Chhattisgarh TI Suspended: छत्तीसगढ़ में गजब भ्रष्टाचार: फोन पे पर रिश्वतखोरी, महिला थाना प्रभारी और प्रधान आरक्षक निलंबित...

Chhattisgarh TI Suspended: वाहन चेकिंग के नाम पर युवक को थाने में बैठा फोन पर के माध्यम से रिश्वत लेने और जनप्रतिनिधियों से दुर्व्यवहार की शिकायत मिलने पर महिला टीआई और प्रधान आरक्षक को निलंबित कर दिया गया है।

Update: 2025-04-16 09:33 GMT
Chhattisgarh TI Suspended: छत्तीसगढ़ में गजब भ्रष्टाचार: फोन पे पर रिश्वतखोरी, महिला थाना प्रभारी और प्रधान आरक्षक निलंबित...
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Chhattisgarh TI Suspended: कोरबा। अवैध वसूली की शिकायत मिलने पर थाना प्रभारी और प्रधान आरक्षक को एसपी सिद्धार्थ तिवारी ने निलंबित कर दिया है। वाहन चेकिंग के दौरान अवैध रूप से युवक को थाने में बैठाने और फिर पैसा लेकर बिना कार्यवाही किए छोड़ने के मामले में एसपी ने आईपीएस रविन्द्र कुमार मीणा से जांच करवाने के बाद अवैध वसूली की पुष्टि होने पर कार्यवाही की है।

पुलिस अधीक्षक ने जिले में अवैध शराब और शराब पीकर वाहन चलाने वालों पर कार्यवाही के निर्देश दिए हैं। जिसके चलते जिले में लगातार अवैध शराब और वाहन चेकिंग अभियान चलाया जा रहा है। इसी क्रम में बांगो थाना क्षेत्र में वाहन चेकिंग अभियान चलाया जा रहा था। चेकिंग में सचिन कुमार मिश्रा शराब पीकर वाहन चलाते हुए मिला। उसे थाना प्रभारी उषा सोंधिया के आदेश पर प्रधान आरक्षक जितेंद्र जायसवाल ने थाने में बैठा लिया। थाना प्रभारी की शह पर उससे रुपयों की मांग की है। रुपए नहीं देने पर गाड़ी की जप्ती कर कोर्ट में प्रस्तुत करने की धमकी दी गई। वाहन चालक सचिन मिश्रा ने नगद रुपए नहीं होने पर फोन पे के माध्यम से दस हजार 500 रुपए पुलिसकर्मी को दे दिए। इसके बाद उसे बिना कार्यवाही के थाने से वाहन समेत जाने दे दिया गया।


नियमों के अनुसार शराब पीता हुआ पाए जाने पर मोटर व्हीकल एक्ट की धारा 185 के तहत गाड़ी को जप्त कर थाने में खड़ा करवाया जाता है। वाहन चालक जब कोर्ट में जाकर 10 हजार 500 रुपए का फाइन जमा कर कोर्ट का सुपुर्दनामा आदेश लेकर थाने में जमा करता है तब वाहन को छोड़ा जाता है। जबकि इस मामले में थाने में सीधा ही पुलिसकर्मियों ने 10 हजार 500 रुपए फोन पे के माध्यम से ले लिए। नियमतः देखा जाए तो शराब पीकर वाहन चलाने वाले मामले में पुलिस गाड़ी जप्त तो कर सकती है पर छोड़ना कोर्ट के आदेश से ही हो सकता है। इस मामले में युवक को घंटों थाने में बिठाने के बाद बिना कार्रवाई के छोड़ दिया गया।

युवक ने थाने से छुटने के बाद पाली जनपद अध्यक्ष और अन्य जनप्रतिनिधियों से शिकायत की। जनप्रतिनिधियों ने जब थाना प्रभारी से चर्चा की तो उनसे भी दुर्व्यवहार किया गया। इस मामले में पुलिस अधीक्षक सिद्धार्थ तिवारी को शिकायत करते हुए बताया गया कि अवैध शराब पकड़ने और वाहन चेकिंग के नाम पर वसूली और जनप्रतिनिधियों से दुर्व्यवहार किया गया है। मामले की शिकायत मिलने पर एसपी ने आईपीएस रविन्द्र मीणा से जांच करवाई। जांच में अवैध वसूली के साक्ष्य मिले और बिना कार्यवाही के पैसे लेकर थाने से वाहन चालक को छोड़ने की पुष्टि हुई। मामले में एसपी सिद्धार्थ तिवारी ने आईपीएस रविन्द्र कुमार मीणा की जांच रिपोर्ट मिलने के बाद थाना प्रभारी बांगो निरीक्षक सोंधिया और प्रधान आरक्षक जितेंद्र जायसवाल को निलंबित कर दिया है। दोनों को रक्षित केंद्र कोरबा में अटैच किया गया है।

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