मासूम से दुष्कर्म-मर्डर: आरोपी को कड़ी सजा दिलाने एसपी ने एसआईटी का किया गठन, पांच वकील लड़ेंगे केस
छत्तीसगढ़ के दुर्ग में मासूम से दुष्कर्म के बाद हत्या में दुर्ग पुलिस ने एसआईटी का गठन किया है। एसआईटी की टीम इस मामले में जांच कर इसकी रिपोर्ट कोर्ट में रखेगी। टीम में 7 सदस्य शामिल है।

दुर्ग। छत्तीसगढ़ के दुर्ग में छह साल की बच्ची से दुष्कर्म के बाद हत्या मामले में एसआईटी का गठन किया गया है। टीम में 7 पुलिस अधिकारियों-कर्मचारियों को शामिल किया गया है। आरोपी को कड़ी सजा दिलाने के लिए टीम तेजी से काम करेगी।
टीम में मोहन नगर थाना प्रभारी निरीक्षक शिव प्रसाद चंद्रा।
निरीक्षक श्रद्धा पाठक थाना प्रभारी महिला थाना। उप निरीक्षक चेतन चंद्राकर थाना प्रभारी छावनी। उप निरीक्षक पारस ठाकुर थाना प्रभारी मोहन नगर। सहायक उप निरीक्षक राजेन्द्र देशमुख थाना मोहन नगर।
सहायक उप निरीक्षक संगीता मिश्रा रक्षा टीम।
प्रधान आरक्षक लक्ष्मी नारायण पात्रे थाना मोहन नगर।
बता दें कि इस केस में आरोपी को सजा दिलाने के लिए स्थानीय वकील के साथ सुप्रीम कोर्ट के 5 वकील केस लड़ेंगे।
दुर्ग के मोहन नगर थाना क्षेत्र में 6 वर्षीय मासूम कन्या भोज के लिए निकली थी। इसी दौरान उसके चाचा ने भी कन्या भोज के बहाने मासूम को अपने घर बुलाया और घर की छत पर बने कमरे में ले जाकर दुष्कर्म किया। मासूम से हैवानियत करते हुए उसकी हत्या कर दी।
सबूत मिटाने के लिए हैवानियत के साथ बच्ची के प्राइवेट पार्ट को एसिड डाल कर जला दिया। फिर शव को घर के बाहर खड़ी कार की खुली डिक्की में दाल दिया था।
पुलिस ने आरोपी के खिलाफ धारा 103(1), 64(2 एफ), 65(2), 66, 238 बीएनएस, पाक्सो एक्ट की धारा 6 के तहत अपराध दर्ज किया है। आरोपी को अदालत में पेश कर 22 अप्रैल तक न्यायिक रिमांड में भेजा गया है।
वही दुर्ग जिला अधिवक्ता संघ ने दुष्कर्म और हत्याकांड के मामले में कड़ा रुख अपनाया है। अधिवक्ता संघ ने आरोपी के केस की पैरवी करने से इनकार करते हुए आरोपी का पक्ष अदालत में नहीं रखने की शपथ ली है। दुर्ग अधिवक्ता संघ ने एक मत होकर आरोपी को किसी भी प्रकार की कानूनी सहायता नहीं देने का निर्णय लिया है।