छत्तीसगढ विधानसभा ने रचा इतिहास,  नगरनार मामले में सर्वसम्मति से प्रस्ताव पारित – “यदि डिसइंवेस्टमेंट होता है तो छत्तीसगढ़ सरकार इसे ख़रीदेगी” मुख्यमंत्री बघेल ने कहा – “सदन का आभार..”

Update: 2020-12-28 08:19 GMT

रायपुर,28 दिसंबर 2020।विधानसभा ने नगरनार के नीजिकरण मसले पर सर्वसम्मति से शासकीय प्रस्ताव पारित कर दिया।इस प्रस्ताव के दौरान हालाँकि पक्ष विपक्ष के बीच कुछ मसलों को लेकर जमकर बहस भी हुई।लेकिन अंत सर्वसम्मति से प्रस्ताव पारित होने के रुप में हुआ।हालाँकि सर्वसम्मति के लिए विपक्ष के आग्रह के बाद शासकीय प्रस्ताव के शब्दों में आशिंक परिवर्तन किया गया।
दरअसल इस शासकीय प्रस्ताव को लेकर चर्चा के दौरान विपक्ष ने सवाल किया कि, आखिर डिसइंवेस्टमेंट हो रहा है इसका कहीं कोई प्रमाण ही नही है, तो इस प्रस्ताव पर चर्चा कैसे होगी। इस के बाद चर्चा के बीच सदस्य अजय चंद्राकर और शिवरतन शर्मा ने चुनौती के अंदाज में कहा –
“आप यह क्यों नही कहते कि, यदि ऐसा है तो छत्तीसगढ सरकार ख़रीदेगी.. आप लाईए प्रस्ताव”
सदन के नेता मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने झट से इसे स्वीकारा और प्रतिप्रश्न किया –
“ठीक है, ख़रीदेगी छत्तीसगढ सरकार.. आप प्रस्ताव को सर्वसम्मति से स्वीकार करेंगे न”
इस पर सदस्य अजय चंद्राकर ने कहा –
“हम बिलकुल सर्वसम्मति देंगे आप प्रस्ताव के शब्द बदलिए.. उसमें दर्ज करिए कि.. यदि डिसइंवेस्टमेंट होता है तो छत्तीसगढ सरकार इसे ख़रीदेगी”
इसके तुरंत बाद मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने सदस्य अजय चंद्राकर के द्वारा किए आग्रह को स्वीकारते हुए इन शब्दों में प्रस्ताव दिया –
“यदि केंद्र सरकार नगरनार में डिसइंवेस्टमेंट करती है तो छत्तीसगढ सरकार इसे ख़रीदेगी”
और इसके ठीक बाद छत्तीसगढ विधानसभा ने इतिहास रच दिया और यह प्रस्ताव सर्वसम्मति से पारित हो गया।
इसके ठीक बाद मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कुछ इन शब्दों में आभार प्रकट किया –
“यह सर्वसम्मति बताती है कि, हमारी राजनैतिक सोच जो भी हो लेकिन हम सब छत्तीसगढ़ के हितों के लिए एक है”

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