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IPS Ratanlal Dangi: IG रतनलाल डांगी पर यौन शोषण के गंभीर आरोप, IG बोले DGP से, सब इंस्पेक्टर की पत्नी मुझे ब्लैकमेल कर रही

CG News: छत्तीसगढ़ में एक सब इंस्पेक्टर की पत्नी के आईजी रैंक के आईपीएस अफसर रतनलाल डांगी पर यौन शोषण के गंभीर आरोप से पुलिस महकमा हिल गया है । सब इंस्पेक्टर की पत्नी ने डांगी पर सात सालों से शारीरिक शोषण की शिकायत की है तो रतनलाल डांगी ने महिला पर ब्लैकमेल करने का आरोप लगाया है। बताते हैं, महिला की शिकायत से पहले डांगी ने DGP को लिखित शिकायत में बताया कि भयादोहन कर महिला ने वॉथरूम का वीडियो बना लिया। उन्होंने न्याय की गुहार लगाई है। खबर के नीचे पढ़िये DGP को उन्होंने क्या लिखा है।

IPS Ratanlal Dangi: IG रतनलाल डांगी पर यौन शोषण के गंभीर आरोप, IG बोले DGP से, सब इंस्पेक्टर की पत्नी मुझे ब्लैकमेल कर रही
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IPS Ratanlal Dangi

By Radhakishan Sharma

IPS Ratanlal Dangi News: रायपुर। छत्तीसगढ़ के 2003 बैच के आईपीएस अफसर रतनलाल डांगी पर यौन उत्पीड़न का आरोप लगा है। आरोप पुलिस महकमे के सब इंस्पेक्टर की पत्नी ने लगायी है। बिलासपुर के सब इंस्पेक्टर की पत्नी ने इस मामले की शिकायत आला अफसरों से की है।

आईपीएस अफसर पर शारीरिक शोषण का आरोप

महिला ने आरोप लगाया है की आईपीएस डांगी बीते सात साल से शारीरिक शोषण कर रहे हैं। गम्भीर आरोप को देखते हुए इस पूरे मामले की जांच शुरू की दी गई है। चर्चा तो इस बात की भी हो रही है कि आला अधिकारी पर यौन उत्पीड़न का आरोप लगाने वाली महिला पर शिकायत वापस लेने अफसर दबाव भी बना रहे हैं।

पीड़ित महिला ने शिकायत में इस बात का भी जिक्र किया है कि उसके पास आईपीएस रतनलाल डांगी के ख़िलाफ़ कई आपत्तिजनक डिजिटल साक्ष्य भी हैं। बताते है, महिला के पास निजी पलों के भी अश्लील वीडियो हैं। छत्तीसगढ़ में इस स्तर के अश्लील वीडियो के साथ किसी वरिष्ठ आईपीएस अफसर के खिलाफ यह पहला मामला होगा।

कैसे हुई मुलाकात

जानकारी के मुताबिक़, मामला साल 2017 का है। घटना तब की है जब आईपीएस रतनलाल डांगी जब कोरबा के एसपी थे। पीड़िता और आईपीएस रतनलाल डांगी की सोशल मीडिया के जरिये बातचीत शुरू हुई. दोनों के बीच दोस्ती बढ़ गयी। पीड़िता वीडियो कॉल के ज़रिए रतनलाल डांगी को योग सिखाया करती थी। दोनों के बीच बात चीत का सिलसिला जारी रहा। जब डांगी का तबादला राजनांदगांव और सरगुजा रेंज में हुआ तब भी उनके बीच सब ठीक था। लेकिन जैसे ही सरगुजा आईजी बने रतनलाल डांगी का व्यवहार बदल गया।

सरगुजा आईजी बनने के बाद करने लगे प्रताड़ित

पीड़िता की शिकायत के अनुसार, सरगुजा आईजी बनने के बाद रतनलाल डांगी ने उसे परेशान करना शुरू कर दिया। बिलासपुर आईजी बनने के बाद यह सिलसिला लगातार बढ़ता चला गया। अफसरों से की गई शिकायत में पीड़िता ने यह आरोप लगाया है कि रतनलाल डांगी अपनी पत्नी की ग़ैर मौजूदगी में उसे बंगले पर बुलाते थे।

आईपीएस रतनलाल डांगी ने चंदखुरी प्रशिक्षण अकादमी में अपने तबादले के बाद भी वीडियो काल के ज़रिए उत्पीड़न जारी रखा। पीड़िता ने आरोप लगाया है कि सुबह पांच बजे से लेकर रात दस बजे तक डांगी कई बार वीडियो काल पर बात करने का दबाव बनाते थे। पीड़िता ने अपनी शिकायत में यह कहा है कि पति की नौकरी पर आंच न आए इसलिए वह अब तक चुप रही है। आरोप है कि रतनलाल डांगी पति को नक्सल प्रभावित इलाकों में तबादला कर देने की धमकी दिया करते थे।

आईपीएस डाँगी ने क्या कहा...

