी, जिसे मुख्यमंत्री विष्णु देव साय और श्रम मंत्री लखनलाल देवांगन के निर्देशानुसार अल्प समय में पूरा किया गया। उन्होंने श्रमिकों को शुभकामनाएं देते हुए आश्वासन दिया कि वे स्वयं आकस्मिक निरीक्षण कर भोजन की गुणवत्ता परखेंगे। इस अवसर पर महापौर पूजा विधानी ने कहा कि श्रमिकों को ट्रिपल इंजन सरकार का सीधा लाभ मिल रहा है।

कार्यक्रम के दौरान श्रम विभाग की सहायक आयुक्त ज्योति शर्मा ने बताया कि श्रमिक सुबह काम की तलाश में निकल जाते हैं और कई बार बिना भोजन किए ही काम में जुट जाते हैं, जिससे उनके स्वास्थ्य पर असर पड़ता है। इसे देखते हुए सरकार ने यह योजना लागू की है। अब वे मात्र 5 रुपए में पौष्टिक भोजन कर सकेंगे या टिफिन में पैक करवा कर भी ले जा सकेंगे। इसी तरह मनेन्द्रगढ़-चिरमिरी-भरतपुर जिले में शहीद वीर नारायण सिंह श्रम अन्न सहायता योजना का शुभारंभ हुआ। इस योजना के तहत संगठित और असंगठित श्रमिकों को मात्र 5 रुपये में गरम और पौष्टिक भोजन उपलब्ध कराया जाएगा। नगर पालिका अध्यक्ष प्रतिभा यादव ने मनेंद्रगढ़ के सब्जी मंडी क्षेत्र में अन्य सहायता योजना केन्द्र का उद्घाटन किया।

श्रम अधिकारी विनय सिंह ठाकुर ने बताया कि इस योजना का संचालन मेसर्स आर.के. एसोसिएट्स एंड हॉटिलियर्स प्राइवेट लिमिटेड, रायपुर द्वारा किया जाएगा। उन्होंने बताया कि जिले के लगभग 60 हजार श्रमिक इस योजना से लाभान्वित होंगे, जिनमें 22 हजार श्रमिक मनेंद्रगढ़ क्षेत्र से हैं। नगर पालिका अध्यक्ष प्रतिभा यादव ने कहा कि यह योजना श्रमिक वर्ग के लिए वरदान साबित होगी। मात्र 5 रुपये में भरपेट भोजन मिलने से उन्हें अब भोजन के लिए भटकना नहीं पड़ेगा। श्रम अन्न सहायता योजना के तहत श्रमिकों को भोजन उपलब्ध कराने के अलावा श्रम कार्ड पंजीकरण और विभिन्न योजनाओं की जानकारी भी दी जाएगी।

सवा साल में श्रमिकों के खाते में डाले 5 सौ करोड़ रूपए

मुख्यमंत्री विष्णु देव साय के नेतृत्व में प्रदेश सरकार द्वारा श्रमिकों एवं उनके परिजनों की बेहतरी के लिए अनेक योजनाएं संचालित की जा रही है। इन योजनाओं के माध्यम से श्रमिकों की सामाजिक एवं आर्थिक स्थिति के बेहतर बनाने के लिए लगातार आर्थिक मदद दी जा रही है। इसी सिलसिलें में श्रम मंत्री लखन लाल देवांगन ने नवा रायपुर स्थित छत्तीसगढ़ भवन एवं अन्य सनिर्माण कर्मकार मंडल कार्यालय में एक लाख 14 हजार 902 श्रमिकों के बैंक खाते में 53 करोड़ 43 लाख 74 हजार 915 रूपए डीबीटी के माध्यम से अंतरित की। श्रम मंत्री देवांगन ने कहा कि मुख्यमंत्री विष्णु देव की सरकार में प्रदेश के श्रमिकों और उनके परिवार के सदस्यों को लगातार योजनाओं का लाभ तेजी से मिल रहा है। श्रम विभाग के तीनों मंडल-छत्तीसगढ़ भवन एवं अन्य सनिर्माण कर्मकार मंडल, संगठित कर्मकार राज्य सामाजिक सुरक्षा मंडल एवं श्रम कल्याण मंडल के माध्यम से योजनाओं का सफल क्रियान्वयन हो रहा है। इसी का परिणाम है कि बीते सवा साल में श्रमिकों को विभिन्न योजनाओं के माध्यम से लगभग 500 करोड़ रूपए अंतरित किये जा चुके हैं।

