Adani Stock Manipulation: अडानी को बड़ा झटका : DRI खोलेगी कोयला फ़ाइल

Adani Stock Manipulation: डीआरआई यानी डायरेक्ट्रेट ऑफ रेवेन्यू इंटेलीजेंस ने कोयला इंपोर्ट के कथित अधिक मूल्यांकन के लिए अडानी ग्रुप की जांच फिर से शुरू करने की अनुमति मांगी है...

Update: 2023-11-17 08:20 GMT

Adani coal Dri 

Adani Stock Manipulation: डीआरआई यानी डायरेक्ट्रेट ऑफ रेवेन्यू इंटेलीजेंस ने कोयला इंपोर्ट के कथित अधिक मूल्यांकन के लिए अडानी ग्रुप की जांच फिर से शुरू करने की अनुमति मांगी है. समाचार एजेंसी रॉयटर्स ने शुक्रवार को बताया कि जांच एजेंसी ने सिंगापुर से सबूत इकट्ठा करने की अनुमति के लिए सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया है.

बताया जाता है कि, डीआरआई सिंगापुर के अधिकारियों से अडानी के लेन-देन से संबंधित दस्तावेजों को साल 2016 से प्राप्त करने की कोशिश कर रहा है. डीआरआई को शक है कि इंडोनेशियाई सप्लायर्स से आयातित ग्रुप के कई कोयला शिपमेंट को पहले इसकी सिंगापुर यूनिट, अडानी ग्लोबल पीटीई और फिर इसकी भारतीय शाखाओं को कागज पर ज्यादा कीमत पर बिल किया गया था.

रॉयटर्स की रिपोर्ट में दावा है कि गौतम अडानी के वाली अडानी एंटरप्राइजेज और उसकी सहायक कंपनियों ने दस्तावेजों की रिलीज को रोकने के लिए भारत और सिंगापुर में बार-बार कानूनी चुनौतियों का सामना किया है. 9 अक्टूबर की कानूनी फाइलिंग में, डीआरआई ने सुप्रीम कोर्ट से पिछले निचली अदालत के आदेश को रद्द करने के लिए कहा, जिसने अडानी ग्रुप की कंपनी को अधिकारियों को सिंगापुर से सबूत इकट्ठा करने से रोकने की अनुमति दी थी.

वहीं, अडानी ग्रुप ने अपने ऊपर लगे सभी आरोपों से इनकार नहीं किया है. अडानी ग्रुप का कहना है कि भारतीय अधिकारियों ने बंदरगाहों से कोयला जारी करने से पहले उसके कोयला शिपमेंट का आकलन किया था. शुक्रवार सुबह 9.50 बजे अडानी एंटरप्राइजेज के शेयर 1.01 फीसदी की तेजी के साथ 2,227.30 रुपये पर कारोबार कर रहे थे.

DRI अधिकारियों का दावा 

भारतीय अधिकारियों ने अडानी ग्रुप की कंपनियों से जुड़े 1,300 शिपमेंट की समीक्षा की है. कोर्ट में अपनी सब्मीशन में आरोप लगाया है कि इसने इंडोनेशिया से एक्सपोर्ट प्राइस की तुलना में कोयले के इंपोर्ट प्राइस को हद से ज्यादा है. ताकि देश में बिजली की ऊंची कीमतें वसूला जा सके. डीआरआई ने दावा किया कि इसमें शामिल रकम अरबों रुपये में हो सकती है. एक अधिकारी ने रॉयटर्स को बताया कि जांचकर्ता सिंगापुर के अधिकारियों से जो सबूत मांग रहे हैं, उनमें अडानी के 20 बैंकों से लेनदेन के दस्तावेज शामिल हैं, जो मामले में फाइनेंशियल ट्रेल इस्टैब्लिश करने में मदद कर सकते हैं.

उस वक़्त अदालत ने क्या कहा था

अडानी की चुनौती पर, 2019 में बॉम्बे हाई कोर्ट ने अडानी के खिलाफ सबूत इकट्ठा करने के भारतीय जांचकर्ताओं के अनुरोध को कैंसल करने में प्रोसिजरल खामियों का हवाला दिया था. कुछ दिनों बाद, एजेंसी ने सुप्रीम कोर्ट में अपील की, जिसने मुंबई के फैसले को “अगले आदेश तक” रोक दिया, जिसके बारे में एजेंसी ने बाद में सुप्रीम कोर्ट में दायर याचिका में तर्क दिया कि “जांच जारी रखी जा सकती है”. लेकिन 2020 के अंत में अडानी के अनुरोध के बाद सिंगापुर की अदालत ने कहा कि दस्तावेज़ों को अभी जारी नहीं किया जाना चाहिए क्योंकि भारत की सुप्रीम कोर्ट अंतिम फैसले पर नहीं पहुंची है.

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