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Vaishakh purnima 2024 : वैशाख पूर्णिमा पर ऐसे करें घर पर स्नान, मिलेगा गंगा स्नान जितना पुण्य... जानें मुहूर्त, पूजा विधि और दान के नियम

Vaishakh purnima 2024 : वैशाख पूर्णिमा पर ऐसे करें घर पर स्नान, मिलेगा गंगा स्नान जितना पुण्य... जानें मुहूर्त, पूजा विधि और दान के नियम
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By Meenu

Vaishakh Purnima 2024: हिंदू धर्म में पूर्णिमा तिथि पर स्नान और दान का महत्व बताया गया है. 23 मई को पड़ने वाली वैशाख पूर्णिमा पर अगर गंगा स्नान के लिए नहीं जा पा रहे हैं तो घर पर नियम से स्नान करके भी गंगा स्नान जीतना पुण्य प्राप्त कर सकते हैं.

कहते हैं कि इस दिन विष्णु जी और लक्ष्मी माता की पूजा करने से घर में सुख-समृद्धि आती है। इसके साथ ही वैशाख पूर्णिमा के दिन भगवान सत्यनारायण की पूजा का विधान भी है। पूर्णिमा के दिन जो व्यक्ति भगवान सत्यनारायण की पूजा और कथा का पाठ करता है।

वैशाख पूर्णिमा (Vaishakh Purnima) के दिन बुद्ध पूर्णिमा (Buddha Purnima) भी मनाई जाती है. इस दिन बौद्ध धर्म के संस्थापक भगवान विष्णु (Vishnu Ji) जी के नौवें अवतार गौतम बुद्ध (Gautam Buddha) भगवान का जन्म हुआ था.



साथ ही भगवान को केले की फली, तुलसीदल आदि का भोग लगाता है उसके परिवार में हमेशा खुशहाली बनी रहती है। वैशाख पूर्णिमा के दिन स्नान-दान करना भी पुण्यकारी बताया गया है। तो आइए जानते हैं कि वैशाख पूर्णिमा के दिन स्नान-दान के लिए क्या शुभ मुहूर्त रहेगा और इस दिन क्या करना फलदायी होगा।

वैशाख पूर्णिमा 2024 तिथि (Vaishakh Purnima 2024 Tithi)

  • वैशाख पूर्णिमा 22 मई , 2024 6:47 शाम से 23 मई, 2024 7:22 शाम तक
  • उदयातिथि होने के कारण वैशाख पूर्णिमा का व्रत 23 मई , गुरुवार के दिन रखा जाएगा.


वैशाख माह 2024 की पूर्णिमा पर स्नान का महत्व (Vaishakh Month 2024 Importance of Snan)



हिंदू पंचांग के अनुसार, वैशाख पूर्णिमा का आरंभ 22 मई 2024 को शाम 6 बजकर 47 मिनट से होगा। पूर्णिमा तिथि का समापन 23 मई को शाम 7 बजकर 22 मिनट पर होगा। वहीं वैशाख पूर्णिमा के दिन स्नान-दान के लिए शुभ मुहूर्त सुबह 4 बजकर 4 मिनट से शुरू होगा। स्नान-दान के लिए ब्रह्म मुहूर्त 4 बजकर 4 मिनट से सुबह 5 बजकर 45 मिनट तक रहेगा।


वैशाख माह 2024 की पूर्णिमा पर स्नान का महत्व (Vaishakh Month 2024 Importance of Snan)

  • इस दिन ब्रह्म मुहूर्त में गंगा या किसी भी पवित्र नदी में स्नान करना शुभ माना जाता है.
  • इस दिन ब्रह्म मुहूर्त सुबह 4.04 मिनट से शुरू है जो 5.45 मिनट सुबह तक रहेगा.
  • अगर आप गंगा में स्नान नहीं कर पा रहे तो घर में नहाते समय पानी में गंगा जल मिलाकर स्नान करें.


वैशाख पूर्णिमा के दिन करें ये काम, पितृ होंगे प्रसन्न

  • पूर्णिमा के दिन पानी से भरा मिट्टी का घड़ा, छतरी, अन्न, फल और कपड़े का दान करें। ऐसा करने से पितरों का आशीर्वाद प्राप्त होता है।
  • वैशाख पूर्णिमा के दिन एक लोटे पानी में दूध और काला तिल मिलाकर पीपल के पेड़ को अर्पित करें। ऐसा करने से पितृ प्रसन्न होते हैं और अपने वंशजों का आशीर्वाद देते हैं।
  • पूर्णिमा के दिन कौवा, चिड़िया, कुत्ता और गाय को लिए अन्न और जल की व्यवस्था करें। पशु-पक्षी को पानी और दाना खिलाने से पितृ तृप्त होते हैं। कहा जाता है कि जीवों के जरिए पितृ पानी और अन्न ग्रहण करते हैं।
  • वैशाख पूर्णिमा के दिन गंगा नदी में जाकर स्नान करें और फिर गरीब और जरूरतमंदों को दान करें। अगर ऐसा संभव नहीं है तो घर पर पानी में गंगाजल मिलाकर स्नान करें।

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