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Benefits of Betel Leaves: कमाल के औषधीय गुण हैं आसानी से मिलने वाले पान के पत्तों में, बिना सुपारी-कत्थे के खाना है सही...

Benefits of Betel Leaves: कमाल के औषधीय गुण हैं आसानी से मिलने वाले पान के पत्तों में, बिना सुपारी-कत्थे के खाना है सही...

Benefits of Betel Leaves: कमाल के औषधीय गुण हैं आसानी से मिलने वाले पान के पत्तों में, बिना सुपारी-कत्थे के खाना है सही...
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By Divya Singh

Benefits of Betel Leaves: दिल के आकार वाला, आकर्षक हरे रंग का पान का पत्ता अपने भीतर अनेक औषधीय गुण समेटे हुए है। इसके बरेजे लगाए जाते हैं जहां इसकी बारहमासी बेल खूब फैलती है। देश भर में आमतौर पर खाना खाने के बाद अपने-अपने तरीके से बनाकर पान खाया जाता है क्योंकि यह माउथ फ्रेशनर का काम करता है। पान का स्वाद बढ़ाने के लिए इसमें डाली जाने वाली सपोर्टिंग चीजें जैसे सुपारी, कत्था, मसाला आदि इसके गुणों को कम करते और नुकसान को बढ़ाते हैं। अगर आप पान के पत्ते को खाली ही चबाकर खाएं तो इसके कमाल के फायदे आपको ज़रूर मिलेंगे। आइए जानते हैं कि पान आपके लिए किस-किस तरीके से फायदेमंद हो सकता है।

पहला गुण मुखशुद्धि

पान को मूलतः माउथ फ्रेशनर के तौर पर खाया जाता है और इसके लिए उसमें तमाम चीज़ें मिला दी जाती हैं। जबकि सच तो यह है कि खाली पान का पत्ता ओरल हाइजीन मेंटेन कर सकता है। उसमें कुछ अतिरिक्त डालने की ज़रूरत नहीं है। पान का पत्ता चबाने से मुंह साफ होता है। पान के पत्तों में नेचुरल एंटीसेप्टिक गुण होते हैं, जो मुंह में हानिकारक बैक्टीरिया की ग्रोथ रोकते हैं। इससे मुंह की दुर्गंध, दांतों की सड़न, मसूड़ों की सूजन आदि से बचाव होता है।

सिरदर्द को दूर करे

सिर में बहुत ज्यादा दर्द हो तो आप पान के पत्तों के तेल से मालिश कर के देखें। और अगर तेल नहीं है तो पत्तों को पीसकर इसके पेस्ट का लेप करें। पान में नेचुरल एनाल्जेसिक और कूलिंग गुण होते हैं। इसलिए यह दर्द से राहत देता है।

छाती से कफ हटाए, सांस लेना हो आसान

ये दादी-नानी का एक अचूक नुस्खा है। जब आप तमाम दवाओं और कफ सायरप ट्राई करके हार जाएं तो इसे आज़मा सकते हैं। आप पान के पत्ते पर सरसों का तेल लगाएं और इसे गर्म करें। अब इसे छाती पर बांध दें। इससे छाती में भरा हुआ कफ ढीला होता है और खासकर खांसी से एकदम बेहाल बच्चा बहुत राहत महसूस करता है। बड़ों पर भी यह नुस्खा समान रूप से प्रभावी है। आप पान के पत्ते को कुचल लें या पीस लें और इसे चम्मच भर शहद के साथ मिलाकर खिलाएं। इससे भी रोगी को सहजता महसूस होगी।

घाव भरे पान का पत्ता

गांवों में पान के पत्ते का इस्तेमाल छोटे-मोटे घाव को जल्दी भरने के लिए भी किया जाता है। इसके लिए एक पत्ते को पीसकर उसका रस निकाला जाता है और उसे घाव पर डाला जाता है। इसके बार उसके ऊपर एक दूसरा पान का पत्ता लगा दिया जाता है। फिर ऊपर कपडे से पट्टी बांध दी जाती है। माना जाता है कि इस उपाय से घाव बहुत जल्दी भर जाता है।

