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CG Weather Update: छत्तीसगढ़ में मौसम का बदलाव, बारिश, ओल और अंधड़ से जनहानि, जानिए 23 मार्च को कैसा रहेगा मौसम

CG Weather Update: छत्तीसगढ़ के पांचों संभागों में आज भी मौसम का मिजाज बिगड़ा हुआ है. मौसम विभाग ने राज्यभर में अंधड़ और हल्की बारिश के साथ ओले गिरने का अलर्ट जारी किया है. जानिए कैसा रहेगा आज का मौसम.

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By Anjali Vaishnav

CG Weather Update: छत्तीसगढ़ के पांचों संभागों में आज भी मौसम का मिजाज बिगड़ा हुआ है. मौसम विभाग ने राज्यभर में अंधड़ और हल्की बारिश के साथ ओले गिरने का अलर्ट जारी किया है. शुक्रवार रात देर तक बस्तर में भारी बारिश हुई, साथ ही ओले भी गिरे. सरगुजा संभाग के कई इलाकों में भी बारिश हुई और ओले गिरे.

बलरामपुर जिले के शंकरगढ़ और सामरी क्षेत्रों में करीब एक घंटे तक ओले गिरे, जिससे मौसम ने हाहाकार मचा दिया. इस दौरान तीन अलग-अलग घटनाओं में चार लोगों की जान चली गई. कटघोरा में अंधड़ के कारण राइस मिल की निर्माणाधीन दीवार गिर गई, जिससे दो मजदूर की मौत हो गई. बलरामपुर जिले में बिजली गिरने से एक व्यक्ति की मौत हो गई, जबकि मनेंद्रगढ़, चिरमिरी और भरतपुर क्षेत्र (MCB) में एक महिला की भी जान गई.

इसके अलावा, बलरामपुर और आसपास के क्षेत्र में ओलावृष्टि के कारण खेतों में बर्फ की चादर बिछ गई. रायपुर, बालोद, बलौदाबाजार, बेमेतरा, दुर्ग, महासमुंद और राजनांदगांव सहित अन्य स्थानों में भी गरज-चमक के साथ बारिश हुई.

मौसम विभाग का पूर्वानुमान

मौसम विभाग के अनुसार, अगले दिन यानी 23 मार्च से राज्यभर में मौसम साफ होने लगेगा. पिछले 24 घंटों के दौरान बलरामपुर जिले के सामरी क्षेत्र में 36.0 मिमी बारिश दर्ज की गई. इसके साथ ही राज्य में सबसे अधिक तापमान रायपुर के माना इलाके में 36.4 डिग्री सेल्सियस रहा. वहीं, न्यूनतम तापमान 18.9 डिग्री सेल्सियस के साथ जगदलपुर सबसे ठंडा क्षेत्र रहा.

वेस्टर्न डिस्टरबेंस का प्रभाव

मौसम वैज्ञानिकों के अनुसार, पश्चिमी विक्षोभ (वेस्टर्न डिस्टरबेंस) और एक टर्फ लाइन (द्रोणिका) के कारण प्रदेश में बादल, बारिश और ओलावृष्टि जैसी स्थिति बन गई. ये दोनों मौसमी घटनाएँ छत्तीसगढ़ के मौसम में बदलाव का कारण बनी हैं. मौसम में आए इस बदलाव ने तापमान में भी गिरावट ला दी है और प्रदेश भर में ठंडक का अहसास होने लगा है.

तापमान में गिरावट, गर्मी से राहत मिली

मौसम में बदलाव के साथ ही प्रदेश के विभिन्न हिस्सों में तापमान में गिरावट आई है. खासकर सरगुजा जिले में गर्मी से राहत मिली है. मार्च में अंबिकापुर का अधिकतम तापमान 40 डिग्री तक पहुंच चुका था, लेकिन अब पिछले दो दिनों से अधिकतम तापमान 35 डिग्री से नीचे बना हुआ है. ऐसे में प्रदेश के लोगों को गर्मी से राहत महसूस हो रही है.

रायपुर में बादल छाए रहेंगे

मौसम विभाग के अनुसार, रायपुर में आज बादल छाए रहेंगे और हल्की बौछारें पड़ने की संभावना है. आज दिन का तापमान 36 डिग्री के आस-पास रह सकता है, जबकि रात का तापमान 25 डिग्री के आसपास रहने का अनुमान है. शुक्रवार को रायपुर के बाहरी इलाकों में शाम के बाद बारिश हुई, जिससे गर्मी से राहत मिली.

बिलासपुर में सामान्य से कम दिन का तापमान

बिलासपुर में शुक्रवार को दिन का तापमान सामान्य से कम यानी 34 डिग्री सेल्सियस रिकॉर्ड किया गया, जो कि सामान्य से 3.1 डिग्री कम था. वहीं, न्यूनतम तापमान 24.8 डिग्री सेल्सियस था, जो औसत से 4.4 डिग्री ज्यादा था. गौरेला पेंड्रा मरवाही क्षेत्र में भी अधिकतम तापमान 27.8 डिग्री रहा, जो सामान्य से करीब 6 डिग्री कम था। वहीं, न्यूनतम तापमान 20.2 डिग्री था.

बस्तर में तेज बारिश और ओलावृष्टि

बस्तर संभाग में भी मौसम ने अचानक बदलाव दिखाया. शुक्रवार रात को तेज बारिश और ओलावृष्टि की घटनाएँ सामने आईं. रात करीब 11 बजे तेज हवाएं चलीं और रात 12 बजे हल्की बूंदाबांदी शुरू हो गई. इसके बाद आधे घंटे में झमाझम बारिश शुरू हो गई, जिससे लोगों को राहत मिली. बस्तर के जगदलपुर में अधिकतम तापमान 35.3 डिग्री सेल्सियस रहा, जो सामान्य से कम था। वहीं, रात का तापमान 18.9 डिग्री रिकॉर्ड हुआ, जो भी सामान्य से कम था.

अगले कुछ दिनों में मौसम साफ होने की संभावना

मौसम विभाग के अनुसार, 23 मार्च से प्रदेश में मौसम साफ होने की संभावना है. इससे पहले, इस असामान्य मौसम परिवर्तन का असर कृषि कार्यों पर पड़ा है. कई किसानों की फसलें ओलावृष्टि के कारण नष्ट हो गईं और जनहानि की भी घटनाएँ सामने आईं. मौसम साफ होने के बाद प्रदेशवासियों को मौसम में सुधार और राहत मिल सकती है.

फसलों का नुकसान

इस अप्रत्याशित मौसम परिवर्तन का सबसे अधिक असर किसानों की फसलों पर पड़ा है. बलरामपुर, बस्तर और सरगुजा जिले में ओले गिरने से गेहूं, सरसों, अरहर, मिर्च, टमाटर और अन्य महत्वपूर्ण फसलों को भारी नुकसान हुआ है. किसानों को इस नुकसान की भरपाई के लिए राज्य सरकार से मदद की उम्मीद है. प्रदेश में बर्फबारी और ओलावृष्टि के कारण खेती की जमीन में बर्फ की चादर बिछ गई है, जिससे फसल की गुणवत्ता पर भी असर पड़ा है.

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