Bilaspur News: डायरिया से 2 वर्षीय मासूम ने तोड़ा दम, हैंड पंप नहीं होने से कुएं का पानी पीने के लिए मजबूर है ग्रामीण...
Bilaspur News: डायरिया से दो वर्षीय मासूम की मौत हो गई। बीती रात से उसे उल्टी दस्त की शिकायत थी। गांव में अन्य डायरिया पीड़ित मिलने के चलते स्वास्थ्य विभाग गांव में पहुंचकर पीड़ितों का इलाज कर रहा है। इसके साथ ही पानी का सैंपल भी जांच के लिए भिजवाया गया है।
Bilaspur News: बिलासपुर। मलेरिया के अलावा डायरिया का कहर जारी है। मलेरिया से जिले में पांच मौतों के बाद अब डायरिया से 2 वर्षीय मासूम ने दम तोड़ दिया है। कल रात से हो रहे लगातार उल्टी दस्त के चलते परिजन उसे इलाज के लिए सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र ले जा रहे थे, तभी उसकी मौत हो गई। आसपास और भी डायरिया पीड़ित होने की आशंका पर स्वास्थ्य विभाग का अमला मौके पर पहुंचकर जांच में जुट गया है। मामला मस्तूरी विकासखंड का है।
बिलासपुर जिले के मस्तूरी विकासखंड अंतर्गत मल्हार चौकी क्षेत्र में आने वाले ग्राम बूढ़ीखार में निवासी राजकुमार केवर्त के तीन बच्चे हैं। जिसमें दो बड़ी बेटी व एक दो साल का बेटा वीर केवर्त है। कल रात 8 बजे से अचानक उसे उल्टी दस्त शुरू हो गया। रात भर उल्टी दस्त नहीं रुकने से परिजन उसे सुबह 5 बजे मल्हार स्थित अस्पताल लेकर गए। जहां डॉक्टर ने बच्चे को गंभीर स्थिति में देखते हुए उसे तत्काल मस्तूरी स्थित सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र रेफर कर दिया। मस्तूरी सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र ले जाने के दौरान बच्चे की मौत हो गई।
मिली जानकारी के अनुसार मृत बच्चे के घर के आसपास 8 से 10 लोग डायरिया पीड़ित है। बुढीखार के वार्ड क्रमांक 7 केंवट मोहल्ला में एक भी सरकारी हैंड पंप नहीं है। ग्रामीण पास ही खुले में स्थित कुएं का पानी पीने के लिए मजबूर है। पानी के लिए बदहाल ग्रामीणों की स्थिति को देखते हुए नल जल योजना सहित अन्य स्वच्छ जल आपूर्ति योजना के सारे दावों की पोल खुल गई है। मस्तूरी के खंड शिक्षा अधिकारी डॉ अनिल कुमार के अनुसार एक बच्चे की मौत की जानकारी लगने के बाद स्वास्थ्य विभाग का अमला गांव में पहुंचा हुआ है वह अन्य पीड़ितों को चिन्हित कर इलाज किया जा रहा है इसके साथ ही कुएं के पानी का सैंपल लेकर इसकी जांच की जा रही है।
जिला कलेक्टर अवनीश शरण लगातार स्वास्थ्य सुविधाओं को दुरुस्त करने के लिए सिम्स अस्पताल समेत जिले के दूरस्थ अंचल के गांवों व हेल्थ सेंटर्स में घूम कर आवश्यक व्यवस्थाएं सुनिश्चित कर रहे हैं। आज भी उन्होंने बेलगहना अस्पताल का दौरा किया और स्वास्थ्य विभाग के मैदानी कर्मचारियों से मलेरिया के हालातों की जानकारी ली। इस दौरान 1 वर्ष से गायब डॉक्टर पर कार्यवाही का प्रस्ताव बनाकर भेजने के लिए निर्देशित भी किया।