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Jharkhand News : झारखंड के सीएम पद की शपथ लेने के बाद बोले चंपई, हेमंत बाबू के काम को गति देंगे

Jharkhand News : झारखंड के नए मुख्यमंत्री चंपई सोरेन ने शपथ ग्रहण के बाद कहा कि हेमंत सोरेन के नेतृत्व में गठबंधन सरकार ने यहां के आदिवासियों-मूलवासियों के लिए जो काम शुरू किया था,

Jharkhand News : झारखंड के सीएम पद की शपथ लेने के बाद बोले चंपई, हेमंत बाबू के काम को गति देंगे
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By yogeshwari varma

Jharkhand News 2 फरवरी । झारखंड के नए मुख्यमंत्री चंपई सोरेन ने शपथ ग्रहण के बाद कहा कि हेमंत सोरेन के नेतृत्व में गठबंधन सरकार ने यहां के आदिवासियों-मूलवासियों के लिए जो काम शुरू किया था, उसे गति देंगे।उन्होंने कहा कि विपक्ष की ओर से किए जाने वाले झूठे प्रचार और झारखंड को अस्थिर करने के प्रयास को हमारे गठबंधन ने सफल नहीं होने दिया। आगे भी उनके हर षड्यंत्र को नाकाम कर देंगे।

चंपई ने कहा कि हमारी सरकार झारखंड के सभी वर्गों और समाज के हितों के लिए वैसे ही काम करेगी, जैसा हेमंत बाबू कर रहे थे।सोरेन ने आदिवासियों, दलितों, मूलवासियों के विकास और जल-जंगल-जमीन के मुद्दों को लेकर अपनी प्रतिबद्धता जताई।शपथ ग्रहण के पहले चंपई सोरेन ने झारखंड मुक्ति मोर्चा के प्रमुख शिबू सोरेन और उनकी पत्नी रूपी सोरेन से उनके आवास जाकर मुलाकात की और उनका आशीर्वाद लिया।

68 वर्षीय चंपई सोरेन हेमंत सोरेन की सरकार में परिवहन मंत्री थे। वह कोल्हान प्रमंडल के सरायकेला विधानसभा क्षेत्र के विधायक हैं और हेमंत सोरेन के सबसे विश्वस्त माने जाते रहे हैं।चंपई झामुमो के सुप्रीमो शिबू सोरेन के अनन्य सहयोगी रहे हैं और झारखंड आंदोलन से उनका लंबा जुड़ाव रहा है। कई मौकों पर सीएम हेमंत सोरेन को इनका पैर छूते हुए भी देखा गया है। इसी से अंदाजा लगाया जा सकता है कि झामुमो में इनकी अहमियत कितनी है।चंपई सोरेन को लोग झारखंड टाइगर के नाम से भी बुलाते हैं। चंपई ने 1991 में पहली बार सरायकेला विधानसभा क्षेत्र के लिए हुए उपचुनाव में निर्दलीय प्रत्याशी के तौर पर जीत दर्ज की थी। वो जीत इसलिए बड़ी थी क्योंकि इन्होंने कद्दावर झामुमो सांसद कृष्णा मार्डी की पत्नी को हराया था।

बाद में 1995 में झामुमो के टिकट पर जीत हासिल की। लेकिन वर्ष 2000 में बीजेपी के अनंतराम टुडू से चुनाव हार गए थे। इसके बाद वर्ष 2005 से लगातार सरायकेला से विधायक रहे हैं। 2019 में इन्होंने भाजपा के गणेश महली को हराया था।

चंपई सोरेन का जन्म सरायकेला के जिलिंगगोड़ा में 1956 में सेमल सोरेन और माधव सोरेन घर हुआ। अपने तीन भाइयों और एक बहन में ये सबसे बड़े हैं। शैक्षणिक योग्यता की बात करें तो ये मैट्रिक पास हैं। इनकी शादी मानको सोरेन से हुई है और इनके चार बेटे और तीन बेटियां हैं।


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