Lalan Singh Biography: ललन सिंह कौन हैं? जन्म, शिक्षा, राजनीतिक सफर, पद और विवाद
Lalan Singh Biography: केंद्रीय मंत्री ललन सिंह की पूरी जीवनी पढ़ें। जन्म, शिक्षा, JP आंदोलन, JDU का सफर, बिहार सरकार में भूमिका, लोकसभा चुनाव जीत, केंद्रीय मंत्री पद, विवाद और परिवार की विस्तृत जानकारी। lalan-singh-biography-political-career-family
Lalan Singh Biography: ललन सिंह कौन हैं? जन्म, शिक्षा, राजनीतिक सफर, पद और विवाद
Lalan Singh Biography: राजीव रंजन सिंह, जिन्हें राजनीति में ललन सिंह के नाम से जाना जाता है, बिहार और राष्ट्रीय राजनीति के उन नेताओं में शामिल हैं जिन्होंने चार दशक से अधिक समय तक लगातार सक्रिय भूमिका निभाई है। 1974 के छात्र आंदोलन से शुरुआत कर वे आज नरेंद्र मोदी सरकार में केंद्रीय पंचायती राज मंत्री और मत्स्य पालन, पशुपालन एवं डेयरी मंत्री के रूप में काम कर रहे हैं। मुंगेर से लोकसभा सदस्य और जेडीयू के वरिष्ठ चेहरे के तौर पर उनकी पहचान ने उन्हें बिहार की राजनीति का केंद्रीय चेहरा बना दिया।
जन्म, परिवार और शिक्षा
ललन सिंह का जन्म 24 जनवरी 1955 को बिहार के नालंदा जिले के गिलानीचक गांव में हुआ। पिता ज्वाला प्रसाद सिंह और माता कौशल्या देवी साधारण ग्रामीण पृष्ठभूमि से थे। ललन सिंह ने प्रारंभिक शिक्षा बिहार में ही प्राप्त की और बाद में टीएनबी कॉलेज, भागलपुर विश्वविद्यालय से कला स्नातक (ऑनर्स) की डिग्री ली। कॉलेज के समय वे छात्र राजनीति में सक्रिय रहे और 1974 के जयप्रकाश नारायण आंदोलन का हिस्सा बने, जिसने उन्हें सीधे राजनीतिक मुख्यधारा से जोड़ दिया। उनका विवाह रेणु देवी से हुआ है और उनकी एक बेटी है। वर्तमान में वे नई दिल्ली के त्यागराज मार्ग स्थित सरकारी आवास में रहते हैं।
राजनीतिक करियर की शुरुआत
JP आंदोलन से उभरकर ललन सिंह ने धीरे-धीरे संगठन की राजनीति में अपनी जगह बनाने की शुरुआत की। जनता दल और फिर जनता दल (यूनाइटेड) में उन्होंने मजबूत पकड़ बनाई और 1990 के दशक के अंत तक वे पार्टी के प्रमुख रणनीतिकारों में गिने जाने लगे।
संसद में ललन सिंह: तीन लोकसभा कार्यकाल
1. राज्यसभा सदस्य (2000–2004)
यह उनका राष्ट्रीय राजनीति में पहला बड़ा कदम था।
2. बेगूसराय से लोकसभा सांसद (2004–2009)
2004 में वे पहली बार लोकसभा पहुंचे। यह उनकी लोकप्रियता का शुरुआती समय था।
3. मुंगेर से लोकसभा सांसद (2009–2014, 2019–वर्तमान)
मुंगेर सीट से वे दो बार जीते और 2024 में भी अपनी सीट बरकरार रखी।
मुंगेर अब जेडीयू का मजबूत गढ़ माना जाता है और ललन सिंह इसका प्रमुख चेहरा हैं।
बिहार सरकार में मंत्री (2014–2019)
