Chhattisgarh ke Pramukh Khel Stadium: छत्तीसगढ़ में यहां होते हैं राष्ट्रीय एवं अंतरराष्ट्रीय मैच, जानिए के प्रमुख खेल स्टेडियम के बारे में..
Chhattisgarh ke Pramukh Khel Stadium: आज छत्तीसगढ़ में ऐसे कई स्टेडियम और खेल परिसर हैं जहाँ विश्व स्तरीय प्रतियोगिताओं का आयोजन संभव है। आइए जानते हैं उनके बारे में जानकारी...
Chhattisgarh ke Pramukh Khel Stadium: छत्तीसगढ़ प्राकृतिक सुंदरता के साथ-साथ अधोसंरचना के विकास में भी काफी आगे है। आज छत्तीसगढ़ में ऐसे कई स्टेडियम और खेल परिसर हैं जहाँ विश्व स्तरीय प्रतियोगिताओं का आयोजन संभव है। राज्य के विभिन्न जिलों में अंतरराष्ट्रीय, राष्ट्रीय और जिला स्तरीय खेल सुविधाएँ स्थापित की गई हैं। इस लेख में सभी प्रमुख स्टेडियमों का विवरण प्रस्तुत किया गया है।
शहीद वीर नारायण सिंह अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट स्टेडियम रायपुर
यह स्टेडियम छत्तीसगढ़ की सबसे बड़ी और सबसे प्रतिष्ठित खेल सुविधा प्रस्तुत करती है। इस स्टेडियम का निर्माण वर्ष 2008 में पूर्ण हुआ था और यह नवा रायपुर यानी अटल नगर में स्थित है। स्टेडियम की कुल दर्शक क्षमता 65 हजार है। यहाँ पहला अंतरराष्ट्रीय मैच वर्ष 2010 में आयोजित हुआ था जब कनाडा की राष्ट्रीय क्रिकेट टीम छत्तीसगढ़ राज्य की टीम के साथ अभ्यास मैच खेलने आई थी। वर्तमान में यहाँ आईपीएल मैच, रणजी ट्रॉफी और घरेलू क्रिकेट प्रतियोगिताओं का नियमित आयोजन होता है।
सरदार वल्लभभाई पटेल अंतरराष्ट्रीय हॉकी स्टेडियम रायपुर
रायपुर में स्थित यह स्टेडियम एक विश्व स्तरीय हॉकी खेल के लिए बनी है। इस स्टेडियम का निर्माण मात्र चार महीने की अवधि में 18 करोड़ रुपये की लागत से किया गया था। नवंबर 2015 में इसका उद्घाटन हुआ था। यह राजनांदगांव के अंतरराष्ट्रीय हॉकी स्टेडियम के बाद छत्तीसगढ़ का दूसरा अंतरराष्ट्रीय ब्लू एस्ट्रोटर्फ हॉकी स्टेडियम है। स्टेडियम की दर्शक क्षमता तीन हजार है और इसे अंतरराष्ट्रीय हॉकी महासंघ की मान्यता प्राप्त है।
स्वामी विवेकानंद एथलेटिक्स स्टेडियम रायपुर
यह रायपुर का प्रमुख एथलेटिक्स केंद्र है। यहाँ अंतरराष्ट्रीय मानकों का आठ लेन का सिंथेटिक ट्रैक है। स्टेडियम में दौड़ और कूद की सभी स्पर्धाओं के लिए उचित सुविधाएँ उपलब्ध हैं। यहाँ राज्य स्तरीय और राष्ट्रीय स्तरीय एथलेटिक्स प्रतियोगिताएँ नियमित रूप से आयोजित होती हैं।
बलबीर सिंह जुनेजा इंडोर स्टेडियम रायपुर
