Bihar Election 2025: बिहार में कब होंगे विधानसभा चुनाव 2025? आ गया बड़ा अपडेट! जानिए चुनाव की तारीख और चरणों की पूरी जानकारी
बिहार विधानसभा चुनाव 2024 को लेकर एक बड़ा अपडेट सामने आया है। सूत्रों के अनुसार, चुनाव आयोग सितंबर के पहले सप्ताह में चुनाव की तारीखों का ऐलान कर सकता है। आयोग ने इसकी तैयारियां भी शुरू कर दी हैं और संभावना जताई जा रही है कि इस बार भी चुनाव तीन चरणों में संपन्न कराए जा सकते हैं, जैसा कि 2020 में हुआ था।
Bihar Election 2025: बिहार में कब होंगे विधानसभा चुनाव 2025? आ गया बड़ा अपडेट! जानिए चुनाव की तारीख और चरणों की पूरी जानकारी
बिहार विधानसभा चुनाव 2024 को लेकर एक बड़ा अपडेट सामने आया है। सूत्रों के अनुसार, चुनाव आयोग सितंबर के पहले सप्ताह में चुनाव की तारीखों का ऐलान कर सकता है। आयोग ने इसकी तैयारियां भी शुरू कर दी हैं और संभावना जताई जा रही है कि इस बार भी चुनाव तीन चरणों में संपन्न कराए जा सकते हैं, जैसा कि 2020 में हुआ था।
22 नवंबर को समाप्त होगा विधानसभा का कार्यकाल-
विधानसभा का कार्यकाल इस बार 22 नवंबर को समाप्त हो रहा है, इसलिए आयोग नवंबर से पहले चुनाव कराने की दिशा में काम कर रहा है। पिछली बार 2020 में कोविड महामारी के दौरान 25 सितंबर को चुनाव की घोषणा की गई थी, जबकि 2015 में 9 सितंबर को चुनाव के तारीखों की घोषणा की गई थी।
चुनाव आयोग की तैयारी-
चुनाव आयोग इस बार मतदाता सूची को और पारदर्शी बनाने की दिशा में सक्रिय है। ऐसे वोटरों से संपर्क किया जा रहा है जिन्होंने अब तक आधार नंबर लिंक नहीं कराया है। इसके लिए बीएलओ मतदाताओं से संपर्क करेंगे और फर्जी मतदाताओं की पहचान कर सूची से हटाने की प्रक्रिया तेज होगी। राज्य की सभी प्रमुख पार्टियों ने अपने स्तर पर तैयारियां तेज कर दी हैं। चुनावी रैलियां, रणनीति और प्रचार अभियान की प्लानिंग जोरों पर है।
विधानसभा चुनाव में बिहार की क्या है स्थिति-
बिहार विधानसभा चुनाव 2025 में इस बार अनेक पार्टियां हैं जो मैदान में उतरी हैं। भारतीय जनता पार्टी, जनता दल (यूनाइटेड), लोक जनशक्ति पार्टी, हिंदुस्तानी अवाम मोर्चा, राष्ट्रीय लोक मोर्चा, राष्ट्रीय जनता दल, भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस, भाकपा (माले), भाकपा, माकपा, विकासशील इंसान पार्टी, बहुजन समाज पार्टी, ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन, आम आदमी पार्टी, जनसुराज पार्टी इस बार मैदान में हैं।
प्रचार प्रसार में जुटी पार्टियां-
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने हाल ही में बिहार में कई विकास परियोजनाओं का उद्घाटन किया और रैलियों के माध्यम से जनता को संबोधित किया। उन्होंने पूर्ववर्ती सरकारों पर "जंगलराज" का आरोप लगाते हुए एनडीए सरकार की उपलब्धियों को रेखांकित किया। उनकी रणनीति है विकास और सुशासन के मुद्दों को केंद्र में रखकर चुनावी माहौल तैयार किया। बिहार में चिराग पासवान को विधानसभा चुनाव लड़ने के लिए प्रोत्साहित किया जा रहा है, जिससे पार्टी की राज्य में पकड़ मजबूत हो सके। इधर आम आदमी पार्टी ने INDIA गठबंधन से अलग होकर अकेले चुनाव लड़ने का निर्णय लिया है, जिससे विपक्षी एकता पर असर पड़ सकता है। तेज प्रताप यादव को पार्टी से निष्कासित किया गया है, जिससे RJD में आंतरिक तनाव बढ़ा है। वहीं इस बार के चुनाव में प्रशांत किशोर जो पहले चुनावी रणनीतिकार के रूप में जाने जाते थे, अब बिहार में 'जनसुराज' आंदोलन के माध्यम से राजनीति सक्रिय नजर आ रहे हैं।
पिछले चुनाव के परिणाम-
2020 के चुनाव में कुल 243 सीटों में से बहुमत के लिए 122 सीटों की आवश्यकता थी। जिसमें राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (एनडीए) को 125 सीटें मिली थीं। जिनमें से बीजेपी को 74 सीटें, जेडीयू को 43 सीटें, विकासशील इंसान पार्टी पार्टी को 4, हिंदूस्तानी आवाम मोर्चा पार्टी को 4 सीट पर जीत हासिल हुई थी पिछले चुनाव में महागठबंधन ने 110 सीटों पर जीत हासिल की थीं। जिनमें से आरजेडी को 75 सीटें, भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस को 19 सीटें, भाकपा (माले) को 12 सीटें, भाकपा को 2 सीटें, माकपा को 2 सीटें, AIMIM को 5 सीटें, BSP को 1 सीट, LJP को 1 सीट, निर्दलीय को 1 सीट पर जीत हासिल हुई थी। पिछले चुनाव में RJD सबसे बड़ी एकल पार्टी बनकर उभरी थी, जबकि NDA ने बहुमत हासिल कर सरकार बनाई थी।
निष्कर्ष-
बिहार विधानसभा चुनाव 2025 में प्रशांत किशोर की नई राजनीतिक पहल, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की विकासोन्मुखी रणनीति और केंद्र सरकार द्वारा बजट में की गई घोषणाएँ चुनावी समीकरणों को प्रभावित कर रही है। जहाँ एक ओर एनडीए सरकार विकास और सुशासन को केंद्र में रखकर चुनावी अभियान चला रही है, वहीं दूसरी ओर प्रशांत किशोर जनता से सीधे संवाद स्थापित कर एक वैकल्पिक राजनीतिक विकल्प प्रस्तुत कर रहे हैं। बहरहाल ये तो आने वाला समय ही बताएगा कि नतीजे किसके पक्ष में होंगे।