Pakistan Ballistic Missile: भारत से तनाव के बीच पाकिस्तान ने किया बैलिस्टिक मिसाइल का परीक्षण, जान लीजिए क्या है इसकी रेंज
Pakistan Ballistic Missile: जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में 22 अप्रैल, 2025 को हुए भीषण आतंकी हमले के बाद भारत और पाकिस्तान के बीच तनाव चरम पर है। इस हमले में 26 लोगों, ज्यादातर पर्यटकों की मौत ने पूरे देश को हिलाकर रख दिया।

Pakistan Ballistic Missile: जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकवादी हमले के बाद भारत के साथ बढ़े तनाव के बीच पाकिस्तान ने शनिवार को 450 किलोमीटर की मारक क्षमता वाली सतह से सतह पर मार करने वाली बैलिस्टिक मिसाइल का सफल परीक्षण किया है। पाकिस्तान का दावा किया कि अब्दाली वेपन सिस्टम के नाम से जानी जाने वाली इस मिसाइल को पाकिस्तानी सैन्य अभ्यास 'INDUS' के तहत लॉन्च किया गया। इसका परीक्षण सोनमियानी रेंज में किया गया है। आइए इसकी खासियत जानते हैं।
पाकिस्तान की सरकार ने कहा, "इस प्रक्षेपण का उद्देश्य सैनिकों की परिचालन तत्परता सुनिश्चित करना और मिसाइल की उन्नत नेविगेशन प्रणाली और उन्नत गतिशीलता विशेषताओं सहित प्रमुख तकनीकी मापदंडों को मान्य करना था।" पाकिस्तान ने कहा कि प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ और अन्य सैन्य प्रमुखों ने देश की राष्ट्रीय सुरक्षा के लिए सैन्य बलों की परिचालन तत्परता और तकनीकी दक्षता पर पूर्ण विश्वास व्यक्त किया है। इस मिसाइल को हत्फ-2 के नाम भी जाना जाता है।
पाकिस्तान की सेना के मीडिया विंग, इंटर-सर्विसेज पब्लिक रिलेशंस (ISPR) ने बयान जारी कर कहा कि इस टेस्ट का मकसद “सैनिकों की परिचालन तत्परता सुनिश्चित करना और मिसाइल की उन्नत नेविगेशन प्रणाली व गतिशीलता विशेषताओं सहित प्रमुख तकनीकी मापदंडों को मान्य करना” था। टेस्ट को आर्मी स्ट्रैटेजिक फोर्सेज कमांड (ASFC) के कमांडर, स्ट्रैटेजिक प्लान्स डिवीजन के वरिष्ठ अधिकारियों और वैज्ञानिकों ने देखा।
पाकिस्तान के राष्ट्रपति आसिफ अली जरदारी, प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ और सैन्य प्रमुखों ने इस टेस्ट को सफल बताते हुए सेना, वैज्ञानिकों और इंजीनियरों को बधाई दी। पाकिस्तान का दावा है कि यह टेस्ट उसकी राष्ट्रीय सुरक्षा को मजबूत करने और न्यूनतम प्रतिरोध क्षमता बनाए रखने की दिशा में एक कदम है।
अब्दाली बैलिस्टिक मिसाइल की खासियत
अब्दाली मिसाइल, जिसे हत्फ-2 के नाम से भी जाना जाता है, पाकिस्तान के स्पेस एंड अपर एटमॉस्फेयर रिसर्च कमीशन (SUPARCO) और डिफेंस साइंस एंड टेक्नोलॉजी ऑर्गनाइजेशन (DESTO) ने मिलकर विकसित किया है। यह एक सिंगल-स्टेज, सॉलिड-फ्यूल, रोड-मोबाइल बैलिस्टिक मिसाइल है, जिसे युद्धक्षेत्र में तैनात करने के लिए डिजाइन किया गया है। इसकी प्रमुख विशेषताएं हैं:
- रेंज: 450 किलोमीटर (पाकिस्तान का दावा), हालांकि कुछ रिपोर्ट्स में 180-200 किमी रेंज का उल्लेख है।
- पेलोड: 500 किलोग्राम तक पारंपरिक गोला-बारूद या सबम्यूनिशन ले जाने की क्षमता।
- सटीकता: 100-150 मीटर का सर्कुलर एरर प्रोबेबिलिटी (CEP), जो इसे सैन्य ठिकानों, हवाई अड्डों और बुनियादी ढांचे पर निशाना साधने में सक्षम बनाता है।
- नेविगेशन: उन्नत नेविगेशन सिस्टम और बेहतर गतिशीलता, जो इसे अधिक प्रभावी बनाता है।
हालांकि, यह मिसाइल परमाणु हथियार ले जाने में सक्षम नहीं है, लेकिन इसकी रेंज और सटीकता इसे सामरिक उपयोग के लिए महत्वपूर्ण बनाती है।
पहलगाम आतंकी हमला और भारत-पाक तनाव
22 अप्रैल, 2025 को पहलगाम की बैसरन घाटी में आतंकियों ने पर्यटकों पर हमला किया, जिसमें 25 भारतीय और 1 नेपाली नागरिक की मौत हुई। हमले की जिम्मेदारी पहले द रेसिस्टेंस फ्रंट (TRF), जो लश्कर-ए-तैयबा की शाखा है, ने ली, लेकिन बाद में उसने इससे इनकार किया। भारतीय खुफिया एजेंसियों ने हमले के तार पाकिस्तान के मुजफ्फराबाद और कराची से जोड़े। एक आतंकी, हाशिम मूसा, जो पाकिस्तानी सेना का पूर्व कमांडो बताया जा रहा है, इस हमले में शामिल था।
इस हमले के बाद भारत ने सख्त कदम उठाए:
- आयात पर प्रतिबंध: पाकिस्तान से सभी वस्तुओं के आयात पर पूर्ण रोक।
- सिंधु जल संधि निलंबन: 1960 की संधि को अस्थायी रूप से रद्द किया गया।
- अटारी-वाघा बॉर्डर बंद: एकीकृत चेक पोस्ट (ICP) को बंद कर दिया गया।
- SAARC वीजा रद्द: पाकिस्तानी नागरिकों के लिए वीजा छूट योजना खत्म।
- राजनयिक निष्कासन: पाकिस्तानी सैन्य अताशे को निष्कासित किया गया।