CG Transport Service:– छत्तीसगढ़ में विष्णुदेव सरकार के प्रयासों से परिवहन सेवाओं में आई क्रांति, गांव–गांव चली बसें, एक हजार परिवहन सेवा केंद्र, शहरों में सिटी बस, गांवों में बिछा सड़कों का जाल
CG Transport Service: मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय सरकार के द्वारा राज्य में परिवहन सेवाओं को मजबूती प्रदान करने के लिए कई बड़े और महत्वपूर्ण कदम उठाए गए हैं। जिनमें ग्रामीण अंचलों में मुख्यमंत्री ग्रामीण बस योजना,शहरों में सिटी बस,अंतर्राज्यीय बस स्टैंड,परिवहन सेवा केंद्र शुरू करने जैसी योजनाएं संचालित की जा रही है। गांव तक पहुंचाने के लिए सड़कों का जाल बिछाया गया है।

Raipur रायपुर। छत्तीसगढ़ में परिवहन सेवाएं बढ़ाने के लिए विष्णुदेव साय सरकार अव्वल हैं। परिवहन सेवा के लिए हर दिशा में पहला कर सस्ती सुलभ परिवहन सेवाएं उपलब्ध करवाने मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय की सरकार अग्रसर है। जिसके परिणाम अब धरातल पर भी दिख रहे हैं। इन योजनाओं में मुख्यमंत्री ग्रामीण बस योजना के तहत वंचित इलाकों में कम लागत वाली बसें दौड़ा दी गई हैं, जबकि पीएम ई-बस सेवा से 240 पर्यावरण अनुकूल इलेक्ट्रिक बसें राज्य को मिली हैं। राज्यभर में 1000 परिवहन सुविधा केंद्र खुल रहे हैं, जिनमें से 500 से ज्यादा पहले ही चालू हो चुके हैं—ये कदम न केवल यात्रियों की सुविधा बढ़ाएंगे, बल्कि 5000 बेरोजगारों को रोजगार भी देंगे।
ई-बसों से मेट्रो जैसी सवारी, नवा रायपुर में ई-ऑटो का आगमन राजधानी रायपुर, बिलासपुर, कोरबा, दुर्ग-भिलाई समेत प्रमुख शहरों में स्टैंडर्ड, मीडियम और मिनी श्रेणी की 240 ई-बसें धीरे-धीरे सड़कों पर उतरेंगी, जो मेट्रो का किफायती विकल्प साबित होंगी। नवा रायपुर में मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने खुद ई-ऑटो सेवा का उद्घाटन किया, जिससे शहरी यात्रा में प्रदूषण कम होगा और ईंधन पर निर्भरता घटेगी। सड़क सुरक्षा को मजबूत करने हेतु 48 नई गाड़ियों से लैस उड़न दस्ते भी तैनात किए गए हैं, जो ओवरलोडिंग और लापरवाही पर नकेल कसेंगे। बिलासपुर जैसे जिलों के ग्रामीणों को अब बाजार या अस्पताल तक पहुंचना आसान हो गया है, जहां पहले घंटों इंतजार आम था।
दलाल खत्म, घर-घर सेवाएं: 1000 केंद्रों से लाइसेंस-टैक्स सस्ता :
परिवहन विभाग की सबसे बड़ी सौगात परिवहन सुविधा केंद्र हैं जहां ड्राइविंग लाइसेंस, वाहन टैक्स, परमिट जैसी सेवाएं न्यूनतम शुल्क में मिलेंगी। दलालों का बाजार धीरे-धीरे साफ हो रहा है, क्योंकि ये केंद्र जिला-स्तर पर ही नहीं, बल्कि ब्लॉक तक फैल रहे हैं। खासकर बस्तर, जशपुर जैसे नक्सल प्रभावित क्षेत्रों में सड़कें चौड़ी हो रही हैं, पुल बन रहे हैं और रेल नेटवर्क मजबूत हो रहा है—मुख्यमंत्री ने हाल ही में रेल मंत्री से मुलाकात कर परियोजनाओं को गति दी। इससे न केवल यात्रा सुगम हुई, बल्कि स्थानीय अर्थव्यवस्था को बल मिला है।
ग्रामीण जनजीवन एवं अर्थव्यवस्था पर भी पड़ा प्रभाव:
बिलासपुर जिले के कोटा-खैरागांव जैसे इलाकों में रहने वाले किसान-मजदूर अब सुबह बाजार जाएंगे, शाम को लौट आएंगे। जशपुर में 13.69 करोड़ से बनने वाले पुल ग्रामीणों को मुख्यधारा से जोड़ेंगे, जबकि केंद्र सरकार से प्राप्त सैकड़ों करोड़ रुपयों से सड़क प्रोजेक्ट हाईवे को मजबूत किया गया है। डबल इंजन सरकार ने सड़क परियोजनाओं को गति दी है। मुख्यमंत्री ग्रामीण बस योजना के तहत ग्रामीण इलाकों में बसें शुरू होने से कई ऐसे गांवों में पहुंच आसान हो गई है जहां स्वतंत्रता के बाद अब तक बस नहीं पहुंची है। इन गांवों की कनेक्टिविटी सीधे जिला मुख्यालयों तक की गई है। जिससे यहां के ग्रामीण स्वास्थ्य सुविधाओं का लाभ तो ले ही रहे है साथ ही अपने उत्पाद शहरों तक पहुंचा रहे हैं। जिससे ग्रामीण अर्थव्यवस्था को भी लाभ पहुंच रहा है।
अंतर्राज्यीय बस टर्मिनल:
राजधानी रायपुर के भाठा गांव शहर में अंतर्राज्यीय बस स्टैंड बनाया गया है। यहां से अन्य राज्यों के अलावा प्रदेश में भी लंबी और कम दूरी की 500 बसें चलाई जा रही है। जबकि यहां से 900 बसों के संचालन की सुविधा है। आधुनिक सुविधाओं से परिपूर्ण बस टर्मिनल में फूड कोर्ट, यात्री प्रतीक्षालय पुरुषेर महिलाओं के लिए डॉरमेट्री के अलावा दिव्यांग यात्रियों के लिए अलग से सुविधा है। चार मंजिला भव्य परिसर में 104 कमरे बनाए गए हैं। यहां कार्यालयीन कमरे,दुकानें, परिवहन कार्यालय भी हैं। आधुनिक फायर फाइटिंग सिस्टम के अलावा पब्लिक अनाउंसमेंट सिस्टम लगाया गया है। पूरे परिसर में सीसीटीवी लगाए गए हैं। इसके अलावा शहर से यहां तक पहुंचाने के लिए सिटी बसों का संचालन किया जा रहा है। बस स्टैंड में एक एकड़ में सिटी बस टर्मिनल बनाया गया है।
