High Court News: ट्रांसपोर्ट कमिश्नर के गलत जवाब पर हाई कोर्ट नाराज, अवमानना कार्रवाई की चेतावनी
High Court News: सिटी बसों के संचालन को लेकर ट्रांसपोर्ट कमिश्नर ने हाई कोर्ट के डिवीजन बेंच के समक्ष गलत जानकारी पेश कर दी। वह भी शपथ पत्र के साथ। खुलासा होने पर हाई कोर्ट ने नाराजगी जताते हुए अवमानना की कार्रवाई की चेतावनी दी है। नाराज बेंच ने ट्रांसपोर्ट कमिश्नर को शपथ पत्र के साथ सिटी बसों के संचालन को लेकर पूरी जानकारी पेश करने का निर्देश दिया है।

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High Court News: बिलासपुर। सिटी बसों के संचालन बंद होने और ट्रांसपोर्ट कमिश्नर द्वारा शपथ पत्र के साथ झूठी और भ्रामक जानकारी देने को लेकर हाई कोर्ट ने नाराजगी जताई है। नाराज बेंच ने ट्रांसपोर्ट कमिश्नर के खिलाफ अवमानना की कार्रवाई प्रारंभ करने की चेतावनी भी दी है। बेंच ने शपथ पत्र के साथ पूरी जानकारी पेश करने का निर्देश दिया है।
चीफ जस्टिस रमेश सिन्हा व जस्टिस रविंद्र अग्रवाल की डिवीजन बेंच में जनहित याचिका की सुनवाई हुई। शहर के 30 किलोमीटर के दायरे में बीते एक दशक से सिटी बसों का संचालन किया जा रहा है। तखतपुर, कोटा, खूंटाघाट, बिल्हा रूट पर पुरानी होने के बाद भी बसें चलाई जा रही थी। उद्देश्य था कि लोगों को किसी तरह की दिक्कतों का सामना ना करना पड़े। कोविड के दौरान रेलवे ने छोटे स्टेशनों में पैंसेजर ट्रेनों का स्टापेज बंद कर दिया था। इन सब कारणों के चलते शहर व आसपास के ग्रामीण अंचल के लोगों के लिए सिटी बस सेवा सबसे महत्वपूर्ण और उपयोगी है। बसों का संचालन बंद होने से शहरवासियों और आसपास के लोगों को दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है। निगम अफसरों का कहना है कि बसें कंडम हो गई है। अब तो मेंटनेंस कराने के लायक भी नहीं रह गई है।
ट्रांसपोर्ट कमिश्नर ने दिया था ऐसा जवाब-
पीआईएल की सुनवाई के दौरान ट्रांसपोर्ट कमिश्नर ने शपथ पत्र के साथ डिवीजन बेंच में जानकारी पेश की थी। इसमें बताया था कि 9 सिटी बसों में से 6 बसों का बीमा, फिटनेस और टैक्स जमा हो चुका है। 5 बसों का संचालन शुरू हो गया है, बाकी एक बस का संचालन जल्द ही शुरू कर दिया जाएगा। ग्राउंड रिपोर्ट कुछ अलग ही था। ट्रांसपोर्ट कमिश्नर के जवाब के पहले सही सिटी बसों का संचालन बंद हो गया था। इसके चलते बेंच नाराज हुआ और अवमानना की कार्रवाई की चेतावनी दी।
