Khalistan To Bharat: भारत के खिलाफ खालिस्तानी संगठन ने कनाडा PM से रखी ये डिमांड

Khalistan To Bharat: कनाडा में भारतीय वाणिज्य दूतावासों को 'बंद' करने का आह्वान करते हुए एक खालिस्तानी समर्थक संगठन ने कहा है कि प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो द्वारा नई दिल्ली पर खालिस्तानी आतंकवादी हरदीप सिंह निज्जर की हत्या में शामिल होने का आरोप लगाए जाने के बाद वह अगले सप्ताह से शांतिपूर्ण विरोध प्रदर्शन करेगा...

Update: 2023-09-19 04:50 GMT

Khalistan Movement 

Khalistan To Bharat: कनाडा में भारतीय वाणिज्य दूतावासों को 'बंद' करने का आह्वान करते हुए एक खालिस्तानी समर्थक संगठन ने कहा है कि प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो द्वारा नई दिल्ली पर खालिस्तानी आतंकवादी हरदीप सिंह निज्जरकी हत्या में शामिल होने का आरोप लगाए जाने के बाद वह अगले सप्ताह से शांतिपूर्ण विरोध प्रदर्शन करेगा।

कनाडा में खालिस्तानी जनमत संग्रह का नेतृत्व कर रहे निज्जर को इस साल 18 जून को ब्रिटिश कोलंबिया के सरे शहर में गुरु नानक सिख गुरुद्वारे की पार्किंग में गोली मार दी गई थी।

वैंकूवर स्थित ग्लोबल न्यूज की रिपोर्ट के अनुसार, भारत में प्रतिबंधित सिख फॉर जस्टिस ने कहा कि 25 सितंबर को ओटावा, टोरंटो और वैंकूवर में भारतीय वाणिज्य दूतावासों के बाहर विरोध प्रदर्शन किया जाएगा।

एसएफजे के कानूनी सलाहकार गुरपतवंत सिंह पन्नून ने ग्लोबल न्यूज को बताया, "हम भारतीय वाणिज्य दूतावासों को काम करने की इजाजत नहीं देंगे और हम कनाडाई सरकार पर उन व्यक्तियों के नाम बताने के लिए दबाव डालेंगे जो निज्जर की हत्या करने और उसे मारने के आदेश देने के लिए जिम्मेदार हैं।"

पन्नून ने कहा, "गुरुद्वारे के बाहर उनकी हत्या कर दी गई, यह खालिस्तान समर्थक सिखों को यह संदेश देने के लिए किया गया कि पश्चिमी दुनिया में भी उनका शिकार किया जाएगा।"

एसएफजे ने समाचार चैनल को बताया कि वह कनाडा में भारतीय उच्चायुक्त संजय वर्मा को निष्कासित करने की भी मांग करेगा।

भारत सरकार के एजेंटों और निज्जर की हत्या के बीच "संभावित संबंध के विश्वसनीय आरोपों" के ट्रूडो के दावों के बाद कनाडा ने सोमवार को वरिष्ठ भारतीय राजनयिक पवन कुमार राय को निष्कासित कर दिया।

हालांकि विदेश मंत्री मेलानी जोली ने राजनयिक का नाम नहीं बताया, लेकिन उनके कार्यालय ने बाद में उन्हें कनाडा में रॉ स्टेशन प्रमुख के रूप में पहचाना।

ट्रूडो के रहस्योद्घाटन को "अभूतपूर्व" बताते हुए, कनाडा के विश्व सिख संगठन के बोर्ड सदस्य जसकरन संधू को ग्लोबल न्यूज़ में यह कहते हुए उद्धृत किया गया कि अगर 25 सितंबर से पहले भी वाणिज्य दूतावासों के बाहर विरोध प्रदर्शन होता है, तो उन्हें आश्चर्य नहीं होगा।

उन्होंने एक साक्षात्कार में कहा, “लोग अभी गुस्से में हैं। ये एक ऐसी खबर है, जिसने जाहिर तौर पर पूरे देश को झकझोर कर रख दिया है।'' 

ट्रूडो ने कहा कि कनाडाई धरती पर एक कनाडाई नागरिक की हत्या में किसी विदेशी सरकार की भागीदारी हमारी संप्रभुता का अस्वीकार्य उल्लंघन है।

नई दिल्ली में कड़ा विरोध दर्ज कराने के बावजूद, कनाडा में खालिस्तानी समर्थक भित्तिचित्रों और पोस्टरों के साथ देश भर में भारतीय राजनयिकों और मंदिरों को निशाना बनाकर भारत विरोधी अभियान जारी रखे हैं।

टोरंटो में भारतीय वाणिज्य दूतावास के बाहर खालिस्तानी तत्वों द्वारा "किल इंडिया" पोस्टर प्रदर्शित करने की घटनाओं के बाद विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने कहा था कि कनाडा वोटबैंक की राजनीति से प्रेरित होकर इन विरोध प्रदर्शनों की अनुमति दे रहा है।

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