आज टीवी सीरियल में आप देखेंगे कि, नील तेजस्विनी का फोन उठा लेगा। लेकिन जैसे ही वो कुछ बोलेगी, ऋतुराज फोन छीन लेगा। तेजस्विनी रोते हुए ऋतुराज से कहेगी कि उसके बाबा का निधन हो गया है और उसे उसकी जरूरत है।
ऋतुराज तेजस्विनी की मदद से साफ इंकार कर देगा। वो बोलेगा कि मुझे वीजा के काम से कहीं जाना है और जो दुनिया से चला गया, उसपर अब हम कुछ नहीं कर सकते हैं।
ऋतुराज पूछेगा कि ये सब कैसे हुआ, जिसपर तेजस्विनी जवाब देगी कि क्या फर्क पड़ता है, जिसे जाना था वो तो चला गया। तेजस्विनी के फोन काटते ही ऋतुराज अपना सिर पकड़ लेगा।
वहीं नील उससे पूछेगा कि क्या हुआ है। इसपर ऋतुराज कहेगा कि लोगों को समझना चाहिए कि मैं आम इंसान नहीं हूं। निजी जिंदगी से ज्यादा मेरे लिए व्यावसायिक जिंदगी जरूरी है।
आगे देखने के लिए मिलेगा कि, चव्हाण परिवार में सब मोहित के जाने के गम में डूबे होंगे। वहीं लक्ष्मी कहेगी कि अब जाकर मुझे पता चला कि इन्होंने मुझे कभी पसंद क्यों नहीं किया।
इनके हाव-भाव से तो लगता ही था, लेकिन अब इसका कारण भी पता चल गया है। लक्ष्मी अपनी सास से कहेगी कि अगर बाबा मोहित के दूसरे परिवार को लेकर यहां आएंगे तो वो घर छोड़कर चली जाएगी।
इस पर उसकी सास जवाब देगी कि अभी चली जा। वहीं लक्ष्मी बोलेगी कि कबका चली गई होती, अगर ये बेड़ी मेरे पैर में नहीं होती। वो अपनी बेटी अदिति को बेड़ियां बताएगी।
मोहित के पिता और भाई उसके घर पहुंचेंगे, जहां उनकी मुलाकात तेजस्विनी और मुख्ता से होगी। मुख्ता को देखते ही ओंकार भड़क जाएगा और कहेगा कि अगर मेरे बेटे से शादी की थी तो उसका ख्याल भी रखना चाहिए था ना।
मेरे बेटे को खा गई तू। ओंकार वेदांत को देखेगा, जिसे देख उसका दिल भर आएगा। वो वेदांत के चक्कर में पूरे परिवार को अपने साथ नागपुर ले आएगा।
लेकिन तेजस्विनी अपना फोन घर पर भूल जाएगी। ऐसे में ये देखना दिलचस्प होगा कि तेजस्विनी और नील की मुलाकात दोबारा कैसे होगी।
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