कोरोना से मरने वालों के परिजनों को नहीं दे सकते चार-चार लाख का मुआवजा….. सुप्रीम कोर्ट में सरकार ने दिया जवाब
नयी दिल्ली 20 जून 2021। देश में कोरोना संक्रमण से जान गंवाने वाले लोगों के परिवार को चार-चार लाख रुपये अनुग्रह राशि दिए जाने का अनुरोध करने वाली याचिका पर केंद्र सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में जवाब दाखिल किया। केंद्र सरकार ने सुप्रीम कोर्ट से कहा है कि कोरोना वायरस की वजह से जान गंवाने वाले लोगों के परिवार को चार-चार लाख रुपये का मुआवजा देना संभव नहीं है। सरकार ने कहा कि अगर सभी पीड़ितों के परिजनों को 4-4 लाख रुपए का मुआवजा दिया जाएगा तो एसडीआरएफ का सारा पैसा उधर ही खर्च हो जाएगा.
दरअसल, सुप्रीम कोर्ट में कोविड से होने वाली मौतों पर 4 लाख रुपए का मुआवजा देने की मांग को लेकर एक याचिका दाखिल हुई थी. याचिकाकर्ता का कहना था नेशनल डिजास्टर मैनेजमेंट एक्ट और 2015 में नेशनल डिजास्टर मैनेजमेंट अथॉरिटी की तरफ से गाइडलाइंस जारी की गई थी, जिसमें आपदा की वजह से होने वाली मौतों पर 4 लाख रुपए मुआवजा देने की बात है. इस पर केंद्र की ओर से कहा गया है कि ये नियम भूकंप और बाढ़ जैसी प्राकृतिक आपदाओं पर ही लागू होता है.
केंद्र की ओर से सुप्रीम कोर्ट में दाखिल हलफनामे में कहा गया है, “अगर कोरोना से जान गंवाने वाले लोगों के परिजनों को 4-4 लाख रुपए का मुआवजा दिया जाता है तो इससे स्टेट डिजास्टर रिलीफ फंड (एसडीआरएफ) का सारा पैसा यहीं खर्च हो जाएगा.” सरकार की ओर से कहा गया है कि अगर सारा पैसा खर्च हो जाता है तो फिर कोविड-19 से निपटने और तूफान-बाढ़ जैसी आपदाओं से निपटने के लिए एसडीआरएफ के पास फंड की कमी हो जाएगी. सरकार की ओर से दलील गई है कि महामारी के इस दौर में सरकार को पैसे की जरूरत है
केंद्र सरकार ने यह जवाब वकील गौरव बंसल और रीपक कंसल द्वारा दायर उन याचिकाओं पर दिया है, जिसमें कोविड -19 महामारी से मारे गए लोगों के परिवार के सदस्यों को आपदा प्रबंधन अधिनियम 2005 के तहत चार लाख रुपये का मुआवजा देने की मांग की गई है। सुप्रीम कोर्ट इस मामले की सोमवार को सुनवाई करेगा।