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'राहुल' की मनमानी पर CRPF ने खरगे को लिखा पत्र, शिकायत में कहा- 'नहीं मानते हमारी बात', जानिए क्या है पूरा विवाद

सीआरपीएफ ने कांग्रेस नेता राहुल गांधी पर सुरक्षा प्रोटोकॉल का उल्लंघन करने का आरोप लगाया है...

राहुल की मनमानी पर CRPF ने खरगे को लिखा पत्र, शिकायत में कहा- नहीं मानते हमारी बात, जानिए क्या है पूरा विवाद
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NPG file photo

By Ashish Kumar Goswami

नई दिल्ली। कांग्रेस नेता राहुल गांधी की सुरक्षा को लेकर एक बड़ी खबर सामने आई है। केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (CRPF) ने राहुल गांधी पर अपनी ही सुरक्षा को गंभीरता से न लेने और नियमों का उल्लंघन करने का आरोप लगाया है।CRPF ने कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे को एक पत्र लिखकर कहा है कि, राहुल गांधी ने पिछले 9 महीनों में 6 बार विदेश यात्रा की, जिसकी जानकारी उन्होंने सुरक्षा एजेंसियों को नहीं दी। इन यात्राओं में इटली, वियतनाम, दुबई, कतर, लंदन और मलेशिया शामिल हैं।

राहुल गांधी को Z+ कैटेगरी की सुरक्षा मिली हुई है, जो भारत में सबसे उच्च स्तर की सुरक्षा है। इसके साथ ही उन्हें एडवांस सिक्योरिटी लाइजन (ASL) कवर भी मिला हुआ है। इस प्रोटोकॉल के तहत, जिस भी VVIP को यह सुरक्षा मिली होती है, उसे अपनी हर गतिविधि और विदेश यात्रा की जानकारी पहले से सुरक्षा एजेंसियों को देनी होती है। ऐसा इसलिए किया जाता है ताकि उनकी सुरक्षा के लिए पुख्ता इंतजाम किए जा सकें। यह जानकारी करीब 15 दिन पहले देनी होती है, लेकिन CRPF का आरोप है कि राहुल गांधी ने ऐसा नहीं किया।

CRPF के VVIP सिक्योरिटी हेड, सुनील जून ने 10 सितंबर को मल्लिकार्जुन खड़गे और राहुल गांधी दोनों को अलग-अलग पत्र लिखे हैं। इन पत्रों में उन्होंने कहा कि राहुल गांधी अपनी सुरक्षा को लेकर लापरवाह हैं और लगातार प्रोटोकॉल तोड़ रहे हैं। CRPF ने 2020 से अब तक 113 बार सुरक्षा दिशा-निर्देशों के उल्लंघन का भी जिक्र किया है, जिसमें उनकी 'भारत जोड़ो यात्रा' का दिल्ली चरण भी शामिल है।

क्या है Z+ और ASL सुरक्षा?

राहुल गांधी की सुरक्षा की जिम्मेदारी CRPF के पास है। Z+ सुरक्षा कवर में 55 सुरक्षाकर्मी होते हैं, जिसमें 10 से ज्यादा NSG कमांडो और पुलिसकर्मी शामिल होते हैं। ASL कवर इसका एक हिस्सा है, जो सुरक्षा को एक और स्तर ऊपर ले जाता है। इसमें सुरक्षाकर्मी उस जगह की पहले से जांच करते हैं जहां व्यक्ति को जाना है। वे जिला प्रशासन, राज्य पुलिस और स्वास्थ्य विभाग से मिलकर सुरक्षा की पूरी योजना बनाते हैं।

इसमें संभावित खतरों, जैसे बम या विस्फोटक, की जांच भी शामिल होती है। इसके अलावा, इमरजेंसी प्लान और रास्ते की पूरी जानकारी पहले से तय की जाती है। जब कोई VVIP विदेश जाता है तो ये सब इंतजाम विदेश में भी किए जाते हैं। CRPF का कहना है कि राहुल गांधी के अचानक विदेश जाने से ये सब इंतजाम नहीं हो पाए, जिससे उनकी सुरक्षा खतरे में पड़ सकती है।

9 महीनों में 6 विदेश दौरे

CRPF के पत्र में उन 6 विदेश यात्राओं का जिक्र है, जिसमें इटली (30 दिसंबर 2024 से 9 जनवरी तक), वियतनाम (12 से 17 मार्च), दुबई (17 से 23 अप्रैल), कतर(11 से 18 जून), लंदन( 25 जून से 6 जुलाई तक), मलेशिया (4 से 8 सितंबर तक) के दौरे शामिल है।

मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, यह पहली बार नहीं है कि, राहुल गांधी पर सुरक्षा प्रोटोकॉल तोड़ने का आरोप लगा है। 2019 में केंद्र सरकार ने गांधी परिवार (सोनिया, राहुल और प्रियंका) से SPG (विशेष सुरक्षा समूह) सुरक्षा हटाकर उन्हें CRPF की Z+ सुरक्षा दी थी। SPG सुरक्षा करीब 30 साल तक गांधी परिवार के पास रही थी। CRPF ने इन पत्रों में मल्लिकार्जुन खड़गे और राहुल गांधी से अपील की है कि, वे भविष्य में सुरक्षा नियमों का पालन करें ताकि उनकी सुरक्षा में कोई चूक न हो।

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