Chhattisgarh Assembly Election 2023- Pali-tanakhar Seat 23. पाली-तानाखार विधानसभा: छत्तीसगढ़ बनने के बाद हुए पहले चुनाव से लेकर अब तक यहां कांग्रेस का कब्जा, गठन के पहले भी चार बार जीता चुनाव

Update: 2023-08-05 04:38 GMT

भाजपा ने 2, जीजीपी, जेएनपी, बीजेएस और निर्दलीय ने 1-1 चुनाव जीता

एनपीजी एक्सक्लूसिव

रायपुर। पाली-तानाखार विधानसभा सीट कोरबा जिले की काफी महत्वपूर्ण सीट मानी जाती है। अनुसूचित जनजाति के लिए आरक्षित यह विधानसभा सीट काफी पुरानी है और यहां पहला चुनाव साल 1957 में हुआ। तब यह सीट केवल तानाखार विधानसभा सीट के नाम से जानी जाती थी। इस चुनाव में कांग्रेस से यज्ञसेनी कुमारी और निर्दलीय प्रत्याशी आदित्य प्रताप सिंह चुनाव मैदान में उतरे। पहले चुनाव में इस विधानसभा सीट में कुल 38782 मतदाता थे, जिनमें से 9174 मतदाताओं ने अपने मताधिकार का प्रयोग किया। जब परिणाम सामने आए तो कांग्रेस की यज्ञसेनी कुमारी को 4006 वोट मिले, जबकि निर्दलीय प्रत्याशी आदित्य प्रताप सिंह को 2775 वोट मिले। इस तरह यज्ञसेनी कुमारी ने यह चुनाव 1231 वोट के अंतर से जीता।

पाली-तानाखार विधानसभा सीट में अब तक कुल 14 चुनाव हुए हैं। इस सीट से सर्वाधिक 8 बार कांग्रेस ने जीत दर्ज की है। इसी तरह भारतीय जनता पार्टी ने यहां से दो बार चुनाव जीता है। गोंडवाना गणतंत्र पार्टी, भारतीय जनसंघ, जनता पार्टी ने यहां से 1-1 चुनाव जीता है। वहीं साल 1972 के चुनाव में निर्दलीय प्रत्याशी के रूप में लाल कीर्तिकुमार सिंह ने इस सीट से चुनाव जीता था।

छत्तीसगढ़ गठन के बाद से यहां कांग्रेस का कब्जा

मध्यप्रदेश से अलग होकर जब छत्तीसगढ़ राज्य का गठन हुआ तो साल 2003 में पहली बार विधानसभा चुनाव हुए। तब से लेकर अब तक कुल 4 विधानसभा चुनाव हुए हैं, जिसमें कांग्रेस का कब्जा रहा है। साल 2003, 2008 और 2013 में इस सीट से कांग्रेस प्रत्याशी राम दयाल उइके ने जीत दर्ज की। इसी तरह 2018 में कांग्रेस के मोहित वर्मा ने चुनाव जीता।

यहां गोंडवाना गणतंत्र पार्टी का वर्चस्व, पिछले चार चुनाव से दूसरी बड़ी पार्टी

पाली-तानाखार विधानसभा सीट पर गोंडवाना गणतंत्र पार्टी (जीजीपी) का वर्चस्व रहा है। इस सीट में अब तक कुल 14 विधानसभा चुनाव हुए हैं, जिसमें से जीजीपी पिछले 6 चुनाव में न केवल मजबूती के साथ चुनाव लड़ा, बल्कि 1 बार विधानसभा चुनाव जीता और 5 बार दूसरी सबसे बड़ी पार्टी बनकर सामने आई। साल 1990 में भाजपा के पूर्व विधायक हीरा सिंग मरकाम ने इस सीट से निर्दलीय चुनाव लड़ा। हालांकि वे चुनाव हार गए और दूसरे स्थान पर रहे। इसके बाद उन्होंने 1991 में गोंडवाना गणतंत्र पार्टी का गठन किया। साल 1993 में गोंडवाना गणतंत्र पार्टी से हीरा सिंग मरकाम फिर चुनावी मैदान में उतरे और महज 2836 वोट के अंतर से चुनाव हार गए। साल 1998 में जीजीपी ने पहली जीत दर्ज की और हीरा सिंग मरकाम ने 10289 वोट के अंतर से चुनाव जीता। इसके बाद साल 2003, 2008, 2013, 2018 में हुए चुनावों में भी हीरा सिंग मरकाम ने जीजीपी की ओर से चुनाव लड़ा, लेकिन वे जीत नहीं पाए। हालांकि उनकी पार्टी इन सभी चुनावों में दूसरे स्थान पर रही। पिछले चुनाव में तो उन्हें 33 फीसदी वोट मिले थे।

पाली-तानाखान विधानसभा सीट से अब तक रहे विधायकों की जानकारी -

वर्ष विधायक पार्टी

1957 यज्ञसेनी कुमारी कांग्रेस

1962 यज्ञसेनी कुमारी कांग्रेस

1967 एम लाल बीजेएस

1972 लाल कीर्ति कुमार सिंह निर्दलीय

1977 विशाल सिंह जेएनपी

1980 लाल कीर्ति कुमार सिंह कांग्रेस

1985 हीरा सिंग मरकाम भाजपा

1990 अमोल सिंग सलाम भाजपा

1993 बोधराम कांग्रेस

1998 हीरा सिंग मरकाम जीजीपी

2003 राम दयाल उइके कांग्रेस

2008 राम दयाल उइके कांग्रेस

2013 राम दयाल उइके कांग्रेस

2018 मोहित राम कांग्रेस

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