Begin typing your search above and press return to search.

Karnataka Bandh Today: कावेरी जल विवाद को लेकर आज कर्नाटक बंद, स्कूल-कॉलेज में छुट्टी, धारा 144 लागू

Karnataka Bandh Today: तमिलनाडु को कावेरी नदी का पानी छोड़े जाने के विरोध में कन्नड़ समर्थकों और किसान संगठनों ने शुक्रवार यानी आज के लिए कर्नाटक बंद का आह्वान किया है।

Karnataka Bandh Today: कावेरी जल विवाद को लेकर आज कर्नाटक बंद, स्कूल-कॉलेज में छुट्टी, धारा 144 लागू
X
By S Mahmood

Karnataka Bandh Today: तमिलनाडु को कावेरी नदी का पानी छोड़े जाने के विरोध में कन्नड़ समर्थकों और किसान संगठनों ने शुक्रवार यानी आज के लिए कर्नाटक बंद का आह्वान किया है। इससे खासकर राज्य के दक्षिणी हिस्से में सामान्य जनजीवन पर असर देखने को मिलेगा। बेंगलुरु में यह दूसरी हड़ताल होगी क्योंकि मंगलवार (26 सितंबर) को शहर बंद था। वहीं बेंगलुरु में प्रशासन ने आज शहर के सभी शैक्षणिक संस्थानों में छुट्टी की घोषणा की है। साथ ही, शहर में सीआरपीसी की धारा-144 लागू है।

बेंगलुरु पुलिस की तरफ से कहा गया कि 29 सितंबर को कर्नाटक में कई संगठन तमिलनाडु को कावेरी जल छोड़े जाने के विरोध में राज्यव्यापी बंद के लिए एकजुट हो रहे हैं। पुलिस कमिश्नर सुप्रीम कोर्ट के फैसले पर जोर देते हैं कि सभी प्रकार के बंद वर्जित हैं। विरोध प्रदर्शनों और रैलियों के लिए एकमात्र जगह फ्रीडम पार्क है। यहां पर रैली व प्रदर्शन की अनुमति है। सुप्रीम कोर्ट द्वारा कावेरी जल प्रबंधन प्राधिकरण (CWUMA) और उसकी सहायक संस्था कावेरी जल विनियमन समिति (CWRC) के फैसलों में हस्तक्षेप करने से इनकार करने के बाद कर्नाटक में तमिलनाडु को कावेरी जल छोड़ने पर विरोध प्रदर्शन हो रहा है। इसलिए राज्य में विरोध-प्रदर्शन हो रहा है।

कर्नाटक रक्षणा वेदिके कार्यकर्ताओं के एक समूह ने गुरुवार को कावेरी नदी जल मुद्दे पर राज्य के सांसदों और सिद्धारमैया सरकार के खिलाफ बेंगलुरु में बड़े पैमाने पर विरोध प्रदर्शन किया। केआरवी कार्यकर्ताओं ने तमिलनाडु को नदी का पानी छोड़े जाने का विरोध करते हुए कावेरी हमारी है के नारे लगाए। केआरवी महिला विंग की अध्यक्ष अश्विनी गौड़ा ने कहा कि यह सभी कन्नड़ लोगों के एक साथ आने का समय है। साथ ही, उनकी तरफ से मांग की गई है कि राज्य के निर्वाचित सांसदों को आगे आना चाहिए और इस मामले पर कुछ बोलना चाहिए। उन्होंने आगे कहा कि कर्नाटक के लोगों के साथ उन्हें खड़े भी रहना चाहिए, अगर वे ऐसा नहीं कर सकते हैं तो इस्तीफा दें।

Next Story