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Rum In Winter Season आप भी करते हैं अल्कोहल का सेवन, तो सर्दी के मौसम में रखें इन बातों का ख्याल

Rum In Winter Season सर्दी में रम पीते समय कुछ बातों का ध्यान रखना बहुत जरूरी होता है। नहीं तो यह फायदे के जगह नुकसान पहुंचा सकता है। जानते हैं यहां कुछ खास टिप्स...

Rum In Winter Season आप भी करते हैं अल्कोहल का सेवन, तो सर्दी के मौसम में रखें इन बातों का ख्याल
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By Shanti Suman

Rum In Winter Season : बदलते मौसम में कई लोग अल्कोहल को दवा के रूप में भी इस्तेमाल करते हैं। पश्चिम में अल्कोहल का प्रयोग सामान्य है। हालांकि भारत में इसे लेकर सामाजिक पाबंदिया हैं। सर्दियों के मौसम में जब तापमान गिरने लगता है, तब अकसर लोग अपने शरीर को गर्म रखने के लिए अल्कोहल का सहारा लेते हैं। खासकर के ठंडे प्रदेशों में रम काफी पसंद किया जाता है। रम का सीमित मात्रा में किया जाए तो यह फायदेमंद भी होता है।

कुछ लोग दावा करते हैं कि रम दवा भी है। बहुत सी बीमारियों के लिए इसे रामबाण बताते हैं। रम में उच्च अल्कोहल की मात्रा होती है जो पीने पर शरीर को अंदर से गर्म करती है। जिससे हमें कुछ समय के लिए गर्माहट महसूस होती है,लेकिन क्या आप जानते हैं कि रम पीते समय कुछ बातों का ध्यान रखना बहुत जरूरी होता है। नहीं तो यह फायदे के जगह नुकसान पहुंचा सकता है। जानते हैं यहां कुछ खास टिप्स...

सर्दी में ब्रांडी या रम पीने की सलाह

रम, गन्ने के बाइप्रोडक्ट से बनाया जाता है। यह एक तरह का डिस्टिल्ड एल्कोहलिक ड्रिंक है। ब्रांडी भी एक स्ट्रांग एल्कोहलिक ड्रिंक है, जिसे फ्रूट ज्यूस या डिस्टिल्ड वाइन से बनाया जाता है। सर्दी के मौसम में शराब पीने के शौकीन लोग ब्रांडी व रम पर शिफ्ट हो जाते हैं। उनका तर्क रहता है कि ये दोनों ड्रिंक्स गर्म होते हैं और नियमित रूप से लेने से आपकी बॉडी में गर्माहट आ जाती है। ऐसे भी दावे किए जाते हैं कि रम या ब्रांडी पीने से जोड़ों में दर्द यानी ओस्टेओपोरोसिस या अर्थराइटिस में राहत मिलती है. यह भी कहा जाता है कि इन ड्रिंक्स को लेने से बोन मिनरल डेंसिटी बेहतर होती है।

रम पीने से पहले जान लें ये सारी बातें

एक दिन में 1 से 2 पेग यानि 30 से 45 मिलीलीटर से अधिक रम पीने से बचना चाहिए।ज्यादा मात्रा में रम पीने से नशे की हालत, उल्टी-दस्त जैसी समस्याएं हो सकती हैं। इसके साथ ही लिवर और किडनी पर भी इसका बुरा असर पड़ता है. इसलिए सलाह यही है कि रम का आनंद लें लेकिन सीमित मात्रा में ही ताकि आपको किसी तरह का नुकसान न हो।

सर्दियों में ठंडा रम न पिएं

सर्दियों में रम को कमरे के तापमान रख कर पिएं. बर्फ़ से ठंडा न करें.बर्फ से ठंडा किया गया रम सिर्फ गले को ही ठंडा करता है. सर्दी जुकाम की समस्या होने लगती है. ऐसे में रम को ठंडा पीने से बचना चाहिए.

खाली पेट रम पीने से बचें

खाली पेट रम पीने से बचें क्योंकि इससे नशा ज्यादा होता है और हैंगओवर की समस्या हो सकती है. खाली पेट रम पीने से शराब की मात्रा सीधे लिवर में पहुंच जाती है और लिवर पर अत्यधिक दबाव पड़ता है। इससे लिवर को नुकसान पहुंच सकता है. साथ ही खाली पेट रम पीने के बाद उलटी-दस्त, चक्कर आने जैसी समस्याएं आम होती है और नशे की हालत भी जल्दी आ जाती है. इसलिए रम का सेवन करने से पहले कुछ हल्का-फुल्का खा लेना हमेशा बेहतर रहता है.

रम को धीरे-धीरे पिएं

सर्दियों में रम को शरीर को गर्म रखने के लिए पीते हैं.नशे के लिए नहीं इसलिए रम को धीरे-धीरे घूंट घूंटकर पीना चाहिए, एक ही बार में ग्लास फिनिश न करें।

सर्दी में हार्ट को हेल्दी रखें

रम और ब्रांडी को लेकर इससे हार्ट की सेहत ठीक रहती है। इसके सेवन से सर्दी में धमनियों (artery) में रक्त का प्रवाह बेहतर रहता है। आर्टेरी में ब्लॉकेज की संभावना कम हो जाती है। इससे सर्दी में हार्ट अटैक की संभावन कम हो जाती है।

सांस की दिक्कत दूर होगी

पीने वालों यह भी दावा है कि सर्दी में ब्रांडी या रम पीने से आपकी बॉडी के अंदर गर्माहट आ जाती है। बच्चों को शहद में ब्रांडी मिलाकर दिया जाता है ताकि उनकी बॉडी में गर्माहट आ जाए। एक दावा यह भी है कि सर्दी में सांस की कई दिक्कतों का इलाज ब्रांडी या रम है, क्योंकि इसमें एंटी फ्लामेटरी प्रोपर्टी होती है।कहा जाता है कि एल्कोहल से हमारे नाक में जमें चिपपिपे पदार्थ साफ हो जाते हैं और इसके साथ ही बैक्टेरिया भी निकल जाते हैं।

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