Begin typing your search above and press return to search.

Der raat tak sone ke kya nuksan hote hai: देर रात तक सोने की है आदत, तो इन समस्याओं को झेलने के लिए हो जाइए तैयार...

Der raat tak sone ke kya nuksan hote hai: वर्तमान समय काफी डिजिटल होता जा रहा है। मोबाइल फोन और सोशल मीडिया ने लोगों को इस तरह से बांधे रखा है कि वे अपनी दिनचर्या ही भूल गए है। देर रात तक फोन चलाना, मूवी देखना इन सब चीजों से नींद बहुत प्रभावित होती है। क्या आपने कभी सोचा है कि जब आप रात 1 बजे या उससे भी बाद सोते हैं, तो आपके शरीर के अंदर क्या होता है? चलिए आज समझ लीजिए।

Der raat tak sone ke kya nuksan hote hai: देर रात तक सोने की है आदत, तो इन समस्याओं को झेलने के लिए हो जाइए तैयार...
X
By Chirag Sahu

Der raat tak sone ke kya nuksan hote hai: वर्तमान समय काफी डिजिटल होता जा रहा है। मोबाइल फोन और सोशल मीडिया ने लोगों को इस तरह से बांधे रखा है कि वे अपनी दिनचर्या ही भूल गए है। देर रात तक फोन चलाना, मूवी देखना इन सब चीजों से नींद बहुत प्रभावित होती है। क्या आपने कभी सोचा है कि जब आप रात 1 बजे या उससे भी बाद सोते हैं, तो आपके शरीर के अंदर क्या होता है? चलिए आज समझ लीजिए।

हमारा शरीर कैसे काम करता है

अक्सर लोग कहते हैं कि जब भी सुबह के 4 बजते हैं, तो मेरी नींद अपने आप खुल जाती है। यह कोई अपने आप होने वाली घटना नहीं है बल्कि इसके पीछे भी एक वैज्ञानिक कारण है।

वैज्ञानिक शोधों के अनुसार शरीर एक जैविक घड़ी की तरह काम करता है जिसे सर्कैडियन रिदम कहते हैं। यह हमें बताती है कि कब सोना है और कब जागना है। जब हम इस प्राकृतिक लय को लगातार तोड़ते हैं, तो शरीर की सारी व्यवस्था गड़बड़ा जाती है। खासकर रात 10 बजे से 2 बजे का समय बेहद खास होता है। इस दौरान शरीर खुद को रिसेट करता है जिसके वजह से हमें इस टाइम का नींद लेना बहुत जरूरी है

गहरी नींद (Deep Sleep) लेना बहुत जरूरी

डीप स्लीप, नींद का सबसे गहरा चरण होता है जहां मस्तिष्क की तरंगें बेहद धीमी हो जाती हैं। इस समय शरीर अपने आप को पूरी तरह से ठीक करने में लग जाता है। एक स्वस्थ मनुष्य को रात में कुल नींद का लगभग 20 प्रतिशत समय डीप स्लीप में बिताना चाहिए। इस दौरान हमारी पिट्यूटरी ग्रंथि से ग्रोथ हार्मोन निकलता है जिससे हमारी कोशिकाओं का वृद्धि एवं विकास संभव हो पाता है। लेकिन जब आप देर रात सोते हैं तो आपकी डीप स्लीप की मात्रा काफी कम हो जाती है। यदि यह आदत लगातार बनी रही तो इन समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है–

मानसिक स्वास्थ्य पर बुरा असर

देर रात तक जागने का सबसे पहला असर आपके मानसिक स्वास्थ्य पर पड़ता है। जब शरीर को भरपूर आराम नहीं मिलता तो मस्तिष्क सही तरीके से काम नहीं कर पाता। छोटी छोटी बातों को भूलना और नई बातें समझ में कम आना, इस प्रकार की समस्याएं होने लगती है।जो लोग रात एक बजे के बाद सोते हैं उनमें डिप्रेशन और चिंता का खतरा काफी बढ़ जाता है।

हार्मोन का संतुलन बिगड़ जाना

हमारे शरीर का हार्मोन तंत्र एक निश्चित समय पर अलग-अलग हार्मोन का स्राव करता है। जब आप देर रात तक जागते हैं तो यह पूरा सिस्टम गड़बड़ा जाता है, जिससे शरीर में शुगर लेवल बढ़ने, भूख अधिक लगने और साथ ही पाचन तंत्र स्लो होने जैसी समस्याएं बन जाती है।

हृदय पर भी खतरा बना रहता है

देर रात तक जागना आपके हृदय के लिए भी बेहद खतरनाक है। अगर किसी को पहले से हाई बीपी है तो नींद की कमी इसे और भी बढ़ा देती है जिससे हृदय की धड़कन भी अनियमित हो सकती है। रक्त वाहिकाओं में सूजन बढ़ने से हृदय पर लगातार दबाव बना रहता है। लगातार यही स्थिति बनी रही तो हार्ट स्ट्रोक का खतरा कई गुना तक बढ़ सकता है।

त्वचा और बालों के लिए भी नुकसानदायक

नींद की कमी सबसे पहले हमारे आंख और चेहरों पर नजर आती है। जब आप देर रात तक जागते हैं तो कोलेजन का निर्माण कम हो जाता है। कोलेजन वह प्रोटीन है जो त्वचा को मजबूत और लचीला बनाए रखता है। इसकी कमी से त्वचा में झुर्रियां जल्दी आने लगती हैं और आंखों के नीचे काले घेरे बन जाते हैं।

बालों पर भी इसका बुरा असर पड़ता है। बालों का झड़ना बढ़ जाता है और बाल रूखे व बेजान हो जाते हैं। यह सब आपके देर रात तक जागने की वजह से होता है। रात में जब हम टाइम पर सो जाते हैं तो हमारा शरीर बालों तक आवश्यक पोषण पहुंचाता है इससे बाल मजबूत बने रहते हैं परंतु यदि आप जागे हुए रहते हैं तो शरीर की ऊर्जा और पोषण कहीं और खर्च हो जाती है, जिससे धीरे-धीरे बाल झड़ने लग जाते हैं।

Next Story