यह रायपुर शहर का एकमात्र बड़ा इनडोर स्टेडियम है। इस स्टेडियम का नाम प्रसिद्ध हॉकी खिलाड़ी बलबीर सिंह जुनेजा के नाम पर रखा गया है जिनका जन्म रायपुर में हुआ था। स्टेडियम की दर्शक क्षमता चार हजार है। यहाँ बास्केटबॉल, टेनिस, टेबल टेनिस, स्क्वैश, बैडमिंटन और जिमनास्टिक जैसे इनडोर खेलने की सुविधाएँ हैं।
पंडित रविशंकर शुक्ल स्टेडियम रायपुर
यह दुर्ग का सबसे पुराना और सबसे प्रमुख स्टेडियम है। यह स्टेडियम लगभग 45 साल पुराना है और अब तक कई राज्य स्तरीय प्रतियोगिताएं यहां खेली जा चुकी हैं। वर्तमान में इस स्टेडियम की दर्शक क्षमता 40 हजार है।
राज्य खेल परिसर बहतराई
बहतराई स्टेडियम बिलासपुर का एक विशाल खेल परिसर है। यह 25,814 वर्ग मीटर क्षेत्र में फैला हुआ है। परिसर में 17 लॉबी, 6 इलेक्ट्रॉनिक रूम, 27 रूम एवं हॉल हैं। यह एक बहु उद्देशीय खेल परिसर है जहाँ विभिन्न खेलों के लिए सुविधाएँ उपलब्ध हैं। इसी परिसर में मल्टीपर्पज इनडोर हॉल, एक बहुत उपयोगी सुविधा है। यह एक बड़ा हॉल है जहाँ बैडमिंटन, टेबल टेनिस, बास्केटबॉल और वॉलीबॉल जैसे कई खेल खेले जा सकते हैं।
रघुराज स्टेडियम बिलासपुर
यह बिलासपुर का एक पुराना स्टेडियम है जो शहर के बीचोबीच स्थित है। यहाँ स्थानीय स्तर पर क्रिकेट और फुटबॉल के मैच होते रहते हैं। हालांकि इस स्टेडियम को आधुनिक सुविधाओं से लैस करने की आवश्यकता है।
अंतरराष्ट्रीय हॉकी स्टेडियम राजनांदगांव
यह छत्तीसगढ़ का पहला अंतरराष्ट्रीय एस्ट्रोटर्फ हॉकी स्टेडियम है। यह स्टेडियम लगभग 9.5 एकड़ क्षेत्र में फैला हुआ है। इसके निर्माण पर 22 करोड़ रुपये खर्च हुए थे। स्टेडियम में अंतरराष्ट्रीय मानकों का नीला एस्ट्रोटर्फ लगा हुआ है जो विश्व स्तरीय मैचों के लिए उपयुक्त है। यह स्टेडियम अगस्त 2014 में जनता को समर्पित किया गया था।
जयंती स्टेडियम भिलाई
जयंती स्टेडियम भिलाई नगर का एक बहु उपयोगी स्टेडियम है। यह भिलाई के इंद्रा प्लेस में स्थित है। इस स्टेडियम का उपयोग घरेलू क्रिकेट प्रतियोगिताओं और अन्य कार्यक्रमों के लिए किया जाता है।
खेल परिसर सिंगारभाठ स्टेडियम कांकेर
कांकेर जिले में खेल परिसर सिंगारभाठ स्टेडियम भी खिलाड़ियों का प्रोत्साहित करता है। यहाँ विभिन्न खेलों के लिए मैदान और सुविधाएँ उपलब्ध हैं।
मलखंभ मैदान, नारायणपुर
मलखंभ, एक पारंपरिक भारतीय खेल है। छत्तीसगढ़ का नारायणपुर जिला इस खेल के लिए काफी प्रसिद्ध है। यहां के प्रतिभागियों ने इंडियाज गॉट टैलेंट में भी अपना जलवा दिखाया था। इस खेल में शक्ति और संतुलन की विशेष जरूरत होती है।