political news: छापे के बाद छाते पर पॉलिटिक्स : पीएम ने खरगे के बहाने तो बीजेपी ने मरकाम के बहाने कांग्रेस को घेरा
कांग्रेस के राष्ट्रीय महाधिवेशन के दौरान छत्तीसगढ़ में ईडी के छापों पर नेताओं ने पीएम नरेंद्र मोदी और भाजपा पर हमला बोला था.
Politics on the Umbrella after the ED Raid
रायपुर. छत्तीसगढ़ में कांग्रेस के 85वें राष्ट्रीय महाधिवेशन के दौरान ईडी (प्रवर्तन निदेशालय) के छापे को लेकर दिग्गज नेताओं ने केंद्र सरकार और भाजपा पर निशाना साधा. अब पीएम नरेंद्र मोदी से लेकर छत्तीसगढ़ भाजपा ने छाते (छतरी) को लेकर कांग्रेस पर हमला बोला है. पीएम मोदी ने कर्नाटक में सभा को संबोधित करते हुए कहा कि कांग्रेस के कर्नाटक के एक बेटे मल्लिकार्जुन खरगे तो कांग्रेस का अध्यक्ष बनाया है, लेकिन भरी दुपहरी में किसके सिर पर छाता खुला, यह सबने देखा है. अब छत्तीसगढ़ भाजपा के महामंत्री केदार कश्यप ने कहा है कि खरगे दलित वर्ग के हैं, उन्हें किनारा किया जाता है. मोहन मरकाम को किनारा किया जाता है. पूर्व कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी के सुरक्षा गार्ड ने उन्हें रोक दिया. सीएम उन्हें बैठक में लताड़ते हैं. ये दिखावे के लिए अध्यक्ष बनाते हैं. सरेआम बेइज्जत करते हैं.
तस्वीर और वीडियो से शुरू हुआ विवाद
दरअसल, इस राजनीति की शुरुआत एक तस्वीर और वीडियो सामने आने के बाद हुई है. कांग्रेस महाधिवेशन की शुरुआत ध्वजारोहण के साथ होती है. कांग्रेस ने एक तस्वीर जारी की, जिसमें पूर्व अध्यक्ष सोनिया गांधी के सिर पर छतरी है, जबकि राष्ट्रीय अध्यक्ष खरगे के सिर पर छतरी नहीं है. वहीं, एक वीडियो वायरल है, जिसमें छत्तीसगढ़ के कांग्रेस अध्यक्ष मरकाम सोनिया गांधी के स्वागत के लिए माला लिए आगे बढ़ना चाहते हैं और उन्हें सुरक्षा गार्ड द्वारा रोका जाता है.
कर्नाटक की सभा में क्या कहा पीएम मोदी ने
पीएम मोदी ने कहा, 'कर्नाटक के एक बेटे यानी मल्लिकार्जुन खरगे को कांग्रेस का अध्यक्ष बनाया गया है, लेकिन वे केवल नाम के अध्यक्ष हैं. रिमोट कंट्रोल किसके हाथ में है, सब जानते हैं. रायपुर में भी भरी दुपहरी में छाता किसके सर के लिए खुला, यह सबको पता है. कम से कम खरगे साहब के लिए तो नहीं ही खुला. इससे बात अच्छी तरह समझ आती है कि कांग्रेस में अध्यक्ष कोई भी बन जाए, रिमोट कंट्रोल किसके हाथ में होता है, कहने की जरूरत नहीं है.
भाजपा ने कहा – कांग्रेस का यही असली चेहरा
कांग्रेस महाधिवेशन में पीसीसी अध्यक्ष मोहन मरकाम को सुरक्षा गार्ड द्वारा रोकने का वीडियो वायरल होने के बाद भाजपा के प्रदेश महामंत्री केदार कश्यप ने कहा कि राष्ट्रीय अधिवेशन में कांग्रेस का असली चेहरा जनता के सामने आ गया. आदिवासी को और कितना दबाएगी कांग्रेस. कश्यप ने कहा कि पहले एक आदिवासी प्रदेश अध्यक्ष के फोटो बैनर, होर्डिंग्स, फ्लैक्स से सुनियोजित तरीके से गायब किए गए, फिर बाद में चिपकाया गया. हद तो तब हो गई जब सोनिया गांधी का स्वागत करने जा रहे प्रदेश अध्यक्ष मरकाम को गार्ड ने रोक दिया, जबकि मुख्यमंत्री स्वयं वहां खड़े थे. क्या एक आदिवासी नेता, जो प्रदेश कांग्रेस संगठन का मुखिया है, उसकी इतनी भी हैसियत नहीं है कि वह अपने नेताओं का स्वागत कर सके?