Bilaspur High Court: शिक्षिका से दुष्कर्म! हाई कोर्ट ने ख़ारिज की अपील, कहा... आप पढ़ी-लिखी हैं, सब समझती हैं

बिलासपुर छत्तीसगढ़ क़े बिलासपुर हाई कोर्ट ने घटना के संबंध में याचिकाकर्ता द्वारा बताई गई बातों को विश्वसनीय नहीं माना. कोर्ट ने अपने फैसले में दोटूक कहा

Update: 2024-10-06 04:39 GMT

बिलासपुर छत्तीसगढ़ क़े बिलासपुर हाई कोर्ट ने घटना के संबंध में याचिकाकर्ता द्वारा बताई गई बातों को विश्वसनीय नहीं माना. कोर्ट ने अपने फैसले में दोटूक कहा कि पीड़िता अध्यापिका है वह सब कुछ जानती और समझती है, उसकी सहमति से ही सम्बंध बना था. कोर्ट ने याचिकाकर्ता की अपील को खारिज करते हुए ट्रायल कोर्ट के आदेश को यथावत रखा. पढ़िए हाई कोर्ट ने इस झूठे मुकदमे को लेकर क्या फैसला सुनाया है.

बिलासपुर. सहमति से संबंध मामले में छत्तीसगढ़ क़े बिलासपुर हाई कोर्ट ने अहम आदेश दिया है. दरअसल, एक शिक्षिका ने ट्रायल कोर्ट के फैसले को चुनौती देते हुए हाई कोर्ट में बलात्कार के आरोपी को सजा देने की मांग की थी. याचिकाकर्ता ने अपने आपको पीड़िता बताते हुए याचिका दायर की. मामले की सुनवाई के दौरान झूठे मुकदमे को लेकर हाई कोर्ट की नाराजगी सामने आई. नाराज कोर्ट ने तल्ख टिप्पणी के साथ याचिका को न केवल खारिज कर दिया है, साथ ही ट्रायल कोर्ट के फैसले को बरकरार भी रखा. बता दें कि ट्रायल कोर्ट से मुकदमा हारने के बाद शिक्षिका ने हाई कोर्ट में याचिका दायर की थी. हाई कोर्ट ने अपने फैसले में आरोपी शिक्षक को दोषमुक्त कर दिया है.

हाई कोर्ट ने अपने फैसले में गंभीर टिप्पणी करते हुए कहा है कि पीड़िता अध्यापिका है वह सब कुछ समझती है, उसकी सहमति से ही सम्बंध बना था. इस पूरे मामले में याचिकाकर्ता शिक्षिका की कहानी अविश्वनीय है।

00 इतनी बड़ी घटना हुई और आसपास के लोगों को भनक तक नहीं लगी

गवाहों के बयान और प्रतिपरीक्षण के दौरान ट्रायल कोर्ट ने पाया कि पीड़िता जिस मोहल्ले में किराए के मकान में रहती है। आसपास के लोगों को  इतनी बड़ी घटना की जानकारी ही नहीं लग पाई. घटना के बाद पीड़िता ने भी किसी से जिक्र ही नहीं किया. शिक्षक की और से पेश गवाहों ने बताया कि आरोपी के समाज में चू़ड़ी शादी का प्रचलन है। इसी प्रथा से शिक्षिका को चूड़ी पहना कर शादी किया। और उसे अपने घर भी लेकर गया था।

00 कोर्ट ने ये कहा

हाई कोर्ट ने अपने फैसले में लिखा है कि याचिकाकर्ता की तरफ से पेश किये गये सभी तर्क अविश्वनीय है। यह जानते हुए भी कि वह अध्यापिका है। सब कुछ जानती समझती भी है। बिना सहमति संबध संभव नहीं है।

क्या है मामला

बलौदाबाजार जिले के शासकीय प्राथमिक विद्यालय में पदस्थ शिक्षिका ने रिपोर्ट लिखाई थी कि, वह अपने बच्चे के साथ किराये में कमरा लेकर रहती है. जुलाई 2018 की दोपहर को घर में थी. दोपहर 12 बजे के करीब पास ही के गांव के मीडिल स्कूल का शिक्षक घर आया व पहले बच्चे को चॉकलेट खाने 100 रु देकर बाहर भेजा दिया. इसके बाद आरोपी ने शादी करने की बात कही और नहीं मानने पर बच्चे को मारने की धमकी देकर उसके साथ जबरदस्ती दुष्कर्म किया. इसके बाद वह उसके घर बारबार आता था. रिपोर्ट पर पुलिस ने जुर्म दर्ज कर न्यायालय में चालान पेश किया. सुनवाई के बाद कोर्ट ने अपराध सिद्ध नहीं होने पर आरोपी को ट्रायल कोर्ट दोष मुक्त कर दिया था.

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