Kishtwar Disaster: जम्मू कश्मीर में कुदरत का कहर. बादल फटने से अब तक 45 लोगों की मौत, 21 लोगों के शवों की हुई पहचान, रेस्क्यू ऑपरेशन लगातार जारी

जम्मू कश्मीर पर कुदरत का कहर बरपा हैं... किश्तवाड़ में बादल को फटे अब तक 24 घंटे से ज्यादा का वक्त हो गया है और 200 से ज्यादा लोगों के मलबे में दबे होने की आशंका जताई जा रही है । NDRF, सेना ,पुलिस जवान लगातार रेस्क्यू ऑपरेशन चला रहे हैं.. बतादें बीती रात लगभग 2 बजे से रेस्क्यू ऑपरेशन शुरु किया. पुलिस ने रात तक आपदा में 45 लोगों के मौत होने की पुष्टी की हैं.जिसमें से 9 से 10 लोगों की पहचान हो पाई हैं.
अब तक167 से ज्यादा लोगों का रेस्क्यू कर के अस्पताल पहुंचाया गया है. 38 लोगों की हालत गंभीर बताई जा रही है. साथ ही 21 शवों की पहचान की जा चुकी हैं
बतादें मचैल माता की यात्रा करने के लिए हजारों की संख्या में श्रद्धालु किश्तवाड़ में पड्डर सब डिवीजन में चसोटी गांव पहुंचे थे.. यात्रा के पहले पड़ाव के दौरान बादल वहा फटा जहां से यात्रा की शुरुआत होने वाली थी .
बादल फटने से श्रद्धालु की बसें, टेंट,और बहुत सी दुकानें बाढ़ में बह गई.. बतातें चले की मचैल माता तीर्थयात्रा हर साल अगस्त में होती है.. यात्रा 25 जुलाई से 5 सितंबर तक चलेगी
वहीं किश्तवाड़ डिप्टी कमिश्नर पंकज शर्मा ने बताया कि NDRF की टीमें लगातार राहत और बचाव के काम जुटी हुई हैं.स्वतंत्रता दिवस के अवसर पर पत्रकारों से चर्चा के दौरान सीएम ने काह कि
आज के दिन को लेकर बधाई हो, लेकिन मन दुखी भी है। मुझे लगता है कि किश्तवाड़ में 500 से ज़्यादा लोग अभी भी मलबे में दबे हुए हैं। केंद्र शासित प्रदेश में स्वतंत्रता दिवस समारोह को लेकर उन्होंने कहा कि आंसू भी थे और खुशियां भी |
