नियमितीकरण सहित चार सूत्रीय मांगों को लेकर संविदा कर्मी आज सीएम हाउस का करेंगे घेराव
रायपुर। नियमितीकरण सहित चार सूत्रीय मांगों को लेकर प्रदेश के अनियमित, संविदा एवं दैनिक वेतन भोगी कर्मचारी आज धरने पर हैं। कर्मचारी आज धरना देते हुए मुख्यमंत्री निवास का घेराव करेंगे। नियमितीकरण सहित चार मांगे शासन के समक्ष रखी हैं। जिसके लिए आज धरना देने के अलावा मुख्यमंत्री निवास घेराव का कार्यक्रम रखा गया है।
छत्तीसगढ़ के अनियमित कर्मचारी मोर्चा एवं छत्तीसगढ़ दैनिक वेतन भोगी कर्मचारी फेडरेशन के बैनर तले यह धरना आयोजित है। अनियमित मोर्चा ने अनियमित कर्मचारियों जिसमें संविदा, दैनिक वेतन भोगी, कलेक्टर दर, श्रम आयुक्त दर पर कार्यरत श्रमिक,प्लेसमेंट, मानदेय, अंशकालिक, जवाबदार ठेका के नियमितीकरण करने की मांग की है। फेडरेशन ने बताया कि कांग्रेस में अपने जन घोषणा पत्र के बिंदु क्रमांक 11 एवं 30 में अनियमित, संविदा, दैनिक वेतन भोगी कर्मचारियों को नियमित करने, छटनी ना करने तथा आउटसोर्सिंग बंद करने का वादा किया है। अनियमित मंच से 14 फरवरी 19 को मुख्यमंत्री ने स्वयं वचन दिया है कि इस वर्ष किसानों के लिए है आगे का वर्ष कर्मचारियों का होगा। अनियमित संघों के आवेदनों का परीक्षण करने कमेटी बनाई गई जो आज रिपोर्ट नहीं दे सकी हैं। सरकार के 4 वर्ष उपरांत भी प्रदेश के अनियमित कर्मचारी आज पर्यंत तक अनियमित ही हैं। कर्मचारी मोर्चा ने बताया कि प्रदेश के 48 शासकीय प्रशासनिक विभागों में 650 से अधिक शासकीय कार्यालयों विभागों निगम मंडलों स्वशासी निकाय में 3 लाख से अधिक अनियमित कर्मचारी हैं। इसमें से एक लाख से अधिक कर्मचारियों का प्रतिनिधित्व मोर्चा और फेडरेशन करता है। जिनके बैनर तले बड़ी संख्या में कर्मचारी मुख्यमंत्री निवास का घेराव करेंगे। आज अनियमित कर्मचारी राजधानी के तूता स्थित धरना प्रदर्शन स्थल में धरना दे रहे हैं। और 3:00 मुख्यमंत्री निवास के घेराव के लिए निकलेंगे।
4 सूत्रीय मांगे
समस्त अनियमित व दैनिक वेतन भोगी एवं संविदा कर्मचारी अधिकारियों को नियमित किया जावे तथा नियमितीकरण से वंचित हुए कर्मियो को स्थाई कर्मी बनाकर स्थायीकरण किया जावे।
विगत वर्षों में निकाले गए, छटनी किए गए अनियमित कर्मचारियों को बहाल कर छठनी पर रोक लगाई जाए।
शासकीय सेवाओं में आउटसोर्सिंग ठेका प्रथा को पूर्णता समाप्त कर कर्मचारियों का समायोजन किया जावे। तथा नियत अवधि में नियमित किया जावे।