उधर, पता चला है, आईपीएस डाँगी ने उससे पहले डीजीपी अरुणदेव गौतम को महिला के खिलाफ ब्लैकमेल की शिकायत की है। शिकायत में डांगी ने कहा है कि महिला लगातार उसे ब्लैकमेल कर रही है। उसके घर को महिला ने नर्क बना दिया है। महिला की प्रताड़ना से बचाने की गुहार लगाई है। सूत्रों से यह शिकायत NPG.NEWS को मिली है।

आईजी रतनलाल डांगी ने डीजीपी से की ये शिकायत

सूत्रों के अनुसार आईजी रतनलाल डांगी ने पुलिस महानिदेशक को अपने ब्लैकमेल की शिकायत की है। उन्होंने लिखित शिकायत में न्याय की गुहार लगाई। शिकायत में उन्होंने लिखा...महिला एक दिन वो मेरे कार्यालय में जहर की शीशी हाथ में लेकर पहुंची एवं मुझसे मेरे तीनों बेटों और माँ की कसम खिलवाई कि मैं अपनी पत्नी से कोई संबंध नहीं रखूँगा। उसकी शर्तें थींः मैं अपनी पत्नी के साथ न बैठूंगा, न बात करूंगा। उसे अपनी गाड़ी में कहीं नहीं ले जाऊँगा, न कोई खरीदारी कराऊँगा। उसे व्हाट्सएप्प पर ब्लॉक करूँगा, न कॉल करूँगा, न रिसीव करूँगा। उसके साथ कोई तस्वीर नहीं खिंचवाऊँगा और न ही जन्मदिन या सालगिरह मनाऊँगा।

अपनी पत्नी के मायके नहीं जाएंगे। मैं अपनी पत्नी के कमरे में न सोकर, रात 10 बजे के बाद घर की बालकनी में सोऊँगा और वहाँ से 8 घंटे की लाइव लोकेशन भेजूँगा तथा लाइट जलाकर वीडियो कॉल पर दिखाऊँगा कि वहाँ कोई और नहीं है।

सुबह 5 बजे से उसका वीडियो कॉल चालू रहेगा, जिसे केवल वही काट सकेगी। परिवार के किसी भी सदस्य, यहाँ तक कि अपने बेटों से भी बिना उसकी अनुमति के बात नहीं करूँगा।

घर एवं कार्यालय के वॉश रूम जाते समय, स्नान करते समय, वर्क आउट करते समय भी विडिओ कॉल मोबाईल पर चालू रहना चाहिए जिससे यूरिन करते हुए, नहाते हुए दिखे, नहाकर तैयार होने के लिए 20 मिनट और खाना खाने के लिए 12-15 मिनट ही मिलेंगे।

आरोपी महिला ने जो दबाव डाला उसी का फायदा उठाकर मेरे वॉश रूम में यूरिन करते समय के एवं बाथरूम के निजी पलों के स्क्रीन शॉट लेकर मुझे दिखाकर की यदि मैं उसके कहे अनुसार न चलूँगा तो ये फोटोग्राफ वायरल कर दूँगी, डीजीपी साहब को शिकायत कर दूँगी। इसके बाद उसने उन तस्वीरों और आपसी बातचीत के छेड़छाड़ किए हुए चैट के स्क्रीनशॉट्स का उपयोग कर मुझे ब्लैकमेल करना और धमकाना प्रारंभ कर दिया।

जब मैंने उसकी इन हरकतों का विरोध किया और उसके पति को सब कुछ बता देने की चेतावनी दी, तो उसने मुझ पर दबाव बनाने के लिए अपने हाथ को ब्लेड से काटकर उसकी तस्वीरें मुझे भेजीं। वह वीडियो कॉल पर पंखे से फंदा लगाकर आत्महत्या करने का नाटक करती थी, ताकि मैं डरकर उससे कोई भी संबंध तोड़ने की हिम्मत न कर सकूँ।

वह मुझ पर अपने बच्चों और माँ की झूठी कसम खाने का दबाव बनाती थी, ताकि उसे मेरे ऊपर नियंत्रण बनाये रखने का यकीन हो सके।

