Chinnaswamy Stadium Tragedy Update: CM सिद्धारमैया का बड़ा एक्शन, पुलिस कमिश्नर समेत 8 अधिकारी सस्पेंड, RCB और DNA इवेंट कंपनी पर भी गिरेगी गाज
Chinnaswamy Stadium Tragedy Update: 4 जून की शाम बेंगलुरु की सड़कों पर जोश, जुनून और जश्न का सैलाब था। वजह थी RCB की ऐतिहासिक जीत। पहली बार टीम ने आईपीएल का खिताब अपने नाम किया था।

Chinnaswamy Stadium Tragedy Update: 4 जून की शाम बेंगलुरु की सड़कों पर जोश, जुनून और जश्न का सैलाब था। वजह थी RCB की ऐतिहासिक जीत। पहली बार टीम ने आईपीएल का खिताब अपने नाम किया था। इस खुशी को जनता के साथ सेलिब्रेट करने के लिए "विक्ट्री परेड" रखी गई – विधानसभा से लेकर एम. चिन्नास्वामी स्टेडियम तक। क्रिकेटर्स की एक झलक पाने के लिए सड़कों पर लाखों लोग उमड़ पड़े। लेकिन भीड़ के इस तूफान में जश्न कब मातम में बदल गया, किसी को खबर ही नहीं हुई।
स्टेडियम के बाहर अचानक भगदड़ मच गई। चीख-पुकार, अफरा-तफरी, लोगों के गिरने की आवाजें... और फिर 11 लोगों की मौत हो गई। 50 से ज्यादा लोग घायल हुए। यह सिर्फ एक हादसा नहीं था, बल्कि सिस्टम की लापरवाही और अंधी तैयारी का नतीजा था।
CM सिद्धारमैया का सख्त एक्शन – जिम्मेदार अफसरों पर गिरी गाज
घटना के ठीक एक दिन बाद, कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्धारमैया ने एक कड़ा संदेश दिया – “लापरवाही किसी भी स्तर पर बर्दाश्त नहीं होगी।” उन्होंने सीधे पुलिस कमिश्नर समेत कई अफसरों को सस्पेंड कर दिया।
सस्पेंड किए गए अफसरों में शामिल हैं:
- बेंगलुरु सिटी पुलिस कमिश्नर
- एडीशनल कमिश्नर, वेस्ट ज़ोन
- डीसीपी, सेंट्रल ज़ोन
- एसीपी, कब्बन पार्क
- स्टेशन हाउस मास्टर
- कब्बन पार्क थाने के प्रभारी अधिकारी
सरकार ने साथ ही उच्च न्यायालय के रिटायर्ड जस्टिस माइकल कुन्नाह की अध्यक्षता में एक सदस्यीय जांच आयोग गठित कर दिया है। यह आयोग 30 दिनों के भीतर अपनी रिपोर्ट पेश करेगा।
RCB, DNA इवेंट कंपनी और KSCA पर FIR – गिरफ्तारी तय!
CM सिद्धारमैया ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में यह भी साफ किया कि इवेंट आयोजकों ने पुलिस की चेतावनी के बावजूद प्रोग्राम किया। पुलिस ने पहले ही RCB को 4 जून के इवेंट से मना कर दिया था, लेकिन इसके बावजूद DNA इवेंट कंपनी, RCB और कर्नाटक क्रिकेट संघ (KSCA) ने परेड आयोजित की। अब इन सभी के खिलाफ FIR दर्ज हो चुकी है। मुख्यमंत्री ने पुलिस को निर्देश दिए हैं कि RCB, DNA और KSCA के जिम्मेदार प्रतिनिधियों को जल्द गिरफ्तार किया जाए।
भीड़, इमोशन और सिस्टम की हार
3 जून को आईपीएल का फाइनल अहमदाबाद में खेला गया था, जिसमें RCB ने पंजाब को हराकर ट्रॉफी जीती। यह पहली जीत थी, लिहाजा पूरे कर्नाटक में दीवानगी का माहौल था। लेकिन इस जीत को जिस तरह मनाया गया, उसने प्लानिंग और पब्लिक सेफ्टी की पोल खोल दी। जो इवेंट जश्न का प्रतीक होना था, वो लाशों के ढेर और खून से सनी सड़क का मंजर बन गया। लाखों लोगों की मौजूदगी के बावजूद कोई ठोस व्यवस्था नहीं थी। न बैरिकेडिंग, न इमरजेंसी प्लान, न क्राउड कण्ट्रोल- कुछ भी नहीं।
इस घटना ने सिर्फ कर्नाटक नहीं, पूरे देश को हिला दिया है। क्या VIP इवेंट्स के लिए भीड़ का अनुमान लगाना इतना मुश्किल था? क्या IPL की जीत इंसानी जानों से बड़ी हो गई? सवाल कई हैं, लेकिन जवाबों के इंतज़ार में 11 परिवार अपने अपनों को खो चुके हैं। अब देखना ये होगा कि जांच आयोग की रिपोर्ट क्या कहती है और क्या वाकई कोई बड़ा नाम सलाखों के पीछे जाता है या ये मामला भी “फाइलों” में दफन हो जाएगा।