Begin typing your search above and press return to search.

संविलियन से पहले स्थानीय समस्याओं के निराकरण में जुटा संविलियन अधिकार मंच…. स्थानीय समस्याओं को लेकर खोला गया मोर्चा… नियमितिकरण, प्रान समेत कई मुद्दों पर उच्च कार्यालय से की जा रही लिखित शिकायत

संविलियन से पहले स्थानीय समस्याओं के निराकरण में जुटा संविलियन अधिकार मंच…. स्थानीय समस्याओं को लेकर खोला गया मोर्चा… नियमितिकरण, प्रान समेत कई मुद्दों पर उच्च कार्यालय से की जा रही लिखित शिकायत
X
By NPG News

रायपुर 5 मई 2020। प्रदेश में शिक्षाकर्मियों का दो माह बाद 1 जुलाई को संविलियन होना प्रस्तावित है और स्थानीय कार्यालयों से इसके लिए प्रक्रिया भी शुरू हो गई है , इस कार्यवाही से शिक्षाकर्मियों में खुशी है साथ ही अपने संविलियन को लेकर शिक्षाकर्मी जागरूक भी हैं और वह वे तमाम दिक्कतों को जो उनके संविलियन के बाद वेतन और सुविधाएं दिलाने में लेटलतीफी पैदा कर सकते हैं उसे दूर करने में जुट गए हैं।

शिक्षाकर्मियों के संविलियन के मुद्दे को लेकर जमीनी लड़ाई लड़ने वाले संगठन संविलियन अधिकार मंच ने इसके लिए पूरे प्रदेश भर में पहल शुरू कर दी है और अलग-अलग जिले में अब स्थानीय समस्याओं के आधार पर जिला पंचायत के मुख्य कार्यपालन अधिकारी और नगर निगम के आयुक्त को इन समस्याओ से ज्ञापन देकर अवगत कराया जा रहा है ताकि संविलियन से पहले यह तमाम दिक्कतें दूर हो जाए । इसी कड़ी में मुंगेली जिला संयोजक राजेंद्र शर्मा के नेतृत्व में शिक्षाकर्मियों ने संविलियन अधिकार मंच के बैनर तले मुंगेली जिला पंचायत के सीईओ को ज्ञापन सौंपा है और उसमें 2 वर्ष की सेवा पूर्ण कर चुके शिक्षाकर्मियों के नियमितीकरण आदेश जारी करने , अंशदायी पेंशन योजना के लिए प्रान खाते में जनवरी 2019 से मार्च 2020 तक के कुल 15 माह की राशि को जमा करने तथा जिन शिक्षाकर्मियों का प्रान नंबर जनरेट नहीं हुआ है उसे जनरेट करने की मांग की गई है ।

संविलियन अधिकार मंच के प्रदेश संयोजक विवेक दुबे ने बताया कि

” प्रदेश में 16000 शिक्षाकर्मियों का 1 जुलाई को संविलियन होना प्रस्तावित है ऐसे में जिन शिक्षाकर्मियों का प्रान नंबर जनरेट नहीं हुआ है या जिनके प्रान अकाउंट में कटौती की गई राशि को जमा नहीं किया गया है उन्हें सीधे तौर पर आर्थिक नुकसान पहुंच रहा है साथ ही आने वाले समय में यह संविलियन की प्रक्रिया में भी लेटलतीफी का कारण बनेगा । इसके अलावा 2 वर्ष की सेवा पूर्ण कर चुके शिक्षाकर्मियों का नियमितीकरण भी कई जिलों में नहीं किया गया है अलग-अलग जिलों की स्थानीय समस्याएं अलग-अलग है इसके आधार पर संविलियन अधिकार मंच के द्वारा उन जिले के शीर्ष अधिकारियों को ज्ञापन सौंपा जा रहा है साथ ही इन सारे मामलों से राज्य के उच्च अधिकारियों को भी अवगत कराया जा रहा है ताकि निकट भविष्य में किसी प्रकार की कोई दिक्कत न हो और 1 जुलाई से पहले इन सारी समस्याओं का पूर्णरूपेण निराकरण हो जाए हमारे शिक्षक साथियों को किसी प्रकार की कोई तकलीफ संविलियन में न हो इसके लिए संविलियन अधिकार मंच कृतसंकल्पित है और उसी दिशा में लगातार प्रयास किया जा रहा है।”

Next Story