Indore News: टीआई हाकिम सिंह सुसाइड केस पर सरकार की बड़ी कार्रवाई! ब्लैकमेलिंग साबित, महिला ASI बर्खास्त! पढ़ें पूरा मामला
Indore TI Hakim Singh Case: MP सरकार की सख्त कार्रवाई, महिला ASI रंजना खोडे बर्खास्त। जांच में ब्लैकमेलिंग की पुष्टि।

TI Hakim Singh Suicide Case: मध्य प्रदेश सरकारने चर्चित टीआई हाकिम सिंह आत्महत्या मामले में बड़ा फैसला लिया है। महिला एएसआई रंजना खोडे (ASI Ranjana Khode) को विभाग से नौकरी से बर्खास्त कर दिया गया है। जांच में यह साबित हुआ कि रंजना खोडे ने टीआई हाकिम सिंह को लगातार ब्लैकमेल कर रही थी, जिससे वह मानसिक रूप से टूट गए थे।
क्या था पूरा मामला?
यह सनसनीखेज मामला जून 2022 में सामने आया था। इंदौर के रीगल चौराहा स्थित पुलिस कंट्रोल रूम में टीआई हाकिम सिंह पंवार ने पहले महिला एएसआई रंजना खोडे पर गोली चलाई और फिर खुद को गोली मार ली थी। रंजना खोडे को गोली कान के पास से छूकर निकल गई थी, जबकि टीआई की मौके पर मौत हो गई थी। इस घटना ने पूरे पुलिस महकमे को झकझोर कर रख दिया था।
दो चरणों में हुई जांच, दूसरी रिपोर्ट में खुली पोल
घटना के बाद एसआईटी (SIT) का गठन किया गया था। पहली जांच रिपोर्ट में रंजना की भूमिका संदिग्ध पाई गई और उनकी वेतनवृद्धि रोक दी गई थी। इसके बाद रंजना ने तबादला करवाकर धार में पदस्थापना ले ली थी।
लेकिन पुलिस कमिश्नर संतोष सिंह ने पहली जांच रिपोर्ट से असहमति जताई और मामले की दोबारा जांच अतिरिक्त पुलिस कमिश्नर आर.के. सिंह को सौंपी गई।दूसरी जांच रिपोर्ट में पाया गया कि रंजना खोडे ने व्यक्तिगत संबंधों का इस्तेमाल कर टीआई को ब्लैकमेल किया। इससे न केवल उनकी मानसिक स्थिति पर गहरा असर पड़ा बल्कि पुलिस विभाग की साख को भी ठेस पहुंची। रिपोर्ट के आधार पर शासन ने अब रंजना खोडे की सेवा समाप्ति का आदेश जारी कर दिया है।
गोलीकांड के बाद खुद बनी थीं शिकायतकर्ता, अब निकलीं आरोपी
घटना के बाद रंजना खोडे ने खुद टीआई के खिलाफ FIR दर्ज करवाई थी उन्होंने छोटी ग्वालटोली थाने (Chhoti Gwaltoli Police Station) में हत्या के प्रयास का केस दर्ज करवाया था। लेकिन कुछ दिनों बाद टीआई के परिवार ने उनके खिलाफ ब्लैकमेलिंग के गंभीर आरोप लगाए।
फॉरेंसिक और डिजिटल सबूत सामने आने के बाद रंजना पर केस दर्ज हुआ और उन्हें गिरफ्तार किया गया था। हालांकि, एक सप्ताह बाद वह जमानत पर रिहा हो गई थी। वर्तमान में वह धार जिले में तैनात थीं। अब सरकार के आदेश के बाद उन्हें सेवा से बर्खास्त कर दिया गया है।