2014 में लोकसभा चुनाव हारने के बाद उन्हें राज्यपाल कोटे से बिहार विधान परिषद में मनोनीत किया गया। इसके बाद वे नीतीश कुमार सरकार में जल संसाधन मंत्री बने और विभाग के कई प्रमुख कार्यों की निगरानी की। इस दौरान वे बिहार में पार्टी संगठन और प्रशासन दोनों में सक्रिय रहे।
जेडीयू में उभार: राष्ट्रीय अध्यक्ष बनने तक का सफर
ललन सिंह ने जेडीयू की बिहार इकाई में लंबे समय तक काम किया। उनकी संगठनात्मक क्षमता और नेटवर्क को देखते हुए 2021 में उन्हें जेडीयू का राष्ट्रीय अध्यक्ष बनाया गया। उनका कार्यकाल 31 जुलाई 2021 से 29 दिसंबर 2023 तक रहा।
इस दौरान उन्होंने:
• संगठन को पुनर्गठित किया
• सीट-बंटवारे और रणनीति पर निर्णायक भूमिका निभाई
• दिल्ली और पटना- दोनों राजनीति में सक्रिय संवाद बनाए रखा
केंद्रीय मंत्री के रूप में नई भूमिका (2024–वर्तमान)
9 जून 2024 को ललन सिंह को नरेंद्र मोदी सरकार में दो प्रमुख मंत्रालय दिए गए:
केंद्रीय पंचायती राज मंत्रालय
केंद्रीय मत्स्य पालन, पशुपालन एवं डेयरी मंत्रालय
दोनों मंत्रालय ग्रामीण भारत और कृषि-संबद्ध गतिविधियों से जुड़े हैं, जिससे उनकी राष्ट्रीय भूमिका और मजबूत हो गई है।
महत्वपूर्ण विवाद और चुनौतियाँ
राजनीतिक जीवन में कई उतार-चढ़ाव भी आए:
2010 नीतीश कुमार के खिलाफ बगावत
उन्होंने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार से मतभेद जताए और पार्टी से असंबद्ध स्थिति में रहे।
बाद में दोनों के बीच समझौता हुआ और वे फिर मुख्यधारा में लौटे।
2014–2015 बिहार मंत्रिमंडल संकट
सड़क निर्माण मंत्री नियुक्ति के बाद जेडीयू के कुछ नेताओं ने विरोध किया।
जीतन राम मांझी ने उन्हें बर्खास्त भी किया, लेकिन नीतीश कुमार की वापसी के साथ उन्हें एक बार फिर मंत्री बनाया गया।
2025 मोकामा रोड शो विवाद
मोकामा में एक बड़े रोड शो के दौरान मॉडल आचार संहिता उल्लंघन के आरोप लगे।
एक वायरल वीडियो में उनके बयान पर भी विवाद हुआ, जिसे विपक्ष ने मतदाताओं को प्रभावित करने का प्रयास बताया।
इस मामले में BNSS के तहत प्राथमिकी दर्ज की गई थी।
ये विवाद उनके राजनीतिक करियर की चुनौतीपूर्ण घटनाओं में से रहे, लेकिन उन्होंने अपनी पार्टी और राजनीति में पकड़ बनाए रखी।
नेतृत्व शैली और राजनीतिक पहचान
ललन सिंह ऐसे नेता माने जाते हैं जो:
• संगठन में गहरी पकड़ रखते हैं
• विवादों के बीच शांत रफ्तार से आगे बढ़ते हैं
• बिहार और दिल्ली — दोनों स्तरों पर संवाद क्षमता बनाए रखते हैं
• चुनाव रणनीति, जातीय समीकरण और संगठन प्रबंधन में मजबूत पहचान रखते हैं
उनका लंबा अनुभव उन्हें जेडीयू और बिहार राजनीति में एक केंद्रीय चेहरा बनाता है।
वर्तमान स्थिति (2025)
आज ललन सिंह:
• केंद्र सरकार में दोहरी जिम्मेदारी निभा रहे हैं
• मुंगेर के लोकप्रिय सांसद हैं
• जेडीयू के वरिष्ठ रणनीतिकार हैं
• बिहार की राजनीति में सबसे प्रभावशाली चेहरों में से एक माने जाते हैं