गौरतलब है कि राज्य में खरीफ विपणन वर्ष 2020-21 में समर्थन मूल्य पर धान उपार्जन के लिए 17 अगस्त से 17 नवम्बर तक किसान पंजीयन का कार्य किया गया है। खरीफ वर्ष 2020-21 में 21.30 लाख किसानों द्वारा धान बेचने हेतु पंजीयन कराया गया है। किसान पंजीयन की अवधि समाप्त होने के पश्चात भी जिलों से पंजीयन में सुधार हेतु प्रस्ताव प्राप्त हो रहे हैं, जिस पर शासन स्तर पर सुधार की कार्यवाही की जा रही है।

इसके तहत निर्देश दिए गए है कि किसानों से पंजीयन हेतु प्राप्त आवेदन के संबंध में गिरदावरी की स्थिति ज्ञात कर ली जाए, यदि गिरदावरी अपूर्ण अथवा त्रुटिपूर्ण है तो इसमें सुधार कार्य तत्काल कराया जाए। यदि पंजीयन के दौरान धान के वास्तविक रकबे की एंट्री न होकर कम रकबे की एंट्री हो गई हो तो रकबे में तत्काल सुधार की कार्यवाही की जाए।