Begin typing your search above and press return to search.

Bilaspu Highcourt News: प्रदेश के मुक्तिधामों की स्थिति सुधारने के लिए क्या कर रहे हैं,33 जिलों के कलेक्टरों से हाईकोर्ट ने मांगी रिपोर्ट

Bilaspu Highcourt News: बिलासपुर हाईकोर्ट में राज्य भर के सभी कलेक्टरों को श्मशान घाट और अंत्येष्टि स्थलों की हालत सुधारने के लिए किया जा रहे उपायों पर कार्यवाही रिपोर्ट प्रस्तुत करने के निर्देश दिए हैं।

Bilaspu Highcourt News: प्रदेश के मुक्तिधामों की स्थिति सुधारने के लिए क्या कर रहे हैं,33 जिलों के कलेक्टरों से हाईकोर्ट ने मांगी रिपोर्ट
X
By Radhakishan Sharma

Bilaspur Highcourt News: Bilaspur । बिलासपुर हाईकोर्ट ने राज्यभर के मुक्तिधामों की बदहाल स्थिति पर सभी जिलों के कलेक्टर से फोटोग्राफ के साथ रिपोर्ट प्रस्तुत करने को कहा है। चीफ जस्टिस रमेश सिन्हा और जस्टिस एके प्रसाद की डिवीजन बेंच ने कहा कि गरिमापूर्ण अंतिम संस्कार संविधान के तहत जीने के अधिकार का ही हिस्सा है, इसलिए सरकार का कर्तव्य है कि हर मुक्तिधाम में मूलभूत सुविधाएं सुनिश्चित की जाएं। अब इस मामले पर 8 दिसंबर को सुनवाई होगी।

चीफ जस्टिस सिन्हा 29 सितंबर को रहंगी में एक अंतिम संस्कार में शामिल हुए थे। इस दौरान उन्होंने मुक्तिधाम की बदहाली देखी। मुक्तिधाम में बुनियादी सुविधाएं भी नहीं थी। यहां पहुंचने कोई रास्ता भी नहीं था। पानी, बैठने के कोई इंतजाम भी नहीं दिखे। हाई कोर्ट ने राज्य सरकार, जिला प्रशासन और ग्राम पंचायत को तत्काल कार्रवाई के निर्देश दिए थे। रहंगी मुक्तिधाम की दशा पर बिलासपुर के कलेक्टर ने शपथ पत्र दिया है, इसमें बताया कि रहंगी मुक्तिधाम में तुरंत सुधार कार्य किया गया है। स्वच्छ भारत मिशन के तहत बने हॉल को खाली कर प्रतीक्षालय में बदला गया है। पीने के पानी की व्यवस्था की गई और अंतिम संस्कार प्लेटफॉर्म की मरम्मत कराई गई। इसके अलावा मुख्य सड़क से मुक्तिधाम तक सीसी रोड बनाने के लिए 10 लाख रुपए की प्रशासनिक स्वीकृति भी दी गई है।

सरकार ने जारी की नई गाइडलाइन, हाईकोर्ट बोला- लागू करना जरूरी

इधर, हाईकोर्ट की सख्ती के बाद राज्य सरकार ने भी पहल की। मुख्य सचिव ने बताया कि पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग ने 6 अक्टूबर और नगरीय प्रशासन विभाग ने 8 अक्टूबर को सभी मुक्तिधामों के रखरखाव के लिए विस्तृत दिशा- निर्देश जारी कर दिए हैं। इनमें साफ-सफाई, ग्रीन फेंसिंग या कंटीले तार से बाउंड्री, शेड की मरम्मत, बिजली, पानी और पुरुष-महिला के लिए अलग शौचालय जैसी सुविधाएं सुनिश्चित करने के निर्देश दिए गए हैं। इस पर हाई कोर्ट ने पाया कि अभी इन गाइडलाइनों का राज्यभर में समान रूप से पालन नहीं हुआ है।

33 जिलों के कलेक्टरों से मांगी कंप्लायंस रिपोर्ट

हाईकोर्ट ने कहा कि प्रदेश के सभी कलेक्टर यह सुनिश्चित करें कि 6 और 8 अक्टूबर 2025 को जारी गाइडलाइन का अक्षरशः पालन हो। प्रत्येक कलेक्टर को अपने जिले के सभी मुक्तिधामों की ताजा तस्वीरों के साथ विस्तृत रिपोर्ट 8 दिसंबर 2025 तक हाई कोर्ट में देनी होगी।

Next Story