एक लाख 14 हजार से ज्यादा मजदूरों को मिला लाभ

श्रम मंत्री लखन लाल देवांगन ने दीदी-ई रिक्शा सहायता योजना के अंतर्गत 42 हितग्राहियों को 42 लाख रूपए, निर्माण श्रमिकों के बच्चे हेतु गणवेश एवं पुस्तक कॉपी सहायता योजना के अंतर्गत 41 हजार 170 श्रमिकों को 5 करोड़ 52 लाख 12 हजार रूपए मिनीमाता महातारी जतन योजना के अंतर्गत 5222 श्रमिकों को 10 करोड़ 44 लाख 40 हजार रूपए, मुख्यमंत्री निर्माण मजदूर सुरक्षा उपकरण सहायता योजना के तहत् 9462 श्रमिकों को 1 करोड़ 41 लाख 93 हजार रूपए। मुख्यमंत्री निर्माण श्रमिक मृत्यु एवं दिव्यांग सहायता योजना 378 हितग्राहियों को 3 करोड़ 82 लाख रूपए, मुख्यमंत्री नोनी बाबू मेधावी शिक्षा सहायता योजना के तहत् 706 श्रमिकों के बच्चों को 1 करोड़ 26 लाख 30 हजार 24 रूपए, मुख्यमंत्री नोनी सशक्तिकरण सहायता योजना के अंतर्गत 7029 श्रमिकों को 14 करोड़ 5 लाख 80 हजार रूपए, मुख्यमंत्री नौनिहाल छात्रवृत्ति योजना के तहत् 33506 श्रमिकों के बच्चे को 7 करोड़ 13 लाख 10 हजार 500 रूपए, मुख्यमंत्री श्रमिक औजार सहायता योजना के अंतर्गत 9224 श्रमिकों को 3 करोड़ 20 लाख 89 हजार 668 रूपए, मुख्यमंत्री श्रमिक सियान सहायता योजना के तहत् 1546 हितग्राहियों को 3 करोड़ 9 लाख 20 हजार रूपए, मुख्यमंत्री सायकल सहायता योजना के अंतर्गत 5495 श्रमिकों को 2 करोड़ 38 लाख 74 हजार 523 रूपए, निर्माण श्रमिकों के बच्चों हेतु उत्कृष्ट खेल प्रोत्साहन योजना के अंतर्गत 4 हितग्राहियों को 1 लाख 55 हजार रूपए, मुख्यमंत्री निर्माण श्रमिक आवास सहायता योजना 58 हितग्राहियों को 58 लाख रूपए, मुख्यमंत्री निर्माण श्रमिक दीर्घायु सहायता योजना 4 श्रमिकों को 80 हजार रूपए, मुख्यमंत्री सिलाई मशीन सहायता योजना 83 श्रमिकों को 6 लाख 55 हजार 7 सौ रूपए, मुख्यमंत्री निर्माण श्रमिक पेंशन सहायता योजना 23 हितग्राहियों को 34 हजार 5 सौ रूपए डीबीटी के माध्यम से अंतरित किए गए। इस अवसर पर सचिव सह श्रमायुक्त अलरमेल मंगई डी छत्तीसगढ़ भवन एवं अन्य सनिर्माण कर्मकार मंडल के सचिव गिरिश कुमार रामटेके अपर आयुक्त श्रम एस. एल. जांगड़े एवं सविता मिश्रा सहित श्रमिक उपस्थित थे।

दिव्यांगों को मिली सहायता

कार्यक्रम के दौरान श्रम मंत्री लखन लाल देवांगन ने मुख्यमंत्री निर्माण श्रमिक मृत्यु एवं दिव्यांग सहायता योजना के अंतर्गत कुशालपुर रायपुर निवासी मनीष मरकाम एवं खमतरई निवासी मंग्लीन साहू को एक-एक लाख रूपए की सहायता राशि का चेक, मुख्यमंत्री नोनी सक्तिकरण सहायता योजना के तहत रायपुर निवासी अनीता नाग एवं रायपुर निवासी संगीता ढीमर को 20-20 हजार रूपए का चेक, की चेक प्रदाय किया गया। मुख्यमंत्री श्रमिक सियान सहायता योजना के अंतर्गत चंगोरा भाठा निवासी बिहारी लाल देवांगन एवं भवानी नगर कोटा रायपुर निवासी राही साहू को 20-20 हजार रूपए का चेक, मुख्यमंत्री नौनिहाल छात्रवृत्ति योजना तहत कुशालपुर निवासी लक्ष्मी सोनकर को 8 हजार रूपए,  मुख्यमंत्री नोनी बाबू मेधावी शिक्षा सहायता योजना के तहत शैल सार्वे को 5 हजार का चेक प्रदान किया।

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