वो यह भी धमकी दिया था की मेरे कहने से आपने जिन-जिन लोगों की मदद किया था, उनसे मैंने रुपये वसूली किया था, जिससे मैंने अपना नया घर खरीदा, दो गाड़ियां लिया था, भविष्य में अपनी बच्ची की शादी के लिए गहने बनवाए, उन सबका झूठा रिकार्ड आपके नाम बनाकर फंसा दूँगी। जब मैंने बोला कि मुझे तो कभी बताए ही नहीं की तुमने वसूली जैसा काम भी किया था तो बोली यदि ऐसा न करती तो जिंदगी भर किराये के मकान में रहना पड़ता, मेरा घर कैसे बनता, गाड़ी, जेवर कैसे बनते, बच्चों की सालाना लाखों की स्कूल फीस, कोचिंग फीस एक सब इन्स्पेक्टर कहाँ से पटाता। आप मूर्ख बने यह तो आपकी गलती थी।

वह जब भी मेरे कार्यालय चंदखुरी आती थी तो अपने साथ जहर की एक शीशी लेकर आती और उसे टेबल पर रखकर धमकी देती कि यदि मैंने उसकी कोई भी बात नहीं मानी, तो वह यहाँ ही जहर पीकर मुझे झूठे मामले में फँसा देगी और जेल भिजवा देगी।

उसकी इन धमकियों एवं भय और आतंक के कारण मैं उसकी सभी अनुचित माँगें पूरी करने लगा। उसने मुझ पर दबाव डालकर मेरी पत्नी के साथ मेरा घूमना, योग करना और साथ में बाजार जाना पूरी तरह से बंद करवा दिया।

जब मेरी माँ एम्स में कैंसर का इलाज करवाने भर्ती थी तब भी दबाब डालती थी की मैं अपनी पत्नी को साथ में अपनी गाड़ी में नहीं ले जाऊँ। यदि ले गए तो अंजाम भुगतने तैयार रहे।

यहाँ तक की सितंबर माह में मेरी बहन की आकस्मिक मृत्यु होने पर भी उसने धमकाया की यदि मैं अपनी पत्नी को राजस्थान से अपने साथ में लाया तो वो आत्महत्या करके मुझे जेल भिजवा देगी।

साथ ही यह सब न मानने पर उसने वॉशरूम / बाथरूम की ली गई तस्वीरें, मेरे बेटों को, मेरी समधी मंत्री को तथा मेरी बहू को भेजकर मेरे बड़े बेटे का तलाक करवाने की धमकी भी दिया करती थी।

इन धमकियों के कारण मैं इस वर्ष पुलिस मेस में आयोजित होली मिलन समारोह में आपके द्वारा आयोजित डिनर पार्टी में अपनी पत्नी को साथ भी नहीं ला पाया था। इन सब कारण से मैं विगत दो वर्षों से अपने ही घर में अपनी पत्नी और बच्चों से अजनबियों जैसा व्यवहार करने पर मजबूर था, जिससे मैं और मेरा पूरा परिवार गंभीर मानसिक अवसाद से गुजर रहे थे।

करवा चौथ के दिन उसने वीडियो कॉल पर जहर की शीशी दिखाकर मुझे धमकी दी कि यदि मैं छत पर अपनी पत्नी के साथ पूजा में शामिल हुआ तो वह आत्महत्या कर लेगी। उसके डर से मैं नहीं गया, जिस कारण मेरी पत्नी को गहरा आघात लगा।

अगले दिन जब मैंने उसकी अनुचित माँगें मानने से इनकार किया और अपना फोन फ्लाइट मोड पर डाल दिया, तो उसने मेरे बेटे को फोन कर धमकाया और मेरे चरित्र पर अनर्गल आरोप लगाए। उसी दौरान जब मैंने उसके पति से संपर्क करने का प्रयास किया, तो उसके फोन पर भी उसकी पत्नी की ही आवाज आ रही थी, जिससे यह स्पष्ट हो गया कि इस षड्यंत्र में उसका पति भी बराबर का भागीदार है।

1इस तनाव के कारण मेरी पत्नी की तबीयत बिगड़ गई और हमें अस्पताल जाना पड़ा। इसी बीच आरोपी महिला मेरे घर पहुँची और कर्मचारियों के मना करने के ब बावजूद जबरन घर में र में घुस गई। उसने मेरे स्टाफ को कुछ अश्लील तस्वीरें दिखाकर मेरी छवि धूमिल करने का प्रयास किया और जोर-जोर से चिल्लाकर हंगामा किया। बाद में पता चला कि उसने मेरे कई जान-पहचान वालों को भी फोन कर मेरे बारे में अपमानजनक बातें कहीं।

