Bail is Rule Jail is exception: मनी लॉन्ड्रिंग मामले में सुप्रीम कोर्ट की बड़ी टिप्पणी, कहा-बेल नियम है और जेल अपवाद
Bail is Rule Jail is exception: धन शोधन निवारण अधिनियम (PMLA) से जुड़े मामलों में जमानत को लेकर सुप्रीम कोर्ट ने अहम टिप्पणी की है।
Bail is Rule Jail is exception: धन शोधन निवारण अधिनियम (PMLA) से जुड़े मामलों में जमानत को लेकर सुप्रीम कोर्ट ने अहम टिप्पणी की है। कोर्ट ने कहा कि PMLA के मामलों में भी जमानत नियम है और जेल अपवाद है। कोर्ट ने ये टिप्पणी झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के कथित सहयोगी प्रेम प्रकाश को जमानत देते हुए की है। कई महीनों से जेल में बंद प्रेम पर अवैध खनन और जमीन घोटाले में शामिल होने का आरोप है।
बार एंड बेंच के मुताबिक, न्यायमूर्ति बीआर गवई और न्यायमूर्ति केवी विश्वनाथन की खंडपीठ ने कहा कि व्यक्ति की स्वतंत्रता सदैव नियम है और विधि द्वारा स्थापित प्रक्रिया द्वारा उससे वंचित करना अपवाद है। कोर्ट ने स्पष्ट किया कि PMLA के तहत जमानत की कठोर शर्तें इस सिद्धांत को दरकिनार कर देंगी। कोर्ट ने ये भी कहा कि PMLA के आरोपी द्वारा दिए गए बयान सामान्यतः साक्ष्य के रूप में स्वीकार्य नहीं होंगे।
कोर्ट ने कहा, "मनीष सिसोदिया मामले में दिए गए फैसले पर भरोसा करते हुए हमने कहा है कि PMLA में भी जमानत एक नियम है और जेल अपवाद है। धारा 45 में केवल जमानत के लिए पूरी की जाने वाली शर्तें बताई गई हैं। व्यक्ति की स्वतंत्रता हमेशा नियम है और कानून द्वारा स्थापित प्रक्रिया के तहत जेल हमेशा अपवाद है। जुड़वां परीक्षण इस सिद्धांत को खत्म नहीं करता है।"
इस मामले में पहले हुई सुनवाई में कोर्ट ने प्रवर्तन निदेशालय (ED) से नाराजगी जताई थी। कोर्ट ने कहा था, "बिना मुकदमे के किसी को अनिश्चितकाल तक हिरासत में रखना कैद के समान है। यह स्वतंत्रता के अधिकार में बाधक है। जांच एजेंसी ऐसा इसलिए कर रही है, ताकि मामले में ट्रायल शुरू न हो पाए और आरोपी को जमानत न मिल सके। यह गलत है।" कोर्ट ने ED द्वारा बार-बार पूरक चार्जशीट दाखिल करने पर भी आपत्ति जताई थी।
क्या है मामला?
झारखंड की राजधानी रांची में कथित तौर पर फर्जी दस्तावेजों के जरिए अवैध तरीके से करोड़ों की जमीन की खरीद-फरोख्त का मामला सामने आया था। इस मामले में ने अगस्त, 2023 में प्रेम को गिरफ्तार किया था। प्रेम के अलावा करीब 13 और आरोपी इसी मामले में गिरफ्तार किए गए थे। प्रेम को हेमंत सोरेन का करीबी माना जाता है और वो अवैध खनन मामले में भी गिरफ्तार हो चुका है।
PMLA को 2002 में अधिसूचित किया गया था और 2005 में लागू किया गया। इस कानून का मुख्य उद्देश्य मनी लॉन्ड्रिंग के मामलों को रोकना, अवैध गतिविधियों और आर्थिक अपराधों में कालेधन के उपयोग को रोकना, मनी लॉन्ड्रिंग में शामिल या प्राप्त संपत्ति को जब्त करना और मनी लॉन्ड्रिंग से जुड़े दूसरे अपराधों को रोकना है। 2012 में संशोधन के बाद सभी वित्तीय संस्थाओं, बैंकों, म्यूचुअल फंड, बीमा कंपनियों और उनके वित्तीय मध्यस्थो पर भी PMLA लागू होता है।