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Chhattisgarh Assembly Seat Takhatpur: जोगी कांग्रेस वर्सेज जोगी कांग्रेस! तखतपुर में कांग्रेस और बीजेपी जोगी कांग्रेस के नेताओं पर जा रही दांव लगाने!

Chhattisgarh Assembly Seat Takhatpur: तखतपुर विधानसभा से कांग्रेस, बीजेपी ने अभी अधिकृत तौर से प्रत्याशी का ऐलान नहीं किया है। मगर चर्चा तेज है कि दोनों पार्टियां पिछले चुनाव में जोगी कांग्रेस से चुनाव लड़ चुके नेताओं को मैदान में उतारने जा रही है। इनमें से विधायक धर्मजीत सिंह जोगी कांग्रेस से ही पिछला चुनाव लड़े और जीते थे।

Chhattisgarh Assembly Seat Takhatpur:  जोगी कांग्रेस वर्सेज जोगी कांग्रेस! तखतपुर में कांग्रेस और बीजेपी जोगी कांग्रेस के नेताओं पर जा रही दांव लगाने!
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By yogeshwari varma

Chhattisgarh Assembly Seat Takhatpur: बिलासपुर। छत्तीसगढ़ के दूसरे बड़े शहर बिलासपुर को हाई कोर्ट की वजह से न्यायधानी कहा जाता है। न्यायधानी की सीमा से ही तखतपुर विधानसभा क्षेत्र प्रारंभ हो जाता है। इस सीट से 2018 के विधानसभा चुनाव में रश्मि सिंह चुनाव जीती थीं और अभी संसदीय सचिव हैं। इस सीट पर इस बार टिकिट के लिए कांग्रेस-भाजपा के भीतर बड़ा द्वंद्व चल रहा है।

तखतपुर सीट से हर्षिता पाण्डेय पिछला चुनाव करीब पांच हजार वोटों से हार गई थीं। चूकि कांग्रेस की लहर में जब बीजेपी के बड़े-बड़े सूरमा अपनी सीट नहीं बचा पाए थे तब मामूली मतों से हार को हर्षिता टिकिट का आधार बनाकर इस सीट पर अपना दावा जता रही हैं। दूसरी तरफ 2018 के विधानसभा चुनाव में जोगी कांग्रेस से विधायक चुने गए धर्मजीत सिंह को भाजपा द्वारा प्रत्याशी बनाने की अटकलें तेज हैं। हालांकि, पार्टी ने अभी नाम का ऐलान नहीं किया है। मगर वायरल सूची में धर्मजीत सिंह का नाम प्रमुखता से है। इससे नाराज हर्षिता पाण्डेय के समर्थक कल नारेबाजी करते हुए बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष अरुण साव के घर पहुंच गए। चार बार के विधायक धर्मजीत चारों चुनाव लोरमी से लड़े और जीते हैं। वे तीन बार कांग्रेस से विधायक रहे और चौथी बार जोगी कांग्रेस से। मगर बीजेपी में शामिल होने के बाद इस बार वे सीट बदलकर तखतपुर से चुनाव लड़ना चाहते हैं। और राजनीतिक पंडितों का मानना है कि तखतपुर से टिकिट मिलने की शर्त पर ही उनका भाजपा प्रवेश हुआ है। जाहिर है, हर्षिता समर्थकों को यह नागवार गुजरेगा।

उधर, पिछले बार जोगी कांग्रेस की टिकिट पर चुनाव लड़ चुके संतोष कौशिक को सत्ताधारी पार्टी द्वारा टिकिट देने की चर्चाएं हैं। इसको लेकर रश्मि सिंह के समर्थकों में काफी आक्रोश है। रश्मि के पति आशीष सिंह तखतपुर इलाके में पिछले पांच साल से कार्य कर रहे हैं। दरअसल, पिछले चुनाव में टिकिट उन्हें ही मिली होती मगर बीजेपी ने हर्षिता पाण्डेय को उतार दिया इसलिए महिला के खिलाफ महिला के फर्मूला के तहत उनकी पत्नी रश्मि को टिकिट दी गई और जीत भी गईं। संतोष कौशिक कई बार बसपा से चुनाव लड़ चुके हैं तो पिछले बार उन्होंने जोगी कांग्रेस से किस्मत आजमाए थे। 27 फीसदी वोट प्राप्त कर वे तीसरे नंबर पर रहे थे।

कुल मिलाकर तखतपुर विधानसभा सीट पर प्रत्याशियों का ऐलान होने से पहले ही मुकाबला रोचक हो गया है। खासकर इस मायने में कि सूबे की दोनों बड़ी सियासी पार्टियां जोगी कांग्रेस के दोनों नेताओं पर दांव लगाने जा रही है जैसी कि अटकलें हैं। अगर ये अटकलें सही साबित हुई तो ये सियासी प्रेक्षकों को ये स्वीकार करना होगा कि अजीत जोगी में नेताओं की परख तो थी ही...आखिर उनके ही लोगों पर दोनों पार्टियां टिकिट के मामले में निर्भर हो गई है।

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