अतः श्रीमान जी से विनम्र निवेदन है कि इस पूरे प्रकरण की गंभीरता को देखते हुए, आरोपी महिला तथा इस षड्यंत्र में शामिल अन्य सभी अज्ञात व्यक्तियों के विरुद्ध भयदोहन (ब्लैकमेलिंग), मानसिक प्रताड़ना, आपराधिक धमकी, जबरन घर में घुसना एवं मानहानि जैसी उचित धाराओं के अंतर्गत थ्प्त् दर्ज कर तत्काल कठोर कानूनी कार्यवाही करने की कृपा करें, ताकि मुझे और मेरे परिवार को इस मानसिक यंत्रणा से मुक्ति मिल सके और हमें न्याय प्राप्त हो।

इस संबंध में मेरे पास साक्ष्य उपलब्ध न रहे इसलिए चैट के तत्काल डिलीट करके स्क्रीन शॉट न भेजने पर भी धमकी देती थी, इसलिए मेरे 13-10-25 के पहले के डिजिटल साक्ष्य (चैट, तस्वीरें, वीडियो कॉल रिकॉर्डिंग आदि) उपलब्ध नहीं हैं, जिन्हें आरोपी के मोबाईल की फोरेंसिक जांच से प्राप्त किया जा सकता है।

जानिए कौन है आईपीएस अफसर रतनलाल डांगी

आईपीएस रतनलाल डांगी 2003 बैच के छत्तीसगढ़ कैडर के आईपीएस हैं। छत्तीसगढ़ राज्य में सबसे पहले दो बार राष्ट्रपति वीरता पदक प्राप्त करने वाले वे पहले आईपीएस हैं। उनका जन्म राजस्थान राज्य के नागौर जिला के गांव मालास के मजदूर परिवार में हुआ। उनके पिता का नाम सुमन लाल और माता का नाम भंवरी देवी डांगी था। चार भाई-बहनों में रतनलाल डांगी सबसे छोटे हैं। मजदूर परिवार में जन्म लेने के चलते उनकी आर्थिक स्थिति बेहद खराब थी कई बार स्कूल के बाद उन्हें खेतों में माता-पिता के साथ काम भी करना पड़ता था और मजदूरी भी करनी पड़ती थी। गरीब परिस्थितियों से होने के बावजूद भी रतनलाल डांगी में पढ़ने की ललक थी। उन्होंने प्राथमिक की शिक्षा अपने गांव के ही सरकारी स्कूल से प्राप्त की जिसके बाद उच्च प्राथमिक शिक्षा गांव से 4 किलोमीटर दूर स्थित पीपलाद माध्यमिक विद्यालय से की। उत्तर माध्यमिक शिक्षा उन्होंने परबतसर से प्राप्त की उन्होंने 12वीं में बायो और मैथ्स दोनों विषय लेकर बोर्ड की परीक्षा देने की रतनलाल डांगी पढ़ाई में शुरू से होशियार थे इन्होंने हमेशा अपनी क्लास में टॉप किया।

बारहवीं तक की शिक्षा ग्रहण करने के पश्चात टीचर्स की ट्रेनिंग कर 20 वर्ष की आयु में शासकीय स्कूल में रतनलाल डांगी ने शिक्षक के पद पर ज्वाइन कर लिया, और 6 वर्ष तक अध्यापन कार्य किया। इस दौरान उन्होंने एमडीएस यूनिवर्सिटी अजमेर से बीए और एमए के स्वाध्यायी छात्र के रूप में डिग्री प्राप्त की। फिर राजस्थान पीएससी निकालकर टैक्स इंस्पेक्टर के पद पर 2 साल काम किया। जिसके बाद दोबारा पीएससी देकर नायब तहसीलदार के पद पर चयनित हुए और 2 साल इस पद पर भी काम किया। 2002 में यूपीएससी में 226 रैंक हासिल कर रतनलाल डांगी आईपीएस बने और उन्हें 2003 बैच व छत्तीसगढ़ कैडर अलॉट हुआ।

छत्तीसगढ़ में वे एसडीओपी कांकेर एसपी बीजापुर, कांकेर, कोरबा , बिलासपुर फिर कोरबा एसपी के पदस्थ रहे है। जिसके बाद डीआईजी कांकेर, दंतेवाड़ा व राजनांदगांव पदस्थ रहे हैं। व सरगुजा आईजी के साथ ही दुर्ग व बिलासपुर रेंज के आईजी का भी प्रभार संभाल चुके हैं। चंद्रखुरी पुलिस एकेडमी का डायरेक्टर होने के साथ ही साथ अब उन्हें राजधानी रायपुर जिले का आईजी बनाया गया है।

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