फेस के लिए

पान के पत्तों के रस में हल्दी मिलाकर लेप बनाएं और इसे कील- मुहांसे, डार्क स्पाॅट, संक्रमण आदि पर लगाएं तो ज़रूर फायदा होता है। पान के पत्तों में रोगाणुरोधी गुण होते हैं जो स्किन पर असर दिखाते हैं। आप चेहरा धोने के लिए पान के पत्ते उबालने के बाद बचा पानी छान कर इस्तेमाल कर सकते हैं।

मानसिक तनाव से राहत

पान के पत्ते मानसिक तनाव और चिंता भी दूर कर सकते हैं। पान के पत्तों में फेनोलिक कम्पाउंड्स होते हैं जो आपका मूड ठीक करते हैं और तनाव कम करने में मदद करते हैं। इसके लिए आप सीधे पान चबा सकते हैं या पान के पत्तों के रस को शहद के साथ खा सकते हैं।

कान दर्द ऐसे भगाएं

अगर घर में कोई कान दर्द से परेशान है तो आप पान के पत्तों का तेल और नारियल तेल मिलाकर उसकी कुछ बूंदें कान में डालें। इससे कान दर्द से राहत मिलेगी।

मूत्र वर्धक है पान का पत्ता

अगर आपको पेशाब खुलकर नहीं आती या रुक-रुककर आती है तो आप आप पान के पत्तों का रस दूध और पानी के मिश्रण में घोल कर पिएं। इससे मूत्रवर्धन होगा।

भूख बढ़ाए

अगर आपके पेट का पीएच स्तर बिगड़ जाए तो परेशानी होती है और भूख कम हो जाती है। पान के पत्ते चबाकर खाने से पीएच स्तर सामान्य होता है। इससे भूख भी महसूस होने लगती है और खाना खाने की इच्छा दोबारा जागती है।

डाइजेशन में

डाइजेशन बेहतर करने में भी पान का पत्ता उपयोगी है। पान का पत्ता चबाने से लार बेहतर तरीके से रिलीज़ होती है जो पाचन का पहला और महत्वपूर्ण चरण है। अपच, कब्ज़ और एसिडिटी से बचाने में भी पान का पत्ता मददगार है। यदि डाइजेशन से जुड़ी समस्याएं ज्यादा हैं तो इसके लिए रोज सुबह खाली पेट इसे चबाने की कोशिश की जा सकती है।

शुगर कंट्रोल में असरदार

पान के पत्तों में हाइपोग्लाइसेमिक गुण होते हैं। इस गुण के चलते ये शुगर कंट्रोल करने में मददगार हैं। सुबह खाली पेट पान के पत्ते चबाकर खाना डायबिटीज़ के मरीजों के लिए फायदेमंद हो सकता है।

कैंसर से कर सकते हैं बचाव

पान के पत्ते चबाकर खाने की आदत कैंसर से बचाव में भी प्रभावी हो सकती है। इन पत्तों में पाया जाने वाला फेनोलिक कंपाउंड कैंसर कोशिकाओं के विकास को रोकने में मददगार हो सकता है।

छालों से आराम

मुंह में छाले हो गए हों तब भी पान के पत्तों को चबाने से फायदा होता है।


Divya Singh

दिव्या सिंह। समाजशास्त्र में एमफिल करने के बाद दैनिक भास्कर पत्रकारिता अकादमी, भोपाल से पत्रकारिता की शिक्षा ग्रहण की। दैनिक भास्कर एवं जनसत्ता के साथ विभिन्न प्रकाशन संस्थानों में कार्य का अनुभव। देश के कई समाचार पत्रों में स्वतंत्र लेखन। कहानी और कविताएं लिखने का शौक है। विगत डेढ़ साल से NPG न्यूज में कार्यरत।

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