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छोटे बच्चों में खांसी के कारण: सिर्फ मौसम बदलने से ही नहीं, इन कारणों से भी हो सकती है बच्चों को खांसी, कारण पहचान इलाज कराएं

छोटे बच्चों में खांसी के कारण: सिर्फ मौसम बदलने से ही नहीं, इन कारणों से भी हो सकती है बच्चों को खांसी, कारण पहचान इलाज कराएं
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By NPG News

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छोटे बच्चों की रोग-प्रतिरोधक क्षमता कमजोर होती है, जिसके कारण उनमें बदलते मौसम में खांसी की समस्या बहुत ज्यादा देखी जाती है। यही नहीं, कई बार जिसे हम मौसमी खांसी समझ लेते हैं। उसके पीछे दूसरी कोई वजह भी हो सकती है। नासमझी में हम समस्या को कहीं बढ़ा न लें, इसके लिए ज़रूरी है कि हमें छोटे बच्चों में खांसी के प्रकारों की सही पहचान हो। आइए जानते हैं बच्चों में किस-किस कारण से खांसी हो सकती है।

वायरल खांसी

वायरल खांसी छोटे बच्चें में खांसी का सबसे आम रूप होता है। इसकी समस्या ठंड के मौसम में सबसे ज्यादा देखी जाती है। इसके होने पर बच्चे की नाक बहती रहती है और खांसी के दौरान बलगम भी आता है। यह वायुमार्ग में संक्रमण के कारण होती है।

एलर्जी के कारण खांसी

यदि बच्चे को किसी विशेष मौसम में हर साल खांसी हो रही है तो यह एलर्जी वाली खांसी है। इस तरह की खांसी शाम या रात को बढ़ती है।

अस्थमा के कारण खांसी

बच्चों में अस्थमा के कारण भी खांसी हो सकती है। इसके लक्षण आमतौर पर ब्रोंकोलाइटिस खांसी के जैसे ही होते हैं। हालांकि, इस तरह की खांसी में बच्चे के गले से घरघराहट की आवाज के साथ सीने में जकड़न की समस्या भी रहती है।इसके कारण बच्चा तेजी-तेजी से सांसे लेने लगता है।

पेट के कीड़ों के कारण खांसी

आपको यह पढ़कर हैरानी हो सकती है लेकिन बच्चों को प्रायः पेट में कीड़े होने की समस्या होती है। अगर ये समस्या लंबी खिंचे तो यह भी खांसी का कारण बन सकती है। कीड़ों के लार्वा के रक्त के साथ फेफड़ों में पहुंच जाने से ऐसा होता है।

सूखी खांसी

छोटे शिशुओं में भी सूखी खांसी की समस्या हो सकती है। हालांकि, सूखी खांसी छोटे बच्चों को रात के समय ज्यादा परेशानी करती है। दिन के समय इसमें कुछ सुधार हो सकता है।सूखी खांसी का कारण सर्दी, एलर्जी या अस्थमा भी हो सकता है। इसकी समस्या तब होती है जब फेफड़ों के वायुमार्ग में सूजन और सिकुड़न हो जाती है।

निमोनिया के कारण खांसी

निमोनिया के कारण लगभग सभी उम्र के बच्चों में खांसी की समस्या देखी जाती है। इसके कारण बच्चे को बुखार, खांसी और सांस लेने में कठिनाई हो जाती है। वायरल और बैक्टीरियल संक्रमणों के कारण फेफड़े में संक्रमण होने की वजह से यह होता है।

परटूसिस के कारण खांसी

यह एक जीवाणु संक्रमण के कारण होती है। यह खांसी रात के समय बढ़ती है। कई बार बच्चा खांसते- खांसते उल्टी भी कर देता है।

टीबी

अगर खांसी दो हफ्ते से ज्यादा और लगातार चल रही है। बच्चे को भूख नहीं लग रही, वज़न घट रहा है, सीने में दर्द है और गले में गांठें हो रही हैं तो ये टीबी के लक्षण हैं।

बच्चों की खांसी यदि डाॅक्टर द्वारा दी गई सामान्य दवाई से ठीक नहीं हो रही तो इसे अधिक टालना ठीक नहीं। बच्चे की दोबारा जांच कराएं। कारण पता कर उस हिसाब से इलाज कराएं। एलर्जी वाली खांसी में एलर्जन से दूर रखें। पेट के कीड़ों का इलाज कराएं। उबला पानी, साफ फल-सब्जी खिलाएं। परटूसिस जैसी खांसी के लिए वैक्सीनेशन ज़रूरी है। निमोनिया वाली खांसी के उपचार के लिए डाॅक्टर बच्चों को एंटीबायोटिक दवाएं और ऑक्सीजन दे सकते हैं। टीबी का इलाज लंबा चलता है। इसलिए समस्या को समझें और इलाज में देर न करें।

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