मैनपाट महोत्सव का आगाज...कवि कुमार विश्वास, भोजपुरी सिंगर श्रुती, शीतल और छत्तीसगढ़ के गायक सुनील ने अपनी गायकी से बांधा समा....

अम्बिकापुर 12 मार्च 2022। छत्तीसगढी और भोजपुरी तड़के के साथ कुमार विश्वास के कविताओं ने समा बांधा। साथ ही श्रुति औऱ शीतल ने भोजपुरी का तड़का लगाया। कार्यक्रम में प्रदेश के मशहूर सिंगर सुनील ने और कवि कुमार ने अपने अंदाज में मनमोहक प्रस्तुति दी। सरगुजा जिले के मैनपाट जिसे छत्तीसगढ़ का शिमला के रूप में जाना जाता है यहां मैनपाट महोत्सव का आगाज शुरू हो गया है। आयोजन के पहले ही कवि सम्राट के रूप में प्रसिद्धि पा चुके कुमार विश्वास ने अपनी प्रस्तुति दी और समा बांध दिया।
खाद्य एवं संस्कृति मंत्री अमरजीत भगत ने कार्यक्रम का शुभारंभ किया और इसे मैनपाट और सरगुजा के लिए एक मील का पत्थर बताया जिससे सरगुजा जिले में पर्यटन के क्षेत्र में काफी विकास हो सकेगा। प्रसिद्ध कवि कुमार विश्वास की प्रस्तुति के बाद श्रुति और शीतल ने भोजपुरी का ऐसा तड़का लगाया और लोगों को मंत्रमुग्ध कर दिया। उन्होंने मैलोडी गाने में कहे तोसे सजना से शुरुआत की जिस गाने ने लोगों को मंत्रमुग्ध कर दिया। वहीं दूसरी ओर अंत में लगावेलू जब लिपिस्टिक गाना गाया गया तो लोग अपने पैर थिरकने से रोक नहीं पाए और जमकर डांस किया। साथ ही लोगो ने कलेक्टर से विशेष अनुरोध किया कि उन्हें और सुनाया जाए, जिस डिमांड पर अब जहा श्रुति और शीतल के भोजपुरी गाने का प्रोग्राम एक दिन मात्र होना था वही इसे बढ़ाकर अब 12, 13 यानी अगले 2 दिन और कर दिया गया है। ताकि भोजपुरी गीतों को चाहने वाले दर्शक गण 2 दिन और इसका भरपूर मजा ले सकें ।
वहीं शाम ढलते ही सुनील मानिकपुरी जी ने छत्तीसगढ़िया गानों का एक ऐसा समा बांधा कि लोग खुद को थिरकने से रोक नहीं पाए। उन्होंने हमर पारा तुहर पारा गाने से शुरुआत कर अंतिम में हाय रे सरगुजा नाचे गाने पर अपनी परफॉर्मेंस का जलवा बिखेरा जिसके बाद जो पांव अब तक नहीं थिरके थे वह भी थिरक उठे। दरअसल मैनपाट छत्तीसगढ़ का शिमला के रूप में जाना जाता है और यहां पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए जिला प्रशासन की तरफ से मैनपाट महोत्सव का आयोजन किया जाता है। हर साल होने वाले इस आयोजन में स्थानीय कलाकारों के साथ साथ देश भर में प्रसिद्ध कलाकारों को भी बुला कर यहां के स्थानीय लोक कला और संस्कृति से रूबरू कराया जाता है। मैनपाट महोत्सव का आगाज 11 मार्च से किया गया है, जो कि 13 मार्च यानी 3 दिन तक चलेगा। 13 मार्च को यानी समापन के अवसर पर प्रदेश के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल इस कार्यक्रम में शामिल हो सकते हैं। पहले दिन कुमार विश्वास को सुनने के लिए काफी संख्या में यहां भीड़ जमा हुई और कुमार विश्वास ने लोगों को भी खूब आनंदित किया। कुमार विश्वास ने जताया कि वह किसी राजनीतिक दल से नहीं बल्कि विषुद्ध कवि हैं, जिसका आनंद न सिर्फ नेताओं ने बल्कि श्रोताओं ने भी खूब उठाया। कलेक्टर संजीव झा का कहना है कि इस पहल से मैनपाट को एक नई पहचान मिल सकेगी तो वहीं खाद्य एवं संस्कृति मंत्री अमरजीत भगत ने कहा कि मैनपाट में पर्याप्त संभावनाएं हैं और पर्यटन के क्षेत्र में इसका आयाम काफी विकसित किया जा सकता है, जिसके लिए सरकार और जिला प्रशासन लगातार प्रयास कर रहा है।
