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Chhattisgarh Vidhan Sabha Winter Session: निजी अस्पतालों की मनमानी और अनियमितताओं पर एक साल में 47 शिकायतें,पर कार्यवाही सिर्फ 9 पर

Chhattisgarh Vidhan Sabha Winter Session:निजी अस्पतालों की मनमानी और चिकित्सा के नाम पर अवैध वसूली की प्रदेश भर में 47 शिकायतें पिछले एक साल में मिली है। जिसमें स्वास्थ्य मंत्री ने कार्यवाही और जांच के संबंध में बताया है।

Chhattisgarh Vidhan Sabha Winter Session: निजी अस्पतालों की मनमानी और अनियमितताओं पर एक साल में 47 शिकायतें,पर कार्यवाही सिर्फ 9 पर
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By Radhakishan Sharma

Chhattisgarh Vidhan Sabha Winter Session: रायपुर। प्रदेश के निजी अस्पतालों की मनमानी पर मिली शिकायत तो और लगाम कसने की गई कार्यवाहियों की जानकारी आज विधानसभा में मांगी गई। पर अचरज की बात है कि स्वास्थ्य मंत्री द्वारा प्रस्तुत लिखित जवाब के अनुसार शिकायतों की तुलना में कार्यवाही की दर काफी कम है। 22 शिकायतों पर सीएमएचओ की तरफ से ही जांच रिपोर्ट लंबित है। दो शिकायतें वापस ले ली गई। जबकि तीन शिकायतों में सिर्फ चेतावनी पत्र जारी किया गया है। एक शिकायत में उपचार प्रदाय करने हेतु पत्र जारी किया गया है। मंत्री ने लिखित में बताया है कि 11 शिकायतों में जांच सही नहीं पाई गई।

विधायक अंबिका मरकाम ने आज लिखित सवाल में पूछा था कि प्रदेश के कितने निजी अस्पतालों द्वारा मरीजों से अत्यधिक शुल्क वसूलने और अन्य तरह की अनियमितताओं की कितनी शिकायतें गत एक वर्ष में प्राप्त हुई? उन शिकायतों पर क्या-क्या कार्यवाही की गई? क्या सरकार द्वारा निजी अस्पतालों पर कड़ी निगरानी रखी जा रही है एवं उनके द्वारा वसूले जाने वाले शुल्क को नियंत्रित किया जा रहा है ? क्या ऐसे कोई नियम लागू किये जायेंगे, जिससे अस्पतालों को अपने शुल्क सूची को सार्वजनिक करना पड़े ताकि मरीजों को उपचार लागत के बारे में पहले से पता चल सके?

लोक स्वास्थ्य मंत्री श्याम बिहारी जायसवाल ने अपने लिखित जवाब में बताया कि प्रदेश में आयुष्मान भारत प्रधानमंत्री जनआरोग्य योजनांतर्गत गत एक वर्ष (दिसंबर 2024 से) में 32 अस्पतालों के विरुद्ध मरीजों से अत्यधिक शुल्क वसूलने और अन्य तरह की अनियमितताओं की 47 शिकायतें प्राप्त हुई हैं। जिसमें निम्नानुसार कार्यवाही की गई है:-

दो अस्पतालों के खिलाफ पंजीयन निरस्त की 2 कार्यवाही की गई। दो अस्पतालों का लाइसेंस 3 माह हेतु निलंबन की कार्यवाही की गई है। चार अस्पतालों से इलाज के लिए ली गई ज्यादा राशि वापसी करवाई गई। तीन अस्पतालों को चेतावनी पत्र जारी किया गया है।दो मामलों में शिकायत वापस लिया गया है। एक अस्पताल में

उपचार प्रदाय करने हेतु पत्र जारी किया गया है। 11 मामलों में शिकायत सही नहीं पाई गई है। जबकि 47 शिकायतों में सी.एम.एच.ओ. से जांच रिपोर्ट लंबित (प्रक्रियाधीन) है।

अस्पतालों पर निगरानी रखने के संबंध में स्वास्थ्य मंत्री ने बताया सरकार द्वारा निजी अस्पतालों पर कड़ी निगरानी रखी जा रही है और आयुष्मान योजना में अतिरिक्त राशि लिए जाने का प्रावधान नहीं है। आयुष्मान योजनांतर्गत अस्पतालों में उपचार की दर शुल्क सूची, योजना की पोर्टल पर सार्वजनिक रूप से उपलब्ध है। योजना में पंजीकृत अस्पतालों में आयुष्मान हेल्पडेस्क में उपचार पैकेज दर सूची उपलब्ध होती है।

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