High Court News: PSC और RTI विवाद पर हाईकोर्ट का बड़ा फैसला, 30 दिन में देनी होगी जानकारी
अभ्यर्थी ने प्रारंभिक एवं मुख्य परीक्षा के अंकों की जानकारी साझा करने सूचना के अधिकार के तहत पीएससी में आवेदन दिया था पीएससी द्वारा जानकारी नहीं देने पर राज्य सूचना आयोग में अपील की थी राज्य सूचना आयोग द्वारा जानकारी देने के आदेश हुए थे। आदेश के खिलाफ पीएससी ने हाईकोर्ट में अपील की थी। हाईकोर्ट ने पीएससी को 30 दिनों में अभ्यर्थी कोमांगी गई जानकारी उपलब्ध करवाने के निर्देश दिए हैं। इसके साथी याचिका निराकृत कर दी गई।
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बिलासपुर। छत्तीसगढ़ लोक सेवा आयोग (सीजीपीएससी) की एक भर्ती परीक्षा से जुड़ी जानकारी को लेकर शुरू हुआ आरटीआइ विवाद अब अपने अंतिम पड़ाव पर पहुंच गया है। हाईकोर्ट ने सुनवाई के बाद स्पष्ट निर्देश दिया कि आयोग को 30 दिनों के भीतर अभ्यर्थी को मांगी गई जानकारी उपलब्ध करानी होगी। इसके साथ ही न्यायालय ने इस मामले में दायर याचिका को निराकृत कर दिया।
रायपुर निवासी चंद्रकांत पांडेय ने सूचना के अधिकार (आरटीआइ) के तहत पीएससी की एक भर्ती परीक्षा में प्रारंभिक और मुख्य परीक्षा में प्राप्त अंकों की जानकारी मांगी थी। आयोग ने यह कहकर जानकारी देने से इंकार कर दिया था कि इस संबंध में याचिका लंबित है। इसके बाद अभ्यर्थी ने राज्य सूचना आयोग में अपील की। आयोग ने 10 जनवरी 2019 को पीएससी को निर्देश दिया कि मांगी गई जानकारी प्रदान की जाए। इस आदेश को पीएससी ने छत्तीसगढ़ हाईकोर्ट में चुनौती दी और कहा कि जब तक याचिका लंबित है, जानकारी देना संभव नहीं।
हाईकोर्ट में मामले की सुनवाई में आयोग की ओर से अधिवक्ता आनंद मोहन तिवारी ने कोर्ट को बताया कि संबंधित याचिका पर सितंबर 2024 में निर्णय आ चुका है और अब आयोग को जानकारी देने में कोई आपत्ति नहीं है। उन्होंने सुप्रीम कोर्ट के केरल लोक सेवा आयोग बनाम राज्य सूचना आयोग के फैसले का हवाला देते हुए कहा कि अंकों की जानकारी साझा करने में कोई कानूनी बाधा नहीं है। उन्होंने यह भी बताया कि चयनित अभ्यर्थियों के अंक आयोग की वेबसाइट पर पहले से ही सार्वजनिक किए जा चुके हैं। इन सभी तथ्यों पर गौर करते हुए हाईकोर्ट ने आयोग को आदेश दिया कि 30 दिनों के भीतर आरटीआइ के तहत मांगी गई पूरी जानकारी अभ्यर्थी को उपलब्ध कराई जाए। कोर्ट ने इसके साथ ही पीएससी की याचिका को भी निराकृत